< إشَعْياء 3 >
هَا هُوَ الرَّبُّ الْقَدِيرُ مُزْمِعٌ أَنْ يَقْطَعَ عَنْ أُورُشَلِيمَ وَيَهُوذَا الطَّعَامَ وَالْمَاءَ. | ١ 1 |
प्रभु सर्वशक्तिमान याहवेह येरूशलेम और यहूदिया से उनका सहारा और उनके अन्न और जल का स्रोत सब दूर कर देगा,
وَيَقْضِيَ فِيهَا عَلَى كُلِّ بَطَلٍ وَمُحَارِبٍ وَقَاضٍ وَنَبِيٍّ وَعَرَّافٍ وَشَيْخٍ | ٢ 2 |
वीर योद्धा तथा सैनिक, न्यायी तथा भविष्यद्वक्ता, भावी बोलनेवाले तथा बूढ़े,
وَعَلَى كُلِّ قَائِدٍ وَعَظِيمٍ وَمُشِيرٍ وَصَانِعٍ مَاهِرٍ وَسَاحِرٍ بَارِعٍ. | ٣ 3 |
मंत्री और प्रतिष्ठित व्यक्ति, सलाहकार, कारीगर और जादूगर को भी दूर करेंगे.
وَأَجْعَلُ الصِّبْيَانَ رُؤَسَاءَ لَهُمْ، وَالأَطْفَالَ حُكَّاماً عَلَيْهِمْ، | ٤ 4 |
“मैं लड़कों को शासक बना दूंगा; और वे उन पर शासन करेंगे.”
فَيَجُورُ الشَّعْبُ بَعْضُهُمْ عَلَى بَعْضٍ، وَالرَّجُلُ عَلَى صَاحِبِهِ، وَالْجَارُ عَلَى جَارِهِ، وَيَتَمَرَّدُ الصَّغِيرُ عَلَى الْكَبِيرِ وَالْحَقِيرُ عَلَى النَّبِيلِ. | ٥ 5 |
लोग एक दूसरे पर अत्याचार करेंगे— सब अपने साथी, पड़ोसी पर, और लड़के, बूढ़ों से बुरा व्यवहार करेंगे.
عِنْدَئِذٍ يَقْبِضُ الإِنْسَانُ عَلَى أَخِيهِ فِي بَيْتِ أَبِيهِ قَائِلاً لَهُ: «إِنَّ عِنْدَكَ ثَوْباً، فَامْلُكْ عَلَيْنَا لِتُنْقِذَنَا مِنْ هَذِهِ الْفَوْضَى». | ٦ 6 |
जब एक व्यक्ति अपने पिता के घर में अपने भाई से ही यह कहने लगे, “तुम्हारे पास तो अच्छा वस्त्र है, तुम्हें हमारा न्यायी होना चाहिए; और यह देश जो उजड़ा हुआ है अपने अधीन कर लो!”
فَيُجِيبُهُمْ قَائِلاً: «لَسْتُ طَبِيباً، وَلا أَمْلِكُ طَعَاماً أَوْ ثِيَاباً فِي بَيْتِي، فَلا تَجْعَلُونِي رَئِيساً لِلشَّعْبِ». | ٧ 7 |
उस दिन कहेगा, “मैं चंगा करनेवाला नहीं हूं. क्योंकि मेरे घर में न तो भोजन है और न वस्त्र; ऐसा व्यक्ति प्रजा का शासक नहीं बन सकता.”
قَدْ سَقَطَتْ أُورُشَلِيمُ؛ انهَارَتْ يَهُوذَا لأَنَّهُمَا أَسَاءَتَا بِالْقَوْلِ وَالْفِعْلِ إِلَى الرَّبِّ وَتَمَرَّدَتَا عَلَى سُلْطَانِهِ. | ٨ 8 |
येरूशलेम लड़खड़ाया और यहूदिया गिर गया है; क्योंकि उनके वचन और उनके काम याहवेह के विरुद्ध हैं, जो याहवेह के तेजोमय आंखों के सामने बुराई करनेवाले हो गये.
مَلامِحُ وُجُوهِهِمْ تَشْهَدُ عَلَيْهِمْ، إِذْ يُجَاهِرُونَ بِخَطِيئَتِهِمْ كَسَدُومَ وَلا يَسْتُرُونَهَا، فَوَيْلٌ لَهُمْ لأَنَّهُمْ جَلَبُوا عَلَى أَنْفُسِهِمْ شَرّاً. | ٩ 9 |
उनका मुंह ही उनके विरुद्ध गवाही देता हैं; और वे सदोम के समान अपने ही पापों को बताते हैं; वे उन्हें छिपाते नहीं हाय उन पर. क्योंकि उन्होंने अपना ही नुकसान किया है.
وَلَكِنْ بَشِّرُوا الصِّدِّيقِينَ بِالْخَيْرِ لأَنَّهُمْ سَيَتَمَتَّعُونَ بِثَوَابِ أَعْمَالِهِمْ | ١٠ 10 |
धर्मियों को यह बताओ कि उनका अच्छा ही होगा, क्योंकि उन्हें उनके कामों का प्रतिफल मिलेगा.
أَمَّا الشِّرِّيرُ فَوَيْلٌ لَهُ وَبِئْسَ الْمَصِيرَ لأَنَّهُ يُجَازَى عَلَى مَا جَنَتْهُ يَدَاهُ | ١١ 11 |
हाय है दुष्ट पर! उनके साथ बुरा ही होगा! क्योंकि उनके बुरे कामों का फल उन्हें बुरा ही मिलेगा.
ظَالِمُو شَعْبِي أَوْلادٌ وَالْحَاكِمُونَ عَلَيْهِ نِسَاءٌ. آهِ يَا شَعْبِي! إِنَّ قَادَتَكُمْ يُضِلُّونَكُمْ وَيَقْتَادُونَكُمْ فِي مَسَالِكَ مُنْحَرِفَةٍ. | ١٢ 12 |
मेरे लोगों को बच्चे दुःख देते हैं, और स्त्रियां उन पर अधिकार करती हैं. हे मेरी प्रजा, जो तुम्हारे मार्ग बताते हैं; वे ही तुम्हें भटकाते हैं तथा वे तुम्हारे रास्ते को भूला देते हैं.
لَقَدْ تَرَبَّعَ الرَّبُّ عَلَى كُرْسِيِّ الْقَضَاءِ، قَامَ لِيَدِينَ النَّاسَ. | ١٣ 13 |
याहवेह तुम्हें बचाने और लोगों के न्याय निष्पादन के लिए तैयार हैं.
الرَّبُّ يَدْخُلُ فِي الْمُحَاكَمَةِ ضِدَّ شُيُوخِ شَعْبِهِ وَقَادَتِهِمْ. وَيَقُولُ السَّيِّدُ الرَّبُّ الْقَدِيرُ: «أَنْتُمُ الَّذِينَ أَتْلَفْتُمْ كَرْمِي، وَصَارَ سَلَبُ الْبَائِسِ فِي مَنَازِلِكُمْ. | ١٤ 14 |
याहवेह न्याय के लिए शासन करनेवालों तथा बूढ़ों के साथ मिल गए हैं: “तुम ही ने खेत से अंगूर खा लिये; और गरीबों से लूटा गया सामान अपने घर में रखा.
فَمَاذَا تَقْصِدُونَ مِنْ سَحْقِ شَعْبِي وَطَحْنِ وُجُوهِ الْبَائِسِينَ؟» | ١٥ 15 |
क्यों मेरी प्रजा को परेशान और दुःखी करते हो?” प्रभु सर्वशक्तिमान याहवेह कहता है!
وَيَقُولُ الرَّبُّ: «لأَنَّ بَنَاتِ صِهْيَوْنَ مُتَغَطْرِسَاتٌ، يَمْشِينَ بِأَعْنَاقٍ مَمْدُودَةٍ غَامِزَاتٍ بِعُيُونِهِنَّ، مُتَخَطِّرَاتٍ فِي سَيْرِهِنَّ، مُجَلْجِلاتٍ بِخَلاخِيلِ أَقْدَامِهِنَّ. | ١٦ 16 |
याहवेह कहता है, “ज़ियोन की पुत्रियां घमंड करती हैं, वे सिर ऊंचा कर आंखों को मटकाती, घुंघरूओं को छमछमाती हुई पायल पहनकर चलती हैं.
سَيُصِيبُهُنَّ الرَّبُّ بِالصَّلَعِ، وَيُعَرِّي عَوْرَاتِهِنَّ». | ١٧ 17 |
इसलिये प्रभु याहवेह ज़ियोन की पुत्रियों के सिर को गंजा कर देंगे; और उनके तन को विवस्त्र करेंगे.”
فِي ذَلِكَ الْيَوْمِ يَنْزِعُ الرَّبُّ زِينَةَ الْخَلاخِيلِ، وَعِصَابَاتِ رُؤُوسِهِنَّ وَالأَهِلَّةَ، | ١٨ 18 |
उस दिन प्रभु उनकी पायल, ललाट पट्टिका, झूमर,
وَالأَقْرَاطَ وَالأَسَاوِرَ وَالْبَرَاقِعَ، | ١٩ 19 |
झुमके, कंगन, झीना मुखावरण,
وَالْعَصَائِبَ وَالسَّلاسِلَ وَالأَحْزِمَةَ، وَآنِيَةَ الطِّيبِ وَالتَّعَاوِيذَ | ٢٠ 20 |
सुंदर वस्त्र, भुजबन्द, करधनी, ईत्रदान, कवच,
وَالْخَوَاتِمَ وَخَزَائِمَ الأَنْفِ، | ٢١ 21 |
अंगूठी, नथ,
وَالثِّيَابَ الْمُزَخْرَفَةَ وَالْعِبَاءَاتِ وَالْمَعَاطِفَ وَالأَكْيَاسَ | ٢٢ 22 |
मख़मल के वस्त्र, कुरती, बुन्दियों, ओढ़नी;
وَالْمَرَايَا وَالأَرْدِيَةَ الكَتَّانِيَّةَ، وَالْعَصَائِبَ الْمُزَيَّنَةَ وَأَغْطِيَةَ الرُّؤُوسِ | ٢٣ 23 |
बटूवा, अधोवस्त्र, पगड़ी और ओढ़नी की सुंदरता को हटा देंगे.
فَتَحِلُّ الْعُفُونَةُ مَحَلَّ الطِّيبِ، وَالْحَبْلُ عِوَضَ الْحِزَامِ، وَالصَّلَعُ بَدَلَ الشَّعْرِ الْمُنَسَّقِ، وَحِزَامُ الْمِسْحِ فِي مَوْضِعِ الثَّوْبِ الْفَاخِرِ، وَالْعَارُ عِوَضَ الْجَمَالِ، | ٢٤ 24 |
और खुशबू की जगह बदबू; करधनी के स्थान पर रस्सी; बालों की जगह गंजापन; बहुमूल्य वस्त्रों के स्थान पर टाट; और सुंदरता की जगह बदसूरती होगी.
فَيَسْقُطُ رِجَالُكِ فِي الحَرْبِ، وَيَلْقَى أَبْطَالُكِ حَتْفَهُمْ فِي سَاحَةِ الْحَرْبِ | ٢٥ 25 |
तुम्हारे पुरुष तलवार से, और तुम्हारे योद्धा युद्ध में मारे जाएंगे.
فَتَنُوحُ عَلَيْهِمْ أَبْوَابُ الْمَدِينَةِ وَتَنْطَرِحُ عَلَى الأَرْضِ مَهْجُورَةً. | ٢٦ 26 |
तुम्हारे फाटक रोएंगे और शोक मनाएंगे; वह अकेली भूमि पर बैठी रहेगी.