< ज़कर 14 >

1 देख, ख़ुदावन्द का दिन आता है, जब तेरा माल लूटकर तेरे अन्दर बाँटा जाएगा।
הִנֵּה יֽוֹם־בָּא לַיהֹוָה וְחֻלַּק שְׁלָלֵךְ בְּקִרְבֵּֽךְ׃
2 क्यूँकि मैं सब क़ौमों को जमा' करूँगा कि येरूशलेम से जंग करें, और शहर ले लिया जाएगा और घर लूटे जाएँगे और 'औरतें बे हुरमत की जायेंगी और आधा शहर ग़ुलामी में जाएगा, लेकिन बाक़ी लोग शहर ही में रहेंगे।
וְאָסַפְתִּי אֶת־כׇּל־הַגּוֹיִם ׀ אֶֽל־יְרוּשָׁלַ͏ִם לַמִּלְחָמָה וְנִלְכְּדָה הָעִיר וְנָשַׁסּוּ הַבָּתִּים וְהַנָּשִׁים (תשגלנה) [תִּשָּׁכַבְנָה] וְיָצָא חֲצִי הָעִיר בַּגּוֹלָה וְיֶתֶר הָעָם לֹא יִכָּרֵת מִן־הָעִֽיר׃
3 तब ख़ुदावन्द ख़ुरूज करेगा और उन क़ौमों से लड़ेगा, जैसे जंग के दिन लड़ा करता था।
וְיָצָא יְהֹוָה וְנִלְחַם בַּגּוֹיִם הָהֵם כְּיוֹם הִֽלָּחֲמוֹ בְּיוֹם קְרָֽב׃
4 और उस दिन वह को — हए — जै़तून पर जो येरूशलेम के पूरब में वाक़े' है खड़ा होगा और कोह — ए — ज़ैतून बीच से फट जाएगा; और उसके पूरब से पशचिम तक एक बड़ी वादी हो जाएगी, क्यूँकि आधा पहाड़ उत्तर को सरक जाएगा और आधा दक्खिन को।
וְעָמְדוּ רַגְלָיו בַּיּוֹם־הַהוּא עַל־הַר הַזֵּיתִים אֲשֶׁר עַל־פְּנֵי יְרֽוּשָׁלַ͏ִם מִקֶּדֶם וְנִבְקַע הַר הַזֵּיתִים מֵֽחֶצְיוֹ מִזְרָחָה וָיָמָּה גֵּיא גְּדוֹלָה מְאֹד וּמָשׁ חֲצִי הָהָר צָפוֹנָה וְחֶצְיוֹ־נֶֽגְבָּה׃
5 और तुम मेरे पहाड़ों की वादी से होकर भागोगे, क्यूँकि पहाड़ों की वादी अज़ल तक होगी; जिस तरह तुम शाह — ए — यहूदाह उज़्ज़ियाह के दिनों में ज़लज़ले से भागे थे, उसी तरह भागोगे; क्यूँकि ख़ुदावन्द मेरा ख़ुदा आएगा और सब कु़दसी उसके साथ
וְנַסְתֶּם גֵּיא־הָרַי כִּי־יַגִּיעַ גֵּֽי־הָרִים אֶל־אָצַל וְנַסְתֶּם כַּאֲשֶׁר נַסְתֶּם מִפְּנֵי הָרַעַשׁ בִּימֵי עֻזִּיָּה מֶלֶךְ־יְהוּדָה וּבָא יְהֹוָה אֱלֹהַי כׇּל־קְדֹשִׁים עִמָּֽךְ׃
6 और उस दिन रोशनी न होगी, और अजराम — ए — फ़लक छिप जाएँगे।
וְהָיָה בַּיּוֹם הַהוּא לֹֽא־יִֽהְיֶה אוֹר יְקָרוֹת (יקפאון) [וְקִפָּאֽוֹן]׃
7 लेकिन एक दिन ऐसा आएगा जो ख़ुदावन्द ही को मा'लूम है। वह न दिन होगा न रात, लेकिन शाम के वक़्त रोशनी होगी।
וְהָיָה יוֹם־אֶחָד הוּא יִוָּדַע לַיהֹוָה לֹא־יוֹם וְלֹא־לָיְלָה וְהָיָה לְעֵֽת־עֶרֶב יִֽהְיֶה־אֽוֹר׃
8 और उस दिन येरूशलेम से आब — ए — हयात जारी होगा, जिसका आधा बहर — ए — पूरब की तरफ़ बहेगा और आधा बहर — ए — पच्छिम की तरफ़, गमीं सदी में जारी रहेगा।
וְהָיָה ׀ בַּיּוֹם הַהוּא יֵצְאוּ מַֽיִם־חַיִּים מִירוּשָׁלַ͏ִם חֶצְיָם אֶל־הַיָּם הַקַּדְמוֹנִי וְחֶצְיָם אֶל־הַיָּם הָאַחֲרוֹן בַּקַּיִץ וּבָחֹרֶף יִֽהְיֶֽה׃
9 और ख़ुदावन्द सारी दुनिया का बादशाह होगा। उस दिन एक ही ख़ुदावन्द होगा, और उसका नाम वाहिद होगा।
וְהָיָה יְהֹוָה לְמֶלֶךְ עַל־כׇּל־הָאָרֶץ בַּיּוֹם הַהוּא יִהְיֶה יְהֹוָה אֶחָד וּשְׁמוֹ אֶחָֽד׃
10 और येरूशलेम के दक्खिन में तमाम मुल्क जिबा' से रिम्मोन तक मैदान की तरह हो जाएगा। लेकिन येरूशलेम बुलन्द होगा, और बिनयमीन के फाटक से पहले फाटक के मक़ाम या'नी कोने के फाटक तक, और हननएल के बुर्ज से बादशाह के अंगूरी हौज़ों तक, अपने मक़ाम पर आबाद होगा।
יִסּוֹב כׇּל־הָאָרֶץ כָּֽעֲרָבָה מִגֶּבַע לְרִמּוֹן נֶגֶב יְרֽוּשָׁלָ͏ִם וְֽרָאֲמָה וְיָשְׁבָה תַחְתֶּיהָ לְמִשַּׁעַר בִּנְיָמִן עַד־מְקוֹם שַׁעַר הָֽרִאשׁוֹן עַד־שַׁעַר הַפִּנִּים וּמִגְדַּל חֲנַנְאֵל עַד יִקְבֵי הַמֶּֽלֶךְ׃
11 और लोग इसमें सुकूनत करेंगे और फिर ला'नत मुतलक़ न होगी, बल्कि येरूशलेम अमन — ओ — अमान से आबाद रहेगा।
וְיָשְׁבוּ בָהּ וְחֵרֶם לֹא יִֽהְיֶה־עוֹד וְיָשְׁבָה יְרוּשָׁלַ͏ִם לָבֶֽטַח׃
12 और ख़ुदावन्द येरूशलेम से जंग करने वाली सब क़ौमों पर यह 'ऐज़ाब नाज़िल करेगा, कि खड़े खड़े उनका गोश्त सूख जाएगा, और उनकी आँखे चश्म खानों में गल जायेंगी और उनकी ज़बान उनके मुँह में सड़ जाएगी।
וְזֹאת ׀ תִּהְיֶה הַמַּגֵּפָה אֲשֶׁר יִגֹּף יְהֹוָה אֶת־כׇּל־הָעַמִּים אֲשֶׁר צָבְאוּ עַל־יְרוּשָׁלָ͏ִם הָמֵק ׀ בְּשָׂרוֹ וְהוּא עֹמֵד עַל־רַגְלָיו וְעֵינָיו תִּמַּקְנָה בְחֹֽרֵיהֶן וּלְשׁוֹנוֹ תִּמַּק בְּפִיהֶֽם׃
13 और उस दिन ख़ुदावन्द की तरफ़ से उनके बीच बड़ी हलचल होगी और एक दूसरे का हाथ पकड़ेंगे और एक दूसरे के ख़िलाफ़ हाथ उठाएगा।
וְהָיָה בַּיּוֹם הַהוּא תִּהְיֶה מְהֽוּמַת־יְהֹוָה רַבָּה בָּהֶם וְהֶחֱזִיקוּ אִישׁ יַד רֵעֵהוּ וְעָלְתָה יָדוֹ עַל־יַד רֵעֵֽהוּ׃
14 और यहूदाह भी येरूशलेम के पास लड़ेगा, और चारों तरफ़ की सब क़ौमों का माल या'नी सोना — चाँदी और पोशाक बड़ी कसरत से इकठ्ठा किया जाएगा।
וְגַם־יְהוּדָה תִּלָּחֵם בִּירוּשָׁלָ͏ִם וְאֻסַּף חֵיל כׇּל־הַגּוֹיִם סָבִיב זָהָב וָכֶסֶף וּבְגָדִים לָרֹב מְאֹֽד׃
15 और घोड़ों, खच्चरों, ऊँटों, गधों और सब हैवानों पर भी जो उन लश्करगाहों में होंगे, वही 'ऐज़ाब नाज़िल होगा
וְכֵן תִּהְיֶה מַגֵּפַת הַסּוּס הַפֶּרֶד הַגָּמָל וְהַחֲמוֹר וְכׇל־הַבְּהֵמָה אֲשֶׁר יִֽהְיֶה בַּמַּחֲנוֹת הָהֵמָּה כַּמַּגֵּפָה הַזֹּֽאת׃
16 और येरूशलेम से लड़ने वाली क़ौमों में से जो बच रहेंगे, साल — ब — साल बादशाह रब्ब — उल — अफ़वाज को सिज्दा करने और 'ईद — ए — ख़ियाम मनाने को आएँगे।
וְהָיָה כׇּל־הַנּוֹתָר מִכׇּל־הַגּוֹיִם הַבָּאִים עַל־יְרוּשָׁלָ͏ִם וְעָלוּ מִדֵּי שָׁנָה בְשָׁנָה לְהִֽשְׁתַּחֲוֺת לְמֶלֶךְ יְהֹוָה צְבָאוֹת וְלָחֹג אֶת־חַג הַסֻּכּֽוֹת׃
17 और दुनिया के उन तमाम क़बाइल पर जो बादशाह रब्ब — उल — अफ़वाज के सामने सिज्दा करने को येरूशलेम में न आएँगे, मेंह न बरसेगा।
וְהָיָה אֲשֶׁר לֹֽא־יַעֲלֶה מֵאֵת מִשְׁפְּחוֹת הָאָרֶץ אֶל־יְרוּשָׁלַ͏ִם לְהִֽשְׁתַּחֲוֺת לְמֶלֶךְ יְהֹוָה צְבָאוֹת וְלֹא עֲלֵיהֶם יִהְיֶה הַגָּֽשֶׁם׃
18 और अगर क़बाइल — ए — मिस्र जिन पर बारिश नहीं होती न आएँ, तो उन पर वही 'ऐज़ाब नाज़िल होगा जिसको ख़ुदावन्द उन गै़र — क़ौमों पर नाज़िल करेगा, जो 'ईद — ए — ख़ियाम मनाने को न आएँगी।
וְאִם־מִשְׁפַּחַת מִצְרַיִם לֹֽא־תַעֲלֶה וְלֹא בָאָה וְלֹא עֲלֵיהֶם תִּֽהְיֶה הַמַּגֵּפָה אֲשֶׁר יִגֹּף יְהֹוָה אֶת־הַגּוֹיִם אֲשֶׁר לֹא יַעֲלוּ לָחֹג אֶת־חַג הַסֻּכּֽוֹת׃
19 अहल — ए — मिस्र और उन सब क़ौमों की, जो ईद — ए — ख़ियाम मनाने की न जाएँ यही सज़ा होगी।
זֹאת תִּהְיֶה חַטַּאת מִצְרָיִם וְחַטַּאת כׇּל־הַגּוֹיִם אֲשֶׁר לֹא יַעֲלוּ לָחֹג אֶת־חַג הַסֻּכּֽוֹת׃
20 उस दिन घोड़ों की घंटियों पर लिखा होगा, “ख़ुदावन्द के लिये पाक।” और ख़ुदावन्द के घर को देगें, मज़बह के प्यालों की तरह पाक होंगें।
בַּיּוֹם הַהוּא יִֽהְיֶה עַל־מְצִלּוֹת הַסּוּס קֹדֶשׁ לַיהֹוָה וְהָיָה הַסִּירוֹת בְּבֵית יְהֹוָה כַּמִּזְרָקִים לִפְנֵי הַמִּזְבֵּֽחַ׃
21 बल्कि येरूशलेम और यहूदाह में की सब देगें, रब्ब — उल — अफ़वाज के लिए पाक होंगी, और सब ज़बीहे पेश करने वाले आयेंगे और उनको लेकर उनमें पकायेंगे और उस रोज़ फिर कोई कन'आनी रब्ब — उल — अफ़वाज के घर में न होगा।
וְהָיָה כׇּל־סִיר בִּירוּשָׁלַ͏ִם וּבִיהוּדָה קֹדֶשׁ לַיהֹוָה צְבָאוֹת וּבָאוּ כׇּל־הַזֹּבְחִים וְלָקְחוּ מֵהֶם וּבִשְּׁלוּ בָהֶם וְלֹֽא־יִֽהְיֶה כְנַעֲנִי עוֹד בְּבֵית־יְהֹוָה צְבָאוֹת בַּיּוֹם הַהֽוּא׃

< ज़कर 14 >