< ज़कर 12 >

1 इस्राईल के बारे में ख़ुदावन्द की तरफ़ से बार — ए — नबुव्वत: ख़ुदावन्द जो आसमान को तानता और ज़मीन की नियु डालता और इंसान के अन्दर उसकी रूह पैदा करता है, यूँ फ़रमाता है:
מַשָּׂ֥א דְבַר־יְהוָ֖ה עַל־יִשְׂרָאֵ֑ל נְאֻם־יְהוָ֗ה נֹטֶ֤ה שָׁמַ֙יִם֙ וְיֹסֵ֣ד אָ֔רֶץ וְיֹצֵ֥ר רֽוּחַ־אָדָ֖ם בְּקִרְבּֽוֹ׃ פ
2 देखो, मैं येरूशलेम को चारों तरफ़ के सब लोगों के लिए लड़खड़ाहट का प्याला बनाऊँगा, और येरूशलेम के मुहासिरे के वक़्त यहूदाह का भी यही हाल होगा।
הִנֵּ֣ה אָ֠נֹכִי שָׂ֣ם אֶת־יְרוּשָׁלִַ֧ם סַף־רַ֛עַל לְכָל־הָעַמִּ֖ים סָבִ֑יב וְגַ֧ם עַל־יְהוּדָ֛ה יִֽהְיֶ֥ה בַמָּצ֖וֹר עַל־יְרוּשָׁלִָֽם׃
3 और मैं उस दिन येरूशलेम को सब क़ौमों के लिए एक भारी पत्थर बना दूँगा, और जो उसे उठाएँगे सब घायल होंगे, और दुनिया की सब क़ौमें उसके सामने जमा' होंगी।
וְהָיָ֣ה בַיּוֹם־הַ֠הוּא אָשִׂ֨ים אֶת־יְרוּשָׁלִַ֜ם אֶ֤בֶן מַֽעֲמָסָה֙ לְכָל־הָ֣עַמִּ֔ים כָּל־עֹמְסֶ֖יהָ שָׂר֣וֹט יִשָּׂרֵ֑טוּ וְנֶאֶסְפ֣וּ עָלֶ֔יהָ כֹּ֖ל גּוֹיֵ֥י הָאָֽרֶץ׃
4 ख़ुदावन्द फ़रमाता है, मैं उस दिन हर घोड़े को हैरतज़दा और उसके सवार को दीवाना कर दूँगा, लेकिन यहूदाह के घराने पर निगाह रख्खूँगा, और क़ौमों के सब घोड़ों को अंधा कर दूँगा।
בַּיּ֨וֹם הַה֜וּא נְאֻם־יְהוָ֗ה אַכֶּ֤ה כָל־סוּס֙ בַּתִּמָּה֔וֹן וְרֹכְב֖וֹ בַּשִּׁגָּע֑וֹן וְעַל־בֵּ֤ית יְהוּדָה֙ אֶפְקַ֣ח אֶת־עֵינַ֔י וְכֹל֙ ס֣וּס הָֽעַמִּ֔ים אַכֶּ֖ה בַּֽעִוָּרֽוֹן׃
5 तब यहूदाह के फ़रमारवाँ दिल में कहेंगे, कि 'येरूशलेम के बाशिन्दे अपने ख़ुदा रब्ब — उल — अफ़वाज की वजह से हमारी ताक़त हैं।
וְאָֽמְר֛וּ אַלֻּפֵ֥י יְהוּדָ֖ה בְּלִבָּ֑ם אַמְצָ֥ה לִי֙ יֹשְׁבֵ֣י יְרוּשָׁלִַ֔ם בַּיהוָ֥ה צְבָא֖וֹת אֱלֹהֵיהֶֽם׃
6 मैं उस दिन यहूदाह के फ़रमारवाओं को लकड़ियों में जलती अंगेठी और पूलों में मश'अल की तरह बनाऊँगा, और वह दहने बाएँ चारों तरफ़ की सब क़ौमों को खा जाएँगे, और अहल — ए — येरूशलेम फिर अपने मक़ाम पर येरूशलेम में ही आबाद होंगे।
בַּיּ֣וֹם הַה֡וּא אָשִׂים֩ אֶת־אַלֻּפֵ֨י יְהוּדָ֜ה כְּֽכִיּ֧וֹר אֵ֣שׁ בְּעֵצִ֗ים וּכְלַפִּ֥יד אֵשׁ֙ בְּעָמִ֔יר וְאָ֨כְל֜וּ עַל־יָמִ֧ין וְעַל־שְׂמֹ֛אול אֶת־כָּל־הָעַמִּ֖ים סָבִ֑יב וְיָשְׁבָ֨ה יְרוּשָׁלִַ֥ם ע֛וֹד תַּחְתֶּ֖יהָ בִּירוּשָׁלִָֽם׃ פ
7 और ख़ुदावन्द यहूदाह के ख़ैमों को पहले रिहाई बख़्शेगा, ताकि दाऊद का घराना और येरूशलेम के बाशिन्दे यहूदाह के ख़िलाफ़ ग़ुरूर न करें।
וְהוֹשִׁ֧יעַ יְהוָ֛ה אֶת־אָהֳלֵ֥י יְהוּדָ֖ה בָּרִֽאשֹׁנָ֑ה לְמַ֨עַן לֹֽא־תִגְדַּ֜ל תִּפְאֶ֣רֶת בֵּית־דָּוִ֗יד וְתִפְאֶ֛רֶת יֹשֵׁ֥ב יְרוּשָׁלִַ֖ם עַל־יְהוּדָֽה׃
8 उस दिन ख़ुदावन्द येरूशलेम के बाशिन्दों की हिमायत करेगा, और उनमें का सबसे कमज़ोर उस दिन दाऊद की तरह होगा; और दाऊद का घराना ख़ुदा की तरह, या'नी ख़ुदावन्द के फ़रिश्ते की तरह जो उनके आगे आगे चलता हो।
בַּיּ֣וֹם הַה֗וּא יָגֵ֤ן יְהוָה֙ בְּעַד֙ יוֹשֵׁ֣ב יְרוּשָׁלִַ֔ם וְהָיָ֞ה הַנִּכְשָׁ֥ל בָּהֶ֛ם בַּיּ֥וֹם הַה֖וּא כְּדָוִ֑יד וּבֵ֤ית דָּוִיד֙ כֵּֽאלֹהִ֔ים כְּמַלְאַ֥ךְ יְהוָ֖ה לִפְנֵיהֶֽם׃
9 और मैं उस दिन येरूशलेम की सब मुख़ालिफ़ क़ौमों की हलाकत का क़सद करूँगा।
וְהָיָ֖ה בַּיּ֣וֹם הַה֑וּא אֲבַקֵּ֗שׁ לְהַשְׁמִיד֙ אֶת־כָּל־הַגּוֹיִ֔ם הַבָּאִ֖ים עַל־יְרוּשָׁלִָֽם׃
10 और मैं दाऊद के घराने और येरूशलेम के बाशिन्दों पर फ़ज़ल और मुनाजात की रूह नाज़िल करूँगा, और वह उस पर जिसको उन्होंने छेदा है नज़र करेंगे और उसके लिए मातम करेंगे जैसा कौई अपने एकलौते के लिए करता है और उसके लिए तल्ख़ काम होंगे जैसे कोई अपने पहलौठे के लिए होता है।
וְשָׁפַכְתִּי֩ עַל־בֵּ֨ית דָּוִ֜יד וְעַ֣ל ׀ יוֹשֵׁ֣ב יְרוּשָׁלִַ֗ם ר֤וּחַ חֵן֙ וְתַ֣חֲנוּנִ֔ים וְהִבִּ֥יטוּ אֵלַ֖י אֵ֣ת אֲשֶׁר־דָּקָ֑רוּ וְסָפְד֣וּ עָלָ֗יו כְּמִסְפֵּד֙ עַל־הַיָּחִ֔יד וְהָמֵ֥ר עָלָ֖יו כְּהָמֵ֥ר עַֽל־הַבְּכֽוֹר׃
11 और उस दिन येरूशलेम में बड़ा मातम होगा, हदद रिम्मोन के मातम की तरह जो मजिहोन की वादी में हुआ।
בַּיּ֣וֹם הַה֗וּא יִגְדַּ֤ל הַמִּסְפֵּד֙ בִּיר֣וּשָׁלִַ֔ם כְּמִסְפַּ֥ד הֲדַדְ־רִמּ֖וֹן בְּבִקְעַ֥ת מְגִדּֽוֹן׃
12 और तमाम मुल्क मातम करेगा, हर एक घराना अलग; दाऊद का घराना अलग, और उनकी बीवियाँ अलग; नातन का घराना अलग, और उनकी बीवियाँ अलग;
וְסָפְדָ֣ה הָאָ֔רֶץ מִשְׁפָּח֥וֹת מִשְׁפָּח֖וֹת לְבָ֑ד מִשְׁפַּ֨חַת בֵּית־דָּוִ֤יד לְבָד֙ וּנְשֵׁיהֶ֣ם לְבָ֔ד מִשְׁפַּ֤חַת בֵּית־נָתָן֙ לְבָ֔ד וּנְשֵׁיהֶ֖ם לְבָֽד׃
13 लावी का घराना अलग, और उनकी बीवियाँ अलग; सिम'ई का घराना अलग, और उनकी बीवियाँ अलग;
מִשְׁפַּ֤חַת בֵּית־לֵוִי֙ לְבָ֔ד וּנְשֵׁיהֶ֖ם לְבָ֑ד מִשְׁפַּ֤חַת הַשִּׁמְעִי֙ לְבָ֔ד וּנְשֵׁיהֶ֖ם לְבָֽד׃
14 बाक़ी सब घराने अलग — अलग, और उनकी बीवियाँ अलग अलग!'
כֹּ֗ל הַמִּשְׁפָּחוֹת֙ הַנִּשְׁאָר֔וֹת מִשְׁפָּחֹ֥ת מִשְׁפָּחֹ֖ת לְבָ֑ד וּנְשֵׁיהֶ֖ם לְבָֽד׃ ס

< ज़कर 12 >