< ज़बूर 47 >

1 ऐ सब उम्मतों, तालियाँ बजाओ! ख़ुदा के लिए ख़ुशी की आवाज़ से ललकारो!
Dem Vorsänger. Von den Söhnen Korahs, ein Psalm. Ihr Völker alle, klatschet in die Hände! Jauchzet Gott mit Jubelschall!
2 क्यूँकि ख़ुदावन्द ता'ला बड़ा है, वह पूरी ज़मीन का शहंशाह है।
Denn Jehova, der Höchste, ist furchtbar, ein großer König über die ganze Erde.
3 वह उम्मतों को हमारे सामने पस्त करेगा, और क़ौमें हमारे क़दमों तले हो जायेंगी।
Er unterwarf uns die Völker, und die Völkerschaften unter unsere Füße.
4 वह हमारे लिए हमारी मीरास को चुनेगा, जो उसके महबूब या'क़ूब की हश्मत है। (सिलाह)
Er erwählte für uns unser Erbteil, den Stolz Jakobs, den er geliebt hat. (Sela)
5 ख़ुदा ने बुलन्द आवाज़ के साथ, ख़ुदावन्द ने नरसिंगे की आवाज़ के साथ सु'ऊद फ़रमाया।
Gott ist emporgestiegen unter Jauchzen, Jehova unter Posaunenschall.
6 मदहसराई करो, ख़ुदा की मदहसराई करो! मदहसराई करो, हमारे बादशाह की मदहसराई करो!
Singet Gott Psalmen, singet Psalmen; singet Psalmen unserem König, singet Psalmen!
7 क्यूँकि ख़ुदा सारी ज़मीन का बादशाह है; 'अक़्ल से मदहसराई करो।
Denn Gott ist König der ganzen Erde; singet Psalmen mit Einsicht!
8 ख़ुदा क़ौमों पर सल्तनत करता है; ख़ुदा अपने पाक तख़्त पर बैठा है।
Gott regiert über die Nationen; Gott hat sich auf den Thron seiner Heiligkeit gesetzt.
9 उम्मतों के सरदार इकट्ठे हुए हैं, ताकि अब्रहाम के ख़ुदा की उम्मत बन जाएँ; क्यूँकि ज़मीन की ढालें ख़ुदा की हैं, वह बहुत बुलन्द है।
Die Edlen der Völker haben sich versammelt und das Volk des Gottes Abrahams; denn die Schilde der Erde sind Gottes; er ist sehr erhaben.

< ज़बूर 47 >