< ज़बूर 37 >
1 तू बदकिरदारों की वजह से बेज़ार न हो, और बदी करने वालों पर रश्क न कर!
No te impacientes a causa de los malignos, Ni tengas envidia de los que hacen iniquidad.
2 क्यूँकि वह घास की तरह जल्द काट डाले जाएँगे, और हरियाली की तरह मुरझा जाएँगे।
Porque como hierba, serán pronto marchitados, Y como la hierba verde se secarán.
3 ख़ुदावन्द पर भरोसा कर, और नेकी कर; मुल्क में आबाद रह, और उसकी वफ़ादारी से परवरिश पा।
Confía en Yavé y practica el bien. Así vivirás en la tierra y te apacentarás de la fidelidad.
4 ख़ुदावन्द में मसरूर रह, और वह तेरे दिल की मुरादें पूरी करेगा।
Deléitate también en Yavé, Y Él te dará los deseos de tu corazón.
5 अपनी राह ख़ुदावन्द पर छोड़ दे: और उस पर भरोसा कर, वही सब कुछ करेगा।
Encomienda a Yavé tu camino, Confía en Él, Y Él hará.
6 वह तेरी रास्तबाज़ी को नूर की तरह, और तेरे हक़ को दोपहर की तरह रोशन करेगा।
Exhibirá tu justicia como la luz, Y tu derecho como el mediodía.
7 ख़ुदावन्द में मुतम'इन रह, और सब्र से उसकी आस रख; उस आदमी की वजह से जो अपनी राह में कामयाब होता और बुरे मन्सूबों को अंजाम देता है, बेज़ार न हो।
Guarda silencio ante Yavé, Y espéralo con paciencia. No te impacientes a causa del que prospera en su camino, A causa del hombre que maquina perversidades.
8 क़हर से बाज़ आ और ग़ज़ब को छोड़ दे! बेज़ार न हो, इससे बुराई ही निकलती है।
Deja la ira, desecha el enojo, No te excites de alguna manera a hacer el mal.
9 क्यूँकि बदकार काट डाले जाएँगे; लेकिन जिनको ख़ुदावन्द की आस है, मुल्क के वारिस होंगे।
Porque los perversos serán cortados, Pero los que esperan en Yavé heredarán la tierra.
10 क्यूँकि थोड़ी देर में शरीर नाबूद हो जाएगा; तू उसकी जगह को ग़ौर से देखेगा पर वह न होगा।
Pues dentro de poco el perverso no existirá. Examinarás con diligencia su lugar, y no estará allí.
11 लेकिन हलीम मुल्क के वारिस होंगे, और सलामती की फ़िरावानी से ख़ुश रहेंगे।
Pero los mansos poseerán la tierra, Y se deleitarán con abundante paz.
12 शरीर रास्तबाज़ के ख़िलाफ़ बन्दिशें बाँधता है, और उस पर दाँत पीसता है;
Maquina el inicuo contra el justo, Y cruje sus dientes contra él.
13 ख़ुदावन्द उस पर हंसेगा, क्यूँकि वह देखता है कि उसका दिनआता है।
ʼAdonay se ríe de él, Porque ve que le llega su día.
14 शरीरों ने तलवार निकाली और कमान खींची है, ताकि ग़रीब और मुहताज को गिरा दें, और रास्तरों को क़त्ल करें।
Los impíos desenvainaron espada y tensaron su arco Para derribar al pobre y al menesteroso, Para matar a los rectos de conducta.
15 उनकी तलवार उन ही के दिल को छेदेगी, और उनकी कमानें तोड़ी जाएँगी।
Su espada penetrará en su propio corazón, Y sus arcos serán quebrados.
16 सादिक़ का थोड़ा सा माल, बहुत से शरीरों की दौलत से बेहतर है।
Mejor es lo poco del justo, Que la abundancia de muchos perversos.
17 क्यूँकि शरीरों के बाज़ू तोड़े जाएँगे, लेकिन ख़ुदावन्द सादिकों को संभालता है।
Porque los brazos de los perversos serán quebrados, Pero Yavé sostiene a los justos.
18 कामिल लोगों के दिनों को ख़ुदावन्द जानता है, उनकी मीरास हमेशा के लिए होगी।
Yavé conoce los días de los íntegros, Y la heredad de ellos será eterna.
19 वह आफ़त के वक़्त शर्मिन्दा न होंगे, और काल के दिनों में आसूदा रहेंगे।
No serán avergonzados en tiempo adverso, Y en días de hambre serán saciados.
20 लेकिन शरीर हलाक होंगे, ख़ुदावन्द के दुश्मन चरागाहों की सरसब्ज़ी की तरह होंगे; वह फ़ना हो जाएँगे, वह धुएँ की तरह जाते रहेंगे।
Pero los perversos perecerán. Los enemigos de Yavé serán consumidos Como el verdor de los prados. Desvanecerán como el humo.
21 शरीर क़र्ज़ लेता है और अदा नहीं करता, लेकिन सादिक़ रहम करता है और देता है।
El perverso toma prestado y no paga, Pero el justo es compasivo y da.
22 क्यूँकि जिनको वह बरकत देता है, वह ज़मीन के वारिस होंगे; और जिन पर वह ला'नत करता है, वह काट डाले जाएँगे।
Porque los benditos por Él heredarán la tierra, Pero los malditos por Él serán cortados.
23 इंसान की चाल चलन ख़ुदावन्द की तरफ़ से क़ाईम हैं, और वह उसकी राह से ख़ुश है;
Por Yavé son establecidos los pasos del hombre En cuyo camino Él se deleita.
24 अगर वह गिर भी जाए तो पड़ा न रहेगा, क्यूँकि ख़ुदावन्द उसे अपने हाथ से संभालता है।
Aunque caiga, no quedará postrado, Porque Yavé sostiene su mano.
25 मैं जवान था और अब बूढ़ा हूँ तोभी मैंने सादिक़ को बेकस, और उसकी औलाद को टुकड़े माँगते नहीं देखा।
Fui joven, y ahora soy anciano, Y no he visto justo desamparado, Ni a su descendencia que mendigue pan.
26 वह दिन भर रहम करता है और क़र्ज़ देता है, और उसकी औलाद को बरकत मिलती है।
En todo tiempo tiene misericordia, y presta, Y sus descendientes son para bendición.
27 बदी को छोड़ दे और नेकी कर; और हमेशा तक आबाद रह।
Apártate del mal y practica la rectitud, Y vivirás para siempre.
28 क्यूँकि ख़ुदावन्द इन्साफ़ को पसंद करता है: और अपने पाक लोगों को नहीं छोड़ता। वह हमेशा के लिए महफ़ूज़ हैं, लेकिन शरीरों की नसल काट डाली जाएगी।
Porque Yavé ama la justicia, Y no desampara a sus piadosos. Para siempre son guardados sus santos, Pero la descendencia de los perversos será cortada.
29 सादिक़ ज़मीन के वारिस होंगे, और उसमें हमेशा बसे रहेंगे।
Los justos heredarán la tierra, Y vivirán en ella para siempre.
30 सादिक़ के मुँह से दानाई निकलती है, और उसकी ज़बान से इन्साफ़ की बातें।
La boca del justo expresa sabiduría y habla justicia.
31 उसके ख़ुदा की शरी'अत उसके दिल में है, वह अपनी चाल चलन में फिसलेगा नहीं।
La Ley de su ʼElohim está en su corazón. Sus pasos no resbalan.
32 शरीर सादिक़ की ताक में रहता है; और उसे क़त्ल करना चाहता है।
El perverso acecha al justo Y trata de matarlo.
33 ख़ुदावन्द उसे उसके हाथ में नहीं छोड़ेगा, और जब उसकी 'अदालत हो तो उसे मुजरिम न ठहराएगा।
Yavé no lo dejará en su mano, Ni permitirá que sea condenado cuando sea juzgado.
34 ख़ुदावन्द की उम्मीद रख, और उसी की राह पर चलता रह, और वह तुझे सरफ़राज़ करके ज़मीन का वारिस बनाएगा; जब शरीर काट डाले जाएँगे, तो तू देखेगा।
Espera a Yavé y guarda tu camino. Él te exaltará para que poseas la tierra. Cuando los perversos sean cortados, Tú lo verás.
35 मैंने शरीर को बड़े इक्तिदार में और ऐसा फैलता देखा, जैसे कोई हरा दरख़्त अपनी असली ज़मीन में फैलता है।
He visto al perverso en gran poder Extenderse como árbol frondoso en su propio suelo.
36 लेकिन जब कोई उधर से गुज़राऔर देखा तो वह था ही नहीं; बल्कि मैंने उसे ढूंढा लेकिन वह न मिला।
Pero luego pasó y no fue más, Lo busqué, y no fue hallado.
37 कामिल आदमी पर निगाह कर और रास्तबाज़ को देख, क्यूँकि सुलह दोस्त आदमी के लिए अज्र है।
Considera al hombre recto y mira al justo, Porque hay un final feliz para el hombre de paz.
38 लेकिन ख़ताकार इकट्ठे मर मिटेंगे; शरीरों का अंजाम हलाकत है।
Pero los transgresores serán destruidos por completo. La posteridad de los perversos será cortada.
39 लेकिन सादिकों की नजात ख़ुदावन्द की तरफ़ से है; मुसीबत के वक़्त वह उनका मज़बूत क़िला है।
La salvación de los justos es de Yavé. Él es su Fortaleza en el tiempo de angustia.
40 और ख़ुदावन्द उनकी मदद करताऔर उनको बचाता है; वह उनको शरीरों से छुड़ाता और बचा लेता है, इसलिए कि उन्होंने उसमें पनाह ली है।
Yavé los ayuda y los libra. Los liberta de los perversos y los salva, Porque se refugian en Él.