< हिज़ि 39 >

1 इसलिए ऐ आदमज़ाद, तू जूज के ख़िलाफ़ नबुव्वत कर और कह, कि ख़ुदावन्द ख़ुदा यूँ फ़रमाता है: देख, ऐ जूज, रोश और मसक और तूबल के फ़रमारवा, मैं तेरा मुख़ालिफ़ हूँ।
Tú, hijo de hombre, profetiza contra Gog, diciendo: Así habla Yahvé, el Señor: Heme aquí contra ti, oh Gog, príncipe de Rosch, Mósoc y Tubal.
2 और मैं तुझे फिरा दूँगा और तुझे लिए फिरूँगा और उत्तर की दूर 'अतराफ़ से चढ़ा लाऊँगा और तुझे इस्राईल के पहाड़ों पर पहुचाऊँगा।
Yo te haré dar vueltas y te conduciré; Yo te haré subir de las partes más remotas del norte, y te llevaré a las montañas de Israel.
3 और तेरी कमान तेरे बाएँ हाथ से छुड़ा दूँगा और तेरे तीर तेरे दहने हाथ से गिरा दूँगा।
Yo destrozaré el arco que tienes en tu mano izquierda, y haré caer tus flechas de tu mano derecha.
4 तू इस्राईल के पहाड़ों पर अपने सब लश्कर और हिमायतियों के साथ गिर जाएगा, और मैं तुझे हर क़िस्म के शिकारी परिन्दों और मैदान के दरिन्दों को दूँगा कि खा जाएँ।
Sobre los montes de Israel caerás tú y todos tus ejércitos y los pueblos que te acompañan; te entregaré a las aves de rapiña, a los volátiles de toda especie, y a las fieras del campo, para que te devoren.
5 तू खुले मैदान में गिरेगा, क्यूँकि मैंने ही कहा, ख़ुदावन्द ख़ुदा फ़रमाता है।
Sobre la superficie del campo caerás; porque Yo he hablado, dice Yahvé, el Señor.
6 और मैं माजूज पर और उन पर जो समन्दरी मुल्कों में अमन से सुकूनत करते हैं, आग भेजूँगा और वह जानेंगे कि मैं ख़ुदावन्द हूँ।
Enviaré fuego sobre Magog, y sobre los que habitan confiadamente en las islas; y conocerán que Yo soy Yahvé.
7 और मैं अपने मुक़द्दस नाम को अपनी उम्मत इस्राईल में ज़ाहिर करूँगा, और फिर अपने मुक़द्दस नाम की बेहुरमती न होने दूँगा; और क़ौमे जानेंगी कि मैं ख़ुदावन्द इस्राईल का क़ुददूस हूँ।
Y haré que se conozca mi santo Nombre en medio de Israel, mi pueblo, y no dejaré profanar más mi santo Nombre; y las naciones sabrán que Yo soy Yahvé, el Santo de Israel.
8 देख, वह पहुँचा और वजूद में आया, ख़ुदावन्द ख़ुदा फ़रमाता है; यह वही दिन है जिसके ज़रिए' मैंने फ़रमाया था।
He aquí que esto sucederá y se cumplirá, dice Yahvé. Este es el día del cual he hablado.
9 तब इस्राईल के शहरों के बसने वाले निकलेंगे और आग लगाकर हथियारों को जलाएँगे, या'नी सिपरों और फरियों को, कमानों और तीरों को, और भालों और बर्छियों को, और वह सात बरस तक उनको जलाते रहेंगे।
Entonces los habitantes saldrán de las ciudades de Israel, y prenderán fuego a las armas y las quemarán, así como los escudos, las rodelas, los arcos, las saetas, las mazas y las lanzas; y serán pábulo para el fuego por siete años.
10 यहाँ तक कि न वह मैदानों से लकड़ी लाएँगे और न जंगलों से काटेंगे क्यूँकि वह हथियार ही जलाएँगे, और वह अपने लूटने वालों को लूटेंगे और अपने ग़ारत करने वालों को ग़ारत करेंगे, ख़ुदावन्द ख़ुदा फ़रमाता है।
No traerán leña del campo, ni la cortarán en los bosques, pues harán lumbre con las armas. Así depredarán a sus depredadores y despojarán a esos mismos que los habían despojado, dice Yahvé, el Señor.
11 और उसी दिन यूँ होगा कि मैं वहाँ इस्राईल में जूज को एक क़ब्रिस्तान दूँगा, या'नी रहगुज़रों की वादी जो समन्दर के पूरब में वहाँ जूज को और उसकी तमाम जमियत को दफ़न करेंगे, और जमियत — ए — जूज की वादी उसका नाम रख्खेंगे।
En aquel día daré a Gog un lugar de sepultura en Israel: el valle de los Pasajeros, al oriente del mar, valle que obstruye el paso a los transeúntes. Allí enterrarán a Gog y a toda su multitud; y será llamado Valle de la muchedumbre de Gog.
12 और सात महीनों तक बनी इस्राईल उनको दफ़न करते रहेंगे ताकि मुल्क को साफ़ करें।
A fin de purificar la tierra, la casa de Israel los estará enterrando durante siete meses.
13 हाँ, उस मुल्क के सब लोग उनको दफ़न करेंगे; और यह उनके लिए उनका भी नाम होगा जिस रोज़ मेरी बड़ाई होगी, ख़ुदावन्द ख़ुदा फ़रमाता है।
Los enterrará todo el pueblo del país; y será para ellos un día glorioso aquel en que Yo seré glorificado, dice Yahvé, el Señor.
14 और वह चन्द आदमियों को चुन लेंगे जो इस काम में हमेशा मशगू़ल रहेंगे, और वह ज़मीन पर से गुज़रते हुए रहगुज़रों की मदद से, उनको जो सतह — ए — ज़मीन पर पड़े रह गए हों, दफ़न करेंगे ताकि उसे साफ़ करें, पूरे सात महीनों के बाद तलाश करेंगे।
Designarán hombres que recorran sin cesar el país para enterrar a los insepultos, a los dejados sobre la faz de la tierra, para purificarla. Durante siete meses harán sus investigaciones.
15 और जब वह मुल्क में से गुज़रें और उनमें से कोई किसी आदमी की हड्डी देखे, तो उसके पास एक निशान खड़ा करेगा, जब तक दफ़न करने वाले जमियत — ए — जूज की वादी में उसे दफ़न न करें।
Cuando los que recorren el país vean los huesos de un hombre, pondrán junto a ellos una señal, hasta su entierro por los sepultureros en el Valle de la muchedumbre de Gog.
16 और शहर भी ज'मिय्यत कहलाएगा। यूँ वह ज़मीन को पाक करेंगे।
Hamona será el nombre de esa ciudad; y así purificarán el país.
17 और ऐ आदमज़ाद, ख़ुदावन्द ख़ुदा फ़रमाता है: कि हर क़िस्म के परिन्दे और मैदान के हर एक जानवर से कह, जमा' होकर आओ, मेरे उस ज़बीहे पर जिसे मैं तुम्हारे लिए ज़बह करता हूँ; हाँ, इस्राईल के पहाड़ों पर एक बड़े ज़बीहे पर हर तरफ़ से जमा' हो, ताकि तुम गोश्त खाओ और खू़न पियो।
Y tú, hijo de hombre, así dice Yahvé, el Señor: Di a los volátiles de toda especie y a todas las bestias del campo: ¡Congregaos y venid! Reuníos de todos los alrededores junto a la víctima mía la que Yo inmolo para vosotros, víctima grande, sobre las montañas de Israel, para que comáis carne y bebáis sangre.
18 तुम बहादुरों का गोश्त खाओगे और ज़मीन के 'उमरा का खू़न पिओगे, हाँ, मेंढों, बर्रों, बकरों और बैलों का वह सब के सब बसन के फ़र्बा हैं।
Comeréis carne de héroes y beberéis sangre de príncipes de la tierra: carneros, corderos, machos cabríos y toros, todos ellos gordos (como los) de Basán.
19 और तुम मेरे ज़बीहे की जिसे मैंने तुम्हारे लिए ज़बह किया यहाँ तक खाओगे कि सेर हो जाओगे, और इतना खू़न पिओगे कि मस्त हो जाओगे।
Comeréis hasta hartaros de la gordura de mi víctima que preparo para vosotros, y beberéis sangre hasta la embriaguez.
20 और तुम मेरे दस्तरख़्वान पर घोड़ों और सवारों से, और बहादुरों और तमाम जंगीमर्दों से सेर होगे, ख़ुदावन्द ख़ुदा फ़रमाता है।
En mi casa os saciaréis de caballos y de jinetes, de héroes y de toda clase de guerreros, dice Yahvé, el Señor.
21 'और मैं क़ौमों के बीच अपनी बुज़ुर्गी ज़ाहिर करूँगा और तमाम क़ोमें मेरी सज़ा को जो मैंने दी और मेरे हाथ को जो मैंने उन पर रख्खा देखेंगी।
Entonces haré manifestación de mi gloria entre los gentiles, y todos los gentiles verán cómo Yo ejecuto mi justicia descargando sobre ellos mi mano.
22 और बनी — इस्राईल जानेंगे कि उस दिन से लेकर आगे को मैं ही ख़ुदावन्द उनका ख़ुदा हूँ।
Y desde aquel día en adelante sabrá la casa de Israel que Yo soy Yahvé, su Dios.
23 और क़ौमें जानेंगी कि बनी — इस्राईल अपनी बदकिरदारी की वजह से ग़ुलामी में गए, चूँकि वह मुझ से बाग़ी हुए, इसलिए मैंने उनसे मुँह छिपाया; और उनको उनके दुश्मनों के हाथ में कर दिया, और वह सब के सब तलवार से क़त्ल हुए।
Y las naciones entenderán que por sus iniquidades fue llevada la casa de Israel al cautiverio; que a causa de su infidelidad contra Mí escondí de ellos mi rostro y los entregué en manos de sus enemigos, para que todos cayesen al filo de la espada;
24 उनकी नापाकी और ख़ताकारी के मुताबिक़, मैंने उनसे सुलूक किया और उनसे अपना मुँह छिपाया।
que los traté según sus inmundicias y según sus prevaricaciones y que por eso oculté de ellos mi rostro.
25 लेकिन ख़ुदावन्द ख़ुदा यूँ फ़रमाता है: कि अब मैं या'क़ूब की ग़ुलामी को ख़त्म करूँगा, और तमाम बनी इस्राईल पर रहम करूँगा और अपने पाक नाम के लिए ग़य्यूर हूँगा।
Por tanto, así dice Yahvé, el Señor: Ahora volveré a traer a los cautivos de Jacob, y me apiadaré de toda la casa de Israel, pero seré celoso de mi santo Nombre.
26 और वह अपनी रुस्वाई और तमाम ख़ताकारी, जिससे वह मेरे गुनहगार हुए बर्दाश्त करेंगे; जब वह अपनी सरज़मीन में अमन से क़याम करेंगे, तो कोई उनको न डराएगा।
Llevarán su ignominia y todas sus infidelidades que han cometido contra Mí, cuando habiten ya seguros en su tierra sin que nadie los espante.
27 जब मैं उनकी उम्मतों में से वापस लाऊँगा, और उनके दुश्मनों के मुल्कों से जमा' करूँगा, और बहुत सी क़ौमों की नज़रों में उनके बीच मेरी तक़दीस होगी।
Y cuando Yo los haga volver de entre los pueblos, recogiéndolos de los países de sus enemigos y manifestando en ellos mi santidad a los ojos de muchas naciones,
28 तब वह जानेंगे कि मैं ख़ुदावन्द उनका ख़ुदा हूँ, इसलिए कि मैंने उनको क़ौम के बीच ग़ुलामी में भेजा और मैं ही ने उनको उनके मुल्क में जमा' किया और उनमें से एक को भी वहाँ न छोड़ा।
reconocerán que Yo soy Yahvé, su Dios, el que los llevó al cautiverio entre las naciones, y el que los reunió en su propia tierra, sin dejar allí ni uno de ellos.
29 और मैं फिर कभी उनसे मुँह न छिपाऊँगा, क्यूँकि मैंने अपनी रूह बनी — इस्राईल पर नाज़िल की है ख़ुदावन्द ख़ुदा फ़रमाता है।
No volveré más a esconder de ellos mi rostro; porque habré derramado mi espíritu sobre la casa de Israel” —oráculo de Yahvé, el Señor.

< हिज़ि 39 >