< Псалтирь 93 >

1 Хвалебная песнь Давида. В день предсубботний, когда населена земля. Господь царствует; Он облечен величием, облечен Господь могуществом и препоясан: потому вселенная тверда, не подвигнется.
ख़ुदावन्द सलतनत करता है वह शौकत से मुलब्बस है ख़ुदावन्द कु़दरत से मुलब्बस है, वह उससे कमर बस्ता है इस लिए जहान क़ाईम है और उसे जुम्बिश नहीं।
2 Престол Твой утвержден искони: Ты - от века.
तेरा तख़्त पहले से क़ाईम है, तू इब्तिदा से है।
3 Возвышают реки, Господи, возвышают реки голос свой, возвышают реки волны свои.
सैलाबों ने, ऐ ख़ुदावन्द! सैलाबों ने शोर मचा रख्खा है, सैलाब मौजज़न हैं।
4 Но паче шума вод многих, сильных волн морских, силен в вышних Господь.
बहरों की आवाज़ से, समन्दर की ज़बरदस्त मौजों से भी, ख़ुदावन्द बलन्द — ओ — क़ादिर है।
5 Откровения Твои несомненно верны. Дому Твоему, Господи, принадлежит святость на долгие дни.
तेरी शहादतें बिल्कुल सच्ची हैं; ऐ ख़ुदावन्द हमेशा से हमेशा तक के लिए पाकीज़गी तेरे घर को ज़ेबा है।

< Псалтирь 93 >