< اعداد 6 >
१फिर यहोवा ने मूसा से कहा,
«این دستورها را به بنیاسرائیل بده: وقتی که زنی یا مردی به طریق خاص، نذر کرده، خود را وقف خدمت خداوند نماید، | 2 |
२“इस्राएलियों से कह कि जब कोई पुरुष या स्त्री नाज़ीर की मन्नत, अर्थात् अपने को यहोवा के लिये अलग करने की विशेष मन्नत माने,
باید از مشروبات الکلی یا شراب و یا حتی شراب تازه، آب انگور، انگور یا کشمش اجتناب کند. | 3 |
३तब वह दाखमधु और मदिरा से अलग रहे; वह न दाखमधु का, और न मदिरा का सिरका पीए, और न दाख का कुछ रस भी पीए, वरन् दाख न खाए, चाहे हरी हो चाहे सूखी।
درضمن در تمام ایام وقف خود، از هرآنچه که از درخت انگور به دست میآید، از هسته گرفته تا پوست آن، نخورد. | 4 |
४जितने दिन यह अलग रहे उतने दिन तक वह बीज से लेकर छिलके तक, जो कुछ दाखलता से उत्पन्न होता है, उसमें से कुछ न खाए।
«در تمامی ایام نذرِ وقف شدگی خود، هرگز نباید موی سرش را بتراشد، زیرا او مقدّس و وقف خداوند شده است. پس تا پایان روزهای وقف خود باید بگذارد موی سرش بلند شود. | 5 |
५“फिर जितने दिन उसने अलग रहने की मन्नत मानी हो उतने दिन तक वह अपने सिर पर छुरा न फिराए; और जब तक वे दिन पूरे न हों जिनमें वह यहोवा के लिये अलग रहे तब तक वह पवित्र ठहरेगा, और अपने सिर के बालों को बढ़ाए रहे।
«در طول مدتی که وقف خداوند میباشد نباید به مردهای نزدیک شود. | 6 |
६जितने दिन वह यहोवा के लिये अलग रहे उतने दिन तक किसी लोथ के पास न जाए।
حتی اگر جنازهٔ پدر، مادر، برادر یا خواهرش باشد، او نباید خود را نجس سازد، زیرا موی سرش نشان وقف او به خداست. | 7 |
७चाहे उसका पिता, या माता, या भाई, या बहन भी मरे, तो भी वह उनके कारण अशुद्ध न हो; क्योंकि अपने परमेश्वर के लिये अलग रहने का चिन्ह उसके सिर पर होगा।
او در تمام آن مدت وقف خداوند میباشد. | 8 |
८अपने अलग रहने के सारे दिनों में वह यहोवा के लिये पवित्र ठहरा रहे।
اگر کسی ناگهان در کنار او بمیرد، او نجس میشود و باید بعد از هفت روز موی خود را بتراشد تا نجاستش پاک شود. | 9 |
९“यदि कोई उसके पास अचानक मर जाए, और उसके अलग रहने का जो चिन्ह उसके सिर पर होगा वह अशुद्ध हो जाए, तो वह शुद्ध होने के दिन, अर्थात् सातवें दिन अपना सिर मुँड़ाएँ।
روز هشتم باید دو قمری یا دو جوجه کبوتر پیش کاهن، دم در خیمهٔ ملاقات بیاورد. | 10 |
१०और आठवें दिन वह दो पंडुक या कबूतरी के दो बच्चे मिलापवाले तम्बू के द्वार पर याजक के पास ले जाए,
کاهن یکی از پرندهها را به عنوان قربانی گناه و دیگری را به عنوان قربانی سوختنی تقدیم کرده، جهت نجاست او کفاره کند. در همان روز او باید نذر خود را تجدید نموده، بگذارد دوباره موی سرش بلند شود. | 11 |
११और याजक एक को पापबलि, और दूसरे को होमबलि करके उसके लिये प्रायश्चित करे, क्योंकि वह लोथ के कारण पापी ठहरा है। और याजक उसी दिन उसका सिर फिर पवित्र करे,
روزهای نذرش که پیش از نجاستش سپری شدهاند دیگر به حساب نیایند. او باید نذر خود را به خداوند از نو آغاز نموده، یک برهٔ نر یک ساله به عنوان قربانی جبران بیاورد. | 12 |
१२और वह अपने अलग रहने के दिनों को फिर यहोवा के लिये अलग ठहराए, और एक वर्ष का एक भेड़ का बच्चा दोषबलि करके ले आए; और जो दिन इससे पहले बीत गए हों वे व्यर्थ गिने जाएँ, क्योंकि उसके अलग रहने का चिन्ह अशुद्ध हो गया।
«در پایان دورهٔ نذر خود به خداوند، باید دم در خیمهٔ ملاقات بیاید | 13 |
१३“फिर जब नाज़ीर के अलग रहने के दिन पूरे हों, उस समय के लिये उसकी यह व्यवस्था है; अर्थात् वह मिलापवाले तम्बू के द्वार पर पहुँचाया जाए,
و یک برهٔ نر یک سالهٔ بیعیب جهت قربانی سوختنی برای خداوند بیاورد. همچنین باید یک برهٔ مادهٔ یک سالهٔ بیعیب برای قربانی گناه، یک قوچ بیعیب به عنوان قربانی سلامتی، | 14 |
१४और वह यहोवा के लिये होमबलि करके एक वर्ष का एक निर्दोष भेड़ का बच्चा पापबलि करके, और एक वर्ष की एक निर्दोष भेड़ की बच्ची, और मेलबलि के लिये एक निर्दोष मेढ़ा,
یک سبد نان فطیر که از آرد مرغوب مخلوط با روغن زیتون درست شده باشد و قرصهای فطیر روغنی همراه با هدیهٔ آردی و نوشیدنی آن تقدیم کند. | 15 |
१५और अख़मीरी रोटियों की एक टोकरी, अर्थात् तेल से सने हुए मैदे के फुलके, और तेल से चुपड़ी हुई अख़मीरी पपड़ियाँ, और उन बलियों के अन्नबलि और अर्घ; ये सब चढ़ावे समीप ले जाए।
کاهن باید این قربانیها و هدایا را از او گرفته، به حضور خداوند تقدیم نماید: قربانی گناه، قربانی سوختنی، | 16 |
१६इन सब को याजक यहोवा के सामने पहुँचाकर उसके पापबलि और होमबलि को चढ़ाए,
و قوچ برای قربانی سلامتی همراه با یک سبد نان فطیر و هدیهٔ آردی و نوشیدنی آن. | 17 |
१७और अख़मीरी रोटी की टोकरी समेत मेढ़े को यहोवा के लिये मेलबलि करके, और उस मेलबलि के अन्नबलि और अर्घ को भी चढ़ाए।
«پس از آن، شخص وقف شده موی بلند سر خود را که علامت نذر اوست بتراشد. این عمل را دم در خیمهٔ ملاقات انجام داده، موی تراشیده شده را در آتشی که زیر قربانی سلامتی است بیندازد. | 18 |
१८तब नाज़ीर अपने अलग रहने के चिन्हवाले सिर को मिलापवाले तम्बू के द्वार पर मुँड़ाकर अपने बालों को उस आग पर डाल दे जो मेलबलि के नीचे होगी।
پس از تراشیده شدن موی سر آن شخص، کاهن سر دست بریان شدهٔ قوچ را با یک نان فطیر و یک قرص فطیر روغنی گرفته، همه را در دست او بگذارد. | 19 |
१९फिर जब नाज़ीर अपने अलग रहने के चिन्हवाले सिर को मुँड़ा चुके तब याजक मेढ़े का पकाया हुआ कंधा, और टोकरी में से एक अख़मीरी रोटी, और एक अख़मीरी पपड़ी लेकर नाज़ीर के हाथों पर धर दे,
سپس، کاهن همهٔ آنها را بگیرد و به عنوان هدیهٔ مخصوص در حضور خداوند تکان دهد. تمامی اینها با سینه و ران قوچ که در حضور خداوند تکان داده شده بودند، سهم مقدّس کاهن است. سپس آن شخص میتواند دوباره شراب بنوشد، چون از قید نذر خود آزاد شده است. | 20 |
२०और याजक इनको हिलाने की भेंट करके यहोवा के सामने हिलाए; हिलाई हुई छाती और उठाई हुई जाँघ समेत ये भी याजक के लिये पवित्र ठहरें; इसके बाद वह नाज़ीर दाखमधु पी सकेगा।
«این مقررات مربوط به کسی است که نذر میکند و خود را وقف خداوند مینماید و نیز مربوط به قربانیهایی است که باید در پایان دورهٔ نذر خود، تقدیم کند. علاوه بر اینها، او باید قربانیهای دیگری را که در ابتدای وقف کردن خود نذر کرده است تقدیم نماید.» | 21 |
२१“नाज़ीर की मन्नत की, और जो चढ़ावा उसको अपने अलग होने के कारण यहोवा के लिये चढ़ाना होगा उसकी भी यही व्यवस्था है। जो चढ़ावा वह अपनी पूँजी के अनुसार चढ़ा सके, उससे अधिक जैसी मन्नत उसने मानी हो, वैसे ही अपने अलग रहने की व्यवस्था के अनुसार उसे करना होगा।”
سپس خداوند به موسی فرمود: | 22 |
२२फिर यहोवा ने मूसा से कहा,
«به هارون و پسرانش بگو که بنیاسرائیل را برکت داده، بگویند: | 23 |
२३“हारून और उसके पुत्रों से कह कि तुम इस्राएलियों को इन वचनों से आशीर्वाद दिया करना:
«”خداوند شما را برکت دهد و از شما محافظت فرماید، | 24 |
२४“यहोवा तुझे आशीष दे और तेरी रक्षा करे:
خداوند روی خود را بر شما تابان سازد و بر شما رحمت فرماید، | 25 |
२५“यहोवा तुझ पर अपने मुख का प्रकाश चमकाए, और तुझ पर अनुग्रह करे:
خداوند لطف خود را به شما نشان دهد و شما را سلامتی بخشد.“ | 26 |
२६“यहोवा अपना मुख तेरी ओर करे, और तुझे शान्ति दे।
«هارون و پسرانش باید به این طریق برای قوم اسرائیل برکات مرا بطلبند و من ایشان را برکت خواهم داد.» | 27 |
२७“इस रीति से मेरे नाम को इस्राएलियों पर रखें, और मैं उन्हें आशीष दिया करूँगा।”