< اعداد 10 >
याहवेह ने मोशेह से और कहा:
«دو شیپور از نقره چکشکاری شده درست کن و آنها را برای جمع کردن قوم اسرائیل و نیز برای کوچ دادن اردو به کار ببر. | 2 |
“पीटी गई चांदी की परत से दो तुरहियां बनाओ, तुम इनका प्रयोग सभा को बुलाने में करोगे, कि वे कूच के लिए शिविर को तैयार करें.
هر وقت هر دو شیپور نواخته شوند، قوم بدانند که باید دم مدخل خیمهٔ ملاقات جمع شوند. | 3 |
जब ये दोनों साथ साथ बजाए जाएंगे, तब सारी सभा तुम्हारे सामने मिलनवाले तंबू के द्वार पर हो जाएगी.
ولی اگر یک شیپور نواخته شود، آنگاه فقط سران قبایل اسرائیل پیش تو بیایند. | 4 |
किंतु यदि सिर्फ एक ही तुरही बजाई जाएगी, तब प्रधान तथा इस्राएल के दलों के प्रधान तुम्हारे सामने इकट्ठा होंगे.
«وقتی شیپور کوچ نواخته شود، قبیلههایی که در سمت شرقی خیمهٔ عبادت چادر زدهاند باید حرکت کنند. | 5 |
किंतु जब तुम चेतावनी का बिगुल बजाओगे, तब शिविर के पूर्वी दिशा के शिविर कूच करेंगे.
بار دوم که شیپور نواخته شود، قبیلههای سمت جنوب راه بیفتند. برای کوچاندن قوم باید شیپور را با صدای تیز نواخت. | 6 |
जब कभी तुम दोबारा चेतावनी का बिगुल बजाओगे, वे शिविर, जो दक्षिण दिशा में हैं, कूच करेंगे; आवश्यक है कि उनका कूच शुरू करने के लिए चेतावनी का बिगुल बजाया जाए.
اما وقتی برای جمع کردن جماعت شیپور را مینوازید باید با صدایی دیگر بنوازید. | 7 |
जब कभी सभा इकट्ठी की जाए, तुम बिना किसी चेतावनी नाद के तुरही बजाओगे.
فقط کاهنان نسل هارون مجازند شیپور بنوازند. این یک حکم دائمی است که باید نسل اندر نسل آن را بجا آورند. | 8 |
“अहरोन के पुरोहित पुत्र इसके अलावा तुरही नाद करेंगे; यह तुम्हारी आनेवाली सभी पीढ़ियों के लिए हमेशा की विधि है.
«وقتی در سرزمین موعود، دشمن به شما حمله کند و شما در دفاع از خود با آنها وارد جنگ شوید، شیپورها را بلند بنوازید تا یهوه خدایتان شما را به یاد آورد و از چنگ دشمنانتان نجات دهد. | 9 |
जब तुम अपने विरोधी से युद्ध करो, जिसने तुम पर आक्रमण किया है, तब तुम इन तुरहियों से चेतावनी का बिगुल बजाओगे, कि याहवेह तुम्हारे परमेश्वर के सामने तुम्हारा स्मरण किया जाए और शत्रुओं से तुम्हारी रक्षा हो सके.
در روزهای شاد خود نیز این شیپورها را بنوازید، یعنی در موقع برگزاری عیدها و اول هر ماه که قربانیهای سوختنی و قربانیهای سلامتی تقدیم میکنید و من شما را به یاد خواهم آورد. من خداوند، خدای شما هستم.» | 10 |
इसके अलावा आनंद के अवसरों पर, तुम्हारे ठहराए गए आनंद मनाने के अवसरों पर, तुम्हारे ठहराए गए उत्सवों पर तथा हर एक महीने की पहली तारीख पर तुम अपनी होमबलियों, अपनी मेल बलियों के अवसर पर तुरही फूंकोगे; तब वे तुम्हारे परमेश्वर के सामने एक स्मरण का कार्य करेंगे. मैं ही हूं वह याहवेह, तुम्हारा परमेश्वर.”
در روز بیستم ماه دوم از سال دوم، بعد از بیرون آمدن بنیاسرائیل از مصر، ابر از بالای خیمهٔ عبادت حرکت نمود. | 11 |
दूसरे वर्ष के दूसरे महीने में बीसवीं तारीख को यह बादल साक्षी तंबू से ऊपर की ओर उठ गया.
پس قوم اسرائیل از صحرای سینا کوچ کرده، به دنبال ابر به راه افتادند تا اینکه ابر در صحرای فاران از حرکت بازایستاد. | 12 |
इस्राएल के घराने ने सीनायी के निर्जन प्रदेश से अपनी यात्राएं शुरू कर दी. यह बादल पारान के निर्जन प्रदेश में जा ठहर गया.
پس از آنکه موسی دستورهای خداوند را در مورد کوچ قوم دریافت کرد این نخستین سفر ایشان بود. | 13 |
यह ऐसा पहला अवसर था, जब उन्होंने मोशेह को दिए गए याहवेह के आदेश के अनुसार यात्रा शुरू की थी.
سربازان قبیلهٔ یهودا زیر پرچم بخش خود به رهبری نحشون پسر عمیناداب، پیشاپیش قوم اسرائیل حرکت میکردند. | 14 |
यहूदाह के वंश की छावनी के झंडे, उनके सैन्य व्यवस्था के अनुसार चल रहे थे. अम्मीनादाब का पुत्र नाहशोन सेनापति था.
پشت سر آنها، سربازان قبیلهٔ یساکار به رهبری نتنائیل پسر صوعَر در حرکت بودند | 15 |
तब ज़ुअर का पुत्र नेथानेल इस्साखार गोत्र की सेना का सेनापति था.
و بعد از آنها سربازان قبیلهٔ زبولون به رهبری الیاب پسر حیلون. | 16 |
ज़ेबुलून गोत्र की सेना का सेनापति था हेलोन का पुत्र एलियाब.
مردان بنیجرشون و بنیمراری از قبیلهٔ لاوی، خیمهٔ عبادت را که جمع شده بود بر دوش گذاشتند و به دنبال قبیلهٔ زبولون به راه افتادند. | 17 |
इसके बाद साक्षी तंबू उतारा गया और गेरशोन तथा मेरारी के पुत्रों ने साक्षी तंबू को उठाते हुए कूच किया.
پشت سر آنها، سربازان قبیلهٔ رئوبین زیر پرچم بخش خود به رهبری الیصور پسر شدیئور حرکت میکردند. | 18 |
इनके बाद रियूबेन गोत्र की छावनी के झंडे के साथ शेदेउर के पुत्र एलिज़ुर के नेतृत्व में सेना ने कूच किया.
در صف بعدی، سربازان قبیلهٔ شمعون به رهبری شلومیئیل پسر صوریشدای | 19 |
इनके साथ थे शिमओन के गोत्र की सेना, जिनका सेनापति था ज़ुरीशद्दाय का पुत्र शेलुमिएल.
و پس از آنها، سربازان قبیلهٔ جاد به رهبری الیاساف پسر دعوئیل قرار داشتند. | 20 |
गाद के गोत्र की सेना का सेनापति था देउएल का पुत्र एलियासाफ़.
به دنبال آنها بنیقهات که اسباب و لوازم قدس را حمل میکردند در حرکت بودند. (بر پا سازی خیمهٔ عبادت در جایگاه جدید میبایستی پیش از رسیدن قهاتیان انجام میشد.) | 21 |
इनके बाद कोहाथियों ने पवित्र वस्तुओं के साथ कूच किया, कि उनके वहां पहुंचने के पहले ही साक्षी तंबू खड़ा किया जा सके.
در صف بعدی سربازان قبیلهٔ افرایم بودند که زیر پرچم بخش خود به رهبری الیشمع پسر عمیهود حرکت میکردند. | 22 |
इसके बाद एफ्राईम गोत्र के घराने की सेना ने उनकी छावनी के झंडे के साथ चलना शुरू किया. उनका सेनापति अम्मीहूद का पुत्र एलीशामा था.
قبیلهٔ منسی به رهبری جملیئیل پسر فدهصور | 23 |
मनश्शेह गोत्र के घराने की सेना का सेनापति पेदाहज़ुर का पुत्र गमालिएल था,
و قبیلهٔ بنیامین به رهبری ابیدان پسر جدعونی پشت سر آنها بودند. | 24 |
बिन्यामिन गोत्र की सेना का सेनापति गिदियोनी का पुत्र अबीदान था.
آخر از همه، سربازان قبایل بخش دان زیر پرچم خود حرکت میکردند. سربازان قبیلهٔ دان به رهبری اخیعزر پسر عمیشدای، | 25 |
इसके बाद उनकी सेना के अनुसार दान गोत्र के घराने की छावनी का झंडा था. कूच करते हुए यह सारी छावनी के लिए प्राण रक्षक सेना हुई. इस सेना का सेनापति अम्मीशद्दाय का पुत्र अहीएज़र था.
سربازان قبیلهٔ اشیر به رهبری فجعیئیل پسر عکران، | 26 |
आशेर गोत्र के घराने की सेना का सेनापति ओखरन का पुत्र पागिएल था.
و سربازان قبیلهٔ نفتالی به رهبری اخیرع پسر عینان به ترتیب در حرکت بودند. | 27 |
नफताली गोत्र के घराने की सेना का सेनापति एनन का पुत्र अहीरा था.
این بود ترتیب حرکت قبیلههای اسرائیل با سربازانشان در هنگام کوچ کردن. | 28 |
कूच करते हुए इस्राएल के घराने की सेनाओं के अनुसार यही क्रम हुआ करता था.
روزی موسی به برادر زنش حوباب پسر رعوئیل مدیانی گفت: «ما عازم سرزمینی هستیم که خداوند وعدهٔ آن را به ما داده است. تو هم همراه ما بیا و ما در حق تو نیکی خواهیم کرد، زیرا خداوند وعدههای عالی به قوم اسرائیل داده است.» | 29 |
अंत में मोशेह ने अपनी पत्नी के भाई, होबाब से, अर्थात् अपने मिदियानी ससुर रियुएल के पुत्र से कहा, “हम उस स्थान की ओर आगे बढ़ रहे हैं, जिसका वर्णन याहवेह ने इन शब्दों में किया था: ‘यह मैं तुम्हें दे दूंगा.’ तुम भी हमारे साथ आ जाओ. हम तुम्हारा ध्यान रखेंगे; क्योंकि याहवेह ने इस्राएल की भलाई की प्रतिज्ञा की है.”
ولی برادر زنش جواب داد: «نه، من باید به سرزمین خود و نزد خویشانم برگردم.» | 30 |
किंतु होबाब ने उन्हें उत्तर दिया, “मैं आपके साथ नहीं जा सकता; मेरे लिए सही यही है कि मैं अपने संबंधियों के पास अपने देश लौट जाऊं.”
موسی اصرار نموده، گفت: «پیش ما بمان، چون تو این بیابان را خوب میشناسی و راهنمای خوبی برای ما خواهی بود. | 31 |
तो मोशेह ने उससे निवेदन किया, “कृपा कर हमारा साथ मत छोड़ो. तुम जानते हो कि इस मरुभूमि मे पड़ाव डालने के लिए अच्छी जगह कहां-कहां होगी; तुम तो हमारे लिए हमारी आंखें हो सकोगे.
اگر با ما بیایی، در تمام برکاتی که خداوند به ما میدهد شریک خواهی بود.» | 32 |
हम आश्वासन देते हैं कि यदि तुम हमारे साथ चलोगे, तो जितनी भी भलाई याहवेह हमारे लिए करेंगे, उसमें हम तुमको शामिल कर लेंगे.”
پس از ترک کوه خداوند، مدت سه روز به سفر ادامه دادند در حالی که صندوق عهد پیشاپیش قبایل اسرائیل در حرکت بود تا مکانی برای توقف آنها انتخاب کند. | 33 |
इस प्रकार उन्होंने याहवेह के पर्वत से अपनी यात्रा प्रारंभ की और तीन दिन यात्रा करते रहे. याहवेह की वाचा का संदूक तीन दिनों तक उनके आगे-आगे रहा कि इस्राएल के डेरे के लिए सही विश्राम का स्थान तय किया जा सके.
هنگام روز بود که اردوگاه را ترک کردند و سفر خود را در پی حرکت ابر خداوند آغاز نمودند. | 34 |
जब उन्होंने छावनी के स्थान से यात्रा शुरू की थी, दिन के समय याहवेह का बादल उनके ऊपर-ऊपर बना रहता था.
هرگاه صندوق عهد به حرکت در میآمد موسی ندا سر میداد: «برخیز ای خداوند تا دشمنانت پراکنده شوند و خصمانت از حضورت بگریزند.» | 35 |
इसके बाद, जब भी संदूक के साथ यात्रा आरंभ करते थे, मोशेह का यह वचन था: “याहवेह सक्रिय हो जाइए! आपके शत्रु बिखर जाएं; जिन्हें आपसे घृणा है आपके सामने से भाग जाएं.”
و هرگاه صندوق عهد متوقف میشد، موسی میگفت: «ای خداوند نزد هزاران هزار اسرائیلی بازگرد.» | 36 |
जब भी संदूक ठहर जाता, मोशेह कहते थे, “याहवेह, हज़ारों हज़ार इस्राएलियों के निकट लौट आइए.”