< دوم سموئیل 3 >

این سرآغاز یک جنگ طولانی بین پیروان شائول و افراد داوود بود. داوود روز‌به‌روز نیرومندتر و خاندان شائول روز‌به‌روز ضعیفتر می‌شد. 1
असल में साऊल के घराने और दाऊद के घराने में मुद्दत तक जंग रही और दाऊद रोज़ ब रोज़ ताक़तवर होता गया और साऊल का ख़ानदान कमज़ोर होता गया।
در مدتی که داوود در حبرون زندگی می‌کرد، صاحب پسرانی شد. پسر اول داوود، امنون از زنش اَخینوعَمِ یِزرِعیلی، 2
और हब्रून में दाऊद के यहाँ बेटे पैदा हुए, अमनून उसका पहलौठा था, जो यज़र ऐली अख़नूअम के बतन से था।
پسر دوم او کیلاب از زنش اَبیجایِل (بیوهٔ نابال کرملی)، پسر سوم او ابشالوم پسر معکه (دختر تلمای پادشاه جشور)، 3
और दूसरा किलयाब था जो कर्मिली नाबाल की बीवी अबीजेल से हुआ, तीसरा अबीसलोम था जो जसूर के बादशाह तल्मी की बेटी मा'का से हुआ।
پسر چهارم او ادونیا از حجیت، پسر پنجم او شفطیا از ابیطال 4
चौथा अदूनियाह था जो हज्जीत का बेटा था और पाँचवाँ सफतियाह जो अबीताल का बेटा था।
و پسر ششم او یِتَرعام از زنش عجله بودند. 5
और छठा इत्रि'आम था जो दाऊद की बीवी 'इज्लाह से हुआ, यह दाऊद के यहाँ हब्रून में पैदा हुआ।
در زمانی که جنگ بین خاندان شائول و خاندان داوود ادامه داشت، ابنیر خاندان شائول را تقویت می‌نمود. 6
और जब साऊल के घराने और दाऊद के घराने में जंग हो रही थी, तो अबनेर ने साऊल के घराने में ख़ूब ज़ोर पैदा कर लिया।
یک روز ایشبوشت پسر شائول، ابنیر را متهم کرد که با یکی از کنیزان شائول به نام رصفه، دختر اَیه، همبستر شده است. 7
और साऊल के एक बाँदी थी जिसका नाम रिस्फ़ाह था, वह अय्याह की बेटी थी इसलिए इश्बोसत ने अबनेर से कहा, “तू मेरे बाप की बाँदी के पास क्यूँ गया?”
ابنیر خشمگین شد و فریاد زد: «آیا فکر می‌کنی من به شائول خیانت می‌کنم و از داوود حمایت می‌نمایم؟ پس از آن همه خوبی‌هایی که در حق تو و پدرت کردم و نگذاشتم به چنگ داوود بیفتی، حالا به خاطر این زن به من تهمت می‌زنی؟ آیا این است پاداش من؟ 8
अबनेर इश्बोसत की इन बातों से बहुत ग़ुस्सा होकर कहने लगा, “क्या मैं यहूदाह के किसी कुत्ते का सिर हूँ? आज तक मैं तेरे बाप साऊल के घराने और उसके भाइयों और दोस्तों से मेहरबानी से पेश आता रहा हूँ और तुझे दाऊद के हवाले नहीं किया, तो भी तू आज इस 'औरत के साथ मुझ पर 'ऐब लगाता है।
«پس حالا خوب گوش کن. خدا مرا لعنت کند اگر هر چه در قدرت دارم به کار نبرم تا سلطنت را خاندان شائول گرفته به داوود بدهم تا همان‌طور که خداوند وعده داده بود داوود در سراسر اسرائیل و یهودا پادشاه شود.» 9
ख़ुदा अबनेर से वैसा ही बल्कि उससे ज़्यादा करे अगर मैं दाऊद से वही सुलूक न करूँ जिसकी क़सम ख़ुदावन्द ने उसके साथ खाई थी।
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ताकि हुकूमत को साऊल के घराने से हटा कर के दाऊद के तख़्त को इस्राईल और यहूदाह दोनों पर दान से बैरसबा' तक क़ाईम करूँ।”
ایشبوشت در جواب ابنیر چیزی نگفت چون از او می‌ترسید. 11
और वह अबनेर को एक लफ्ज़ जवाब न दे सका इसलिए कि उससे डरता था।
آنگاه ابنیر قاصدانی را با این پیغام نزد داوود فرستاد: «چه کسی باید بر این سرزمین حکومت کند؟ اگر تو با من عهد دوستی ببندی من تمام مردم اسرائیل را به سوی تو برمی‌گردانم.» 12
और अबनेर ने अपनी तरफ़ से दाऊद के पास क़ासिद रवाना किए और कहला भेजा कि “मुल्क किसका है? तू मेरे साथ अपना 'अहद बाँध और देख मेरा हाथ तेरे साथ होगा ताकि सारे इस्राईल को तेरी तरफ़ मायल करूँ।”
داوود پاسخ داد: «بسیار خوب، ولی به شرطی با تو عهد می‌بندم که همسرم میکال دختر شائول را با خود نزد من بیاوری.» 13
उसने कहा, “अच्छा मैं तेरे साथ 'अहद बाधूँगा पर मैं तुझसे एक बात चाहता हूँ और वह यह है कि जब तू मुझसे मिलने को आए तो जब तक साऊल की बेटी मीकल को पहले अपने साथ न लाये तू मेरा मुँह देखने नहीं पाएगा।”
سپس داوود این پیغام را برای ایشبوشت فرستاد: «همسرم میکال را به من پس بده، زیرا او را به قیمت کشتن صد فلسطینی خریده‌ام.» 14
और दाऊद ने साऊल के बेटे इश्बोसत को क़ासिदों कि ज़रिए' कहला भेजा कि “मेरी बीवी मीकल को जिसको मैंने फ़िलिस्तियों की सौ खलड़ियाँ देकर ब्याहा था मेरे हवाले कर।”
پس ایشبوشت، میکال را از شوهرش فلطئیل پس گرفت. 15
इसलिए इश्बोसत ने लोग भेज कर उसे उसके शौहर लैस के बेटे फ़लतीएल से छीन लिया।
فلطئیل گریه‌کنان تا بحوریم به دنبال زنش رفت. در آنجا ابنیر به او گفت: «حالا دیگر برگرد.» فلطئیل هم برگشت. 16
और उसका शौहर उसके साथ चला, और उसके पीछे पीछे बहुरीम तक रोता हुआ चला आया, तब अबनेर ने उससे कहा, “लौट जा।” इसलिए वह “लौट गया।”
در ضمن، ابنیر با بزرگان اسرائیل مشورت کرده، گفت: «مدتهاست که می‌خواهید داوود را پادشاه خود بسازید. 17
और अबनेर ने इस्राईली बुज़ुर्गों के पास ख़बर भेजी, “गुज़रे दिनों में तुम यह चाहते थे कि दाऊद तुम पर बादशाह हो।
حالا وقتش است! زیرا خداوند فرموده است که به‌وسیلۀ داوود قوم خود را از دست فلسطینی‌ها و سایر دشمنانشان نجات خواهد داد.» 18
तब अब ऐसा करलो, क्यूँकि ख़ुदावन्द ने दाऊद के हक़ में फ़रमाया है कि मैं अपने बन्दा दाऊद के ज़रिए' अपनी क़ौम इस्राईल को फ़िलिस्तियों और उनके सब दुश्मनों के हाथ से रिहाई दूँगा।”
ابنیر با قبیلهٔ بنیامین نیز صحبت کرد. آنگاه به حبرون رفت و توافق‌هایی را که با اسرائیل و قبیلهٔ بنیامین حاصل نموده بود، به داوود گزارش داد. 19
और अबनेर ने बनी बिनयमीन से भी बातें कीं और अबनेर चला कि जो कुछ इस्राईलियों और बिनयमीन के सारे घराने को अच्छा लगा उसे हब्रून में दाऊद को कह सुनाये।
بیست نفر همراه او بودند و داوود برای ایشان ضیافتی ترتیب داد. 20
इसलिए अबनेर हब्रून में दाऊद के पास आया और बीस आदमी उसके साथ थे तब दाऊद ने अबनेर और उन लोगों की जो उसके साथ थे मेहमान नवाज़ी की।
ابنیر به داوود قول داده، گفت: «وقتی برگردم، همهٔ مردم اسرائیل را جمع می‌کنم تا تو را چنانکه خواسته‌ای، به پادشاهی خود انتخاب کنند.» پس داوود او را به سلامت روانه کرد. 21
अबनेर ने दाऊद से कहा, “अब में उठकर जाऊँगा और सारे इस्राईल को अपने मालिक बादशाह के पास इकट्ठा करूँगा ताकि वह तुझसे अहद बाँधे और तू जिस जिस पर तेरा जी चाहे हुकूमत करे।” इसलिए दाऊद ने अबनेर को रुखसत किया और वह सलामत चला गया।
به محض رفتن ابنیر، یوآب و عده‌ای از سپاهیان داوود از غارت بازگشتند و غنیمت زیادی با خود آوردند. 22
दाऊद के लोग और योआब किसी जंग से लूट का बहुत सा माल अपने साथ लेकर आए: लेकिन अबनेर हबरून में दाऊद के पास नहीं था, क्यूँकि उसे उसने रुख़सत कर दिया था और वह सलामत चला गया था।
وقتی یوآب رسید، به او گفتند که ابنیر، پسر نیر، نزد پادشاه آمده و به سلامت بازگشته است. 23
और जब योआब और लश्कर के सब लोग जो उसके साथ थे आए तो उन्होंने योआब को बताया कि “नेर का बेटा अबनेर बादशाह के पास आया था और उसने उसे रुख़्सत कर दिया और वह सलामत चला गया।”
پس یوآب با عجله به حضور پادشاه رفت و گفت: «چه کرده‌ای؟ چرا گذاشتی ابنیر سالم برگردد؟ 24
तब योआब बादशाह के पास आकर कहने लगा, “यह तूने क्या किया? देख! अबनेर तेरे पास आया था, इसलिए तूने उसे क्यूँ रुख़्सत कर दिया कि वह निकल गया?
تو خوب می‌دانی که او برای جاسوسی آمده بود تا از هر چه می‌کنی باخبر شود.» 25
तू नेर के बेटे अबनेर को जानता है कि वह तुझको धोका देने और तेरे आने जाने और तेरे सारे काम का राज़ लेने आया था।”
پس یوآب چند نفر را به دنبال ابنیر فرستاد تا او را برگردانند. آنها در کنار چشمهٔ سیره به ابنیر رسیدند و او با ایشان برگشت. اما داوود از این جریان خبر نداشت. 26
जब योआब दाऊद के पास से बाहर निकला तो उसने अबनेर के पीछे क़ासिद भेजे और वह उसको सीरह के कुँवें से लौटा ले आए, लेकिन यह दाऊद को मा'लूम नहीं था।
وقتی ابنیر به دروازهٔ شهر حبرون رسید، یوآب به بهانهٔ اینکه می‌خواهد با او محرمانه صحبت کند، وی را به کناری برد و خنجر خود را کشیده، به انتقام خون برادرش عسائیل، او را کشت. 27
जब अबनेर हब्रून में लौट आया तो योआब उसे अलग फाटक के अन्दर ले गया, ताकि उसके साथ चुपके चुपके बात करे, और वहाँ अपने भाई 'असाहील के ख़ून के बदले में उसके पेट में ऐसा मारा कि वह मर गया।
داوود چون این را شنید، گفت: «من و قوم من در پیشگاه خداوند از خون ابنیر تا به ابد مبرا هستیم. 28
बाद में जब दाऊद ने यह सुना तो कहा कि “मैं और मेरी हुकूमत दोनों हमेशा तक ख़ुदावन्द के आगे नेर के बेटे अबनेर के ख़ून की तरफ़ से बे गुनाह हैं।
خون او به گردن یوآب و خانواده‌اش باشد. عفونت و جذام همیشه دامنگیر نسل او باشد. فرزندانش عقیم شوند و از گرسنگی بمیرند یا با شمشیر کشته شوند.» 29
वह योआब और उसके बाप के सारे घराने के सिर लगे, और योआब के घराने में कोई न कोई ऐसा होता रहे जिसे जरयान हो या कोढ़ी या बैसाखी पर चले या तलवार से मरे या टुकड़े टुकड़े को मोहताज हों।”
پس بدین ترتیب یوآب و برادرش ابیشای، ابنیر را کشتند چون او برادرشان عسائیل را در جنگ جبعون کشته بود. 30
इसलिए योआब और उसके भाई अबीशै ने अबनेर को मार दिया इसलिए कि उसने जिब’ऊन में उनके भाई 'असाहेल को लड़ाई में क़त्ल किया था
داوود به یوآب و همهٔ کسانی که با او بودند دستور داد که لباس خود را پاره کنند و پلاس بپوشند و برای ابنیر عزا بگیرند، و خودش همراه تشییع‌کنندگان جنازه به سر قبر رفت. 31
और दाऊद ने योआब से और उन सब लोगों से जो उसके साथ थे कहा कि “अपने कपड़े फाड़ो और टाट पहनो और अबनेर के आगे आगे मातम करो।” और दाऊद बादशाह ख़ुद जनाज़े के पीछे पीछे चला।
ابنیر را در حبرون دفن کردند و پادشاه و همراهانش بر سر قبر او با صدای بلند گریستند. 32
और उन्होंने अबनेर को हब्रून में दफ़न किया और बादशाह अबनेर की क़ब्र पर ज़ोर ज़ोर से रोया और सब लोग भी रोए।
پادشاه این مرثیه را برای ابنیر خواند: «چرا ابنیر باید با خفت و خواری بمیرد؟ ای ابنیر، دستهای تو بسته نشد، پاهایت را در بند نگذاشتند؛ تو را ناجوانمردانه کشتند.» و همهٔ حضار بار دیگر با صدای بلند برای ابنیر گریه کردند. 33
और बादशाह ने अबनेर पर मर्सिया कहा, “क्या अबनेर को ऐसा ही मरना था जैसे बेवकूफ़ मरता है?
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तेरे हाथ बंधे न थे और न तेरे पाँव बेड़ियों में थे, जैसे कोई बदकारों के हाथ से मरता है वैसे ही तू मारा गया।” तब उसपर सब लोग दोबारह रोए।
داوود در روز تشییع‌جنازه چیزی نخورده بود و همه از او خواهش می‌کردند که چیزی بخورد. اما داوود قسم خورده، گفت: «خدا مرا بکشد اگر تا غروب آفتاب لب به غذا بزنم.» این عمل داوود بر دل مردم نشست، در واقع تمام کارهای او را مردم می‌پسندیدند. 35
और सब लोग कुछ दिन रहते दाऊद को रोटी खिलाने आए लेकिन दाऊद ने क़सम खाकर कहा, “अगर मैं सूरज के गु़रूब होने से पहले रोटी या और कुछ चखूँ तो ख़ुदा मुझ से ऐसा बल्कि इससे ज़्यादा करे।”
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और सब लोगों ने इस पर ग़ौर किया और इससे ख़ुश हुए क्यूँकि जो कुछ बादशाह करता था सब लोग उससे ख़ुश होते थे।
تمام قوم، یعنی هم اسرائیل و هم یهودا، دانستند که پادشاه در کشتن ابنیر دخالت نداشته است. 37
तब सब लोगों ने और तमाम इस्राईल ने उसी दिन जान लिया कि नेर के बेटे अबनेर का क़त्ल होना बादशाह की तरफ़ से न था।
داوود به افرادش گفت: «آیا نمی‌دانید که امروز در اسرائیل یک مرد، یک سردار بزرگ، کشته شده است. 38
और बादशाह ने अपने मुलाज़िमों से कहा, “क्या तुम नहीं जानते हो कि आज के दिन एक सरदार बल्कि एक बहुत बड़ा आदमी इस्राईल में मरा है?
هر چند من به پادشاهی برگزیده شده‌ام، ولی نمی‌توانم از عهدهٔ این دو پسر صرویه برآیم. خداوند، عاملان این شرارت را به سزای اعمالشان برساند.» 39
और अगर्चे मैं मम्सूह बादशाह हूँ तो भी आज के दिन बेबस हूँ और यह लोग बनी ज़रोयाह मुझसे ताक़तवर हैं ख़ुदावन्द बदकारों को उसकी गुनाह के मुताबिक़ बदला दे।”

< دوم سموئیل 3 >