< دوم پادشاهان 8 >
الیشع به زنی که پسرش را زنده کرده بود، گفته بود که با خاندانش به مملکت دیگری بروند چون خداوند در سرزمین اسرائیل قحطی میفرستد که تا هفت سال طول خواهد کشید. | 1 |
१जिस स्त्री के बेटे को एलीशा ने जिलाया था, उससे उसने कहा था कि अपने घराने समेत यहाँ से जाकर जहाँ कहीं तू रह सके वहाँ रह; क्योंकि यहोवा की इच्छा है कि अकाल पड़े, और वह इस देश में सात वर्ष तक बना रहेगा।
پس آن زن مطابق کلامِ مرد خدا عمل کرد و با خاندان خود به فلسطین رفت و هفت سال در آنجا ماند. | 2 |
२परमेश्वर के भक्त के इस वचन के अनुसार वह स्त्री अपने घराने समेत पलिश्तियों के देश में जाकर सात वर्ष रही।
پس از پایان قحطی او به اسرائیل بازگشت و نزد پادشاه رفت تا به او التماس کند تا خانه و زمینش به او برگردانده شود. | 3 |
३सात वर्ष के बीतने पर वह पलिश्तियों के देश से लौट आई, और अपने घर और भूमि के लिये दुहाई देने को राजा के पास गई।
در این هنگام پادشاه با جیحزی، خادم الیشع، مشغول گفتگو بود و دربارهٔ معجزات الیشع از او سؤال میکرد. | 4 |
४राजा उस समय परमेश्वर के भक्त के सेवक गेहजी से बातें कर रहा था, और उसने कहा, “जो बड़े-बड़े काम एलीशा ने किए हैं उनका मुझसे वर्णन कर।”
در همان هنگام که جیحزی واقعهٔ زنده شدن پسر مرده را تعریف میکرد، مادر آن پسر قدم به داخل اتاق گذاشت. جیحزی به پادشاه گفت: «این همان زنی است که دربارهاش صحبت میکردم و این هم پسر اوست که الیشع وی را زنده کرد.» | 5 |
५जब वह राजा से यह वर्णन कर ही रहा था कि एलीशा ने एक मुर्दे को जिलाया, तब जिस स्त्री के बेटे को उसने जिलाया था वही आकर अपने घर और भूमि के लिये दुहाई देने लगी। तब गेहजी ने कहा, “हे मेरे प्रभु! हे राजा! यह वही स्त्री है और यही उसका बेटा है जिसे एलीशा ने जिलाया था।”
پادشاه پرسید: «آیا این حقیقت دارد که الیشع پسرت را زنده کرده است؟» زن جواب داد: «بله.» پس پادشاه یکی از افراد خود را مأمور کرد تا تمام دارایی او را، به اضافهٔ قیمت محصول زمین او در طول مدتی که در آنجا نبوده است، گرفته به او بدهد. | 6 |
६जब राजा ने स्त्री से पूछा, तब उसने उससे सब कह दिया। तब राजा ने एक हाकिम को यह कहकर उसके साथ कर दिया कि जो कुछ इसका था वरन् जब से इसने देश को छोड़ दिया तब से इसके खेत की जितनी आमदनी अब तक हुई हो सब इसे फेर दे।
بنهدد، پادشاه سوریه، در بستر بیماری بود. به او خبر دادند که الیشع نبی به دمشق آمده است. | 7 |
७एलीशा दमिश्क को गया। और जब अराम के राजा बेन्हदद को जो रोगी था यह समाचार मिला, “परमेश्वर का भक्त यहाँ भी आया है,”
وقتی پادشاه این خبر را شنید، به یکی از افرادش به نام حزائیل گفت: «هدیهای برای این مرد خدا ببر و به او بگو که در مورد من از خداوند بپرسد که آیا از این مرض شفا خواهم یافت یا نه؟» | 8 |
८तब उसने हजाएल से कहा, “भेंट लेकर परमेश्वर के भक्त से मिलने को जा, और उसके द्वारा यहोवा से यह पूछ, ‘क्या बेन्हदद जो रोगी है वह बचेगा कि नहीं?’”
پس حزائیل از محصولات نفیس دمشق، چهل شتر بار کرد و به عنوان هدیه برای الیشع برد. او هنگامی که به حضور الیشع رسید، گفت: «غلامتان بنهدد، پادشاه سوریه، مرا فرستاده است تا بپرسم آیا او شفا خواهد یافت یا نه.» | 9 |
९तब हजाएल भेंट के लिये दमिश्क की सब उत्तम-उत्तम वस्तुओं से चालीस ऊँट लदवाकर, उससे मिलने को चला, और उसके सम्मुख खड़ा होकर कहने लगा, “तेरे पुत्र अराम के राजा बेन्हदद ने मुझे तुझ से यह पूछने को भेजा है, ‘क्या मैं जो रोगी हूँ तो बचूँगा कि नहीं?’”
الیشع جواب داد: «خداوند به من نشان داده است که او خواهد مرد، ولی تو برو و به او بگو که شفا خواهد یافت.» | 10 |
१०एलीशा ने उससे कहा, “जाकर कह, ‘तू निश्चय बच सकता,’ तो भी यहोवा ने मुझ पर प्रगट किया है, कि तू निःसन्देह मर जाएगा।”
سپس الیشع چنان به چشمان حزائیل خیره شد که حزائیل سرش را به زیر انداخت. آنگاه الیشع شروع به گریه کرد. | 11 |
११और वह उसकी ओर टकटकी बाँधकर देखता रहा, यहाँ तक कि वह लज्जित हुआ। और परमेश्वर का भक्त रोने लगा।
حزائیل پرسید: «سرورم، چرا گریه میکنید؟» الیشع جواب داد: «میدانم که تو چه بلاهایی بر سر قوم اسرائیل خواهی آورد. قلعههای آنها را آتش خواهی زد، جوانانشان را خواهی کشت، اطفالشان را به سنگها خواهی کوبید و شکم زنان آبستن را پاره خواهی کرد.» | 12 |
१२तब हजाएल ने पूछा, “मेरा प्रभु क्यों रोता है?” उसने उत्तर दिया, “इसलिए कि मुझे मालूम है कि तू इस्राएलियों पर क्या-क्या उपद्रव करेगा; उनके गढ़वाले नगरों को तू फूँक देगा; उनके जवानों को तू तलवार से घात करेगा, उनके बाल-बच्चों को तू पटक देगा, और उनकी गर्भवती स्त्रियों को तू चीर डालेगा।”
حزائیل گفت: «سرورم، من سگ کی باشم که دست به چنین کارهایی بزنم.» ولی الیشع جواب داد: «خداوند به من نشان داده است که تو پادشاه سوریه خواهی شد.» | 13 |
१३हजाएल ने कहा, “तेरा दास जो कुत्ते सरीखा है, वह क्या है कि ऐसा बड़ा काम करे?” एलीशा ने कहा, “यहोवा ने मुझ पर यह प्रगट किया है कि तू अराम का राजा हो जाएगा।”
وقتی حزائیل بازگشت، پادشاه از او پرسید: «پاسخ الیشع چه بود؟» جواب داد: «گفت که شما شفا خواهید یافت.» | 14 |
१४तब वह एलीशा से विदा होकर अपने स्वामी के पास गया, और उसने उससे पूछा, “एलीशा ने तुझ से क्या कहा?” उसने उत्तर दिया, “उसने मुझसे कहा कि बेन्हदद निःसन्देह बचेगा।”
ولی روز بعد حزائیل لحافی برداشته، در آب فرو برد و آن را روی صورت پادشاه انداخت و او را خفه کرد و خود به جای او پادشاه شد. | 15 |
१५दूसरे दिन उसने रजाई को लेकर जल से भिगो दिया, और उसको उसके मुँह पर ऐसा ओढ़ा दिया कि वह मर गया। तब हजाएल उसके स्थान पर राज्य करने लगा।
یهورام (پسر یهوشافاط) در پنجمین سال سلطنت یورام (پسر اَخاب) پادشاه اسرائیل، سلطنت خود را در یهودا آغاز کرد. | 16 |
१६इस्राएल के राजा अहाब के पुत्र योराम के राज्य के पाँचवें वर्ष में, जब यहूदा का राजा यहोशापात जीवित था, तब यहोशापात का पुत्र यहोराम यहूदा पर राज्य करने लगा।
یهورام در سن سی و دو سالگی پادشاه شد و هشت سال در اورشلیم سلطنت نمود. | 17 |
१७जब वह राजा हुआ, तब बत्तीस वर्ष का था, और आठ वर्ष तक यरूशलेम में राज्य करता रहा।
دختر اَخاب زن او بود و او مانند اَخاب و سایر پادشاهان اسرائیل نسبت به خداوند گناه میورزید. | 18 |
१८वह इस्राएल के राजाओं की सी चाल चला, जैसे अहाब का घराना चलता था, क्योंकि उसकी स्त्री अहाब की बेटी थी; और वह उस काम को करता था जो यहोवा की दृष्टि में बुरा था।
ولی خداوند به خاطر داوود نخواست یهودا را از بین ببرد، زیرا به داوود قول داده بود که نسل او همیشه سلطنت خواهد کرد. | 19 |
१९तो भी यहोवा ने यहूदा को नाश करना न चाहा, यह उसके दास दाऊद के कारण हुआ, क्योंकि उसने उसको वचन दिया था, कि तेरे वंश के निमित्त मैं सदा तेरे लिये एक दीपक जलता हुआ रखूँगा।
در دورهٔ سلطنت یهورام، مردم ادوم از فرمان یهودا سرپیچی کردند و پادشاهی برای خود تعیین کردند. | 20 |
२०उसके दिनों में एदोम ने यहूदा की अधीनता छोड़कर अपना एक राजा बना लिया।
بنابراین یهورام با سواره نظام خود عازم سعیر شد، ولی نیروهای ادوم آنها را محاصره کردند. یهورام به اتفاق فرماندهان سواره نظام خود، شبانه از دست ادومیها گریخت و سربازانش نیز فرار کرده، به وطن بازگشتند. | 21 |
२१तब योराम अपने सब रथ साथ लिये हुए साईर को गया, और रात को उठकर उन एदोमियों को जो उसे घेरे हुए थे, और रथों के प्रधानों को भी मारा; और लोग अपने-अपने डेरे को भाग गए।
ادوم تا به امروز استقلال خود را از یهودا حفظ کرده است. در این هنگام اهالی شهر لبنه نیز شورش کردند. | 22 |
२२अतः एदोम यहूदा के वश से छूट गया, और आज तक वैसा ही है। उस समय लिब्ना ने भी यहूदा की अधीनता छोड़ दी।
شرح رویدادهای دیگر سلطنت یهورام و کارهای او در کتاب «تاریخ پادشاهان یهودا» نوشته شده است. | 23 |
२३योराम के और सब काम और जो कुछ उसने किया, वह क्या यहूदा के राजाओं के इतिहास की पुस्तक में नहीं लिखा है?
یهورام مرد و او را در آرامگاه سلطنتی در اورشلیم که به شهر داوود معروف است، دفن کردند و پسرش اخزیا به جای او پادشاه شد. | 24 |
२४अन्त में योराम मरकर अपने पुरखाओं के संग जा मिला और उनके बीच दाऊदपुर में उसे मिट्टी दी गई; और उसका पुत्र अहज्याह उसके स्थान पर राज्य करने लगा।
در دوازدهمین سال سلطنت یورام (پسر اَخاب) پادشاه اسرائیل، اخزیا (پسر یهورام) پادشاه یهودا شد. | 25 |
२५अहाब के पुत्र इस्राएल के राजा योराम के राज्य के बारहवें वर्ष में यहूदा के राजा यहोराम का पुत्र अहज्याह राज्य करने लगा।
اخزیا در سن بیست و دو سالگی سلطنت خود را آغاز نمود، ولی فقط یک سال در اورشلیم سلطنت کرد. مادرش عتلیا نام داشت و نوهٔ عمری، پادشاه اسرائیل بود. | 26 |
२६जब अहज्याह राजा बना, तब बाईस वर्ष का था, और यरूशलेम में एक ही वर्ष राज्य किया। और उसकी माता का नाम अतल्याह था, जो इस्राएल के राजा ओम्री की पोती थी।
اخزیا نیز مانند خاندان اَخاب نسبت به خداوند گناه ورزید، زیرا از اقوام اَخاب بود. | 27 |
२७वह अहाब के घराने की सी चाल चला, और अहाब के घराने के समान वह काम करता था, जो यहोवा की दृष्टि में बुरा है, क्योंकि वह अहाब के घराने का दामाद था।
اخزیای پادشاه با یورام (پسر اَخاب)، پادشاه اسرائیل، متحد شد و برای جنگ با حزائیل، پادشاه سوریه، به راموت جلعاد لشکر کشید. در این جنگ یورام مجروح شد. | 28 |
२८वह अहाब के पुत्र योराम के संग गिलाद के रामोत में अराम के राजा हजाएल से लड़ने को गया, और अरामियों ने योराम को घायल किया।
پس برای معالجه به یزرعیل برگشت. وقتی در آنجا بستری بود، اخزیا پادشاه یهودا به عیادتش رفت. | 29 |
२९राजा योराम इसलिए लौट गया, कि यिज्रेल में उन घावों का इलाज कराए, जो उसको अरामियों के हाथ से उस समय लगे, जब वह हजाएल के साथ लड़ रहा था। और अहाब का पुत्र योराम तो यिज्रेल में रोगी था, इस कारण यहूदा के राजा यहोराम का पुत्र अहज्याह उसको देखने गया।