< اول سموئیل 23 >

روزی به داوود خبر رسید که فلسطینی‌ها به شهر قعیله حمله کرده، خرمنها را غارت می‌کنند. 1
दावीद को सूचना दी गई, “फिलिस्तीनियों ने काइलाह नगर पर हमला कर दिया है, और वे वहां के खलिहानों को लूट रहे हैं.”
داوود از خداوند پرسید: «آیا بروم و با آنها بجنگم؟» خداوند پاسخ فرمود: «بله، برو با فلسطینی‌ها بجنگ و قعیله را نجات بده.» 2
तब दावीद ने याहवेह से पूछा, “क्या में जाकर इन फिलिस्तीनियों से युद्ध करूं?” याहवेह ने दावीद को उत्तर दिया, “जाओ, फिलिस्तीनियों का संहार करो, और काइलाह नगर को मुक्त करो.”
ولی افراد داوود به او گفتند: «ما حتی اینجا در یهودا می‌ترسیم چه برسد به آنکه به قعیله برویم و با لشکر فلسطینی‌ها بجنگیم!» 3
मगर दावीद के साथियों ने उनसे कहा, “विचार कीजिए, यहां यहूदिया में ही रहते हुए हम पर उनका आतंक छाया हुआ है. काइलाह पहुंचकर हमारी स्थिति क्या होगी, जब हम फिलिस्तीनी सेना के आमने-सामने होंगे!”
پس داوود بار دیگر در این مورد از خداوند پرسید و خداوند باز به او گفت: «به قعیله برو و من تو را کمک خواهم کرد تا فلسطینی‌ها را شکست بدهی.» 4
तब दावीद ने पुनः याहवेह से पूछा, और उन्हें याहवेह की ओर से यह उत्तर प्राप्‍त हुआ, “जाओ, फिलिस्तीनियों पर हमला करो क्योंकि मैं फिलिस्तीनियों को तुम्हारे अधीन कर दूंगा.”
پس داوود و افرادش به قعیله رفتند و فلسطینی‌ها را کشتند و گله‌هایشان را گرفتند و اهالی قعیله را نجات دادند. 5
इसलिये दावीद और उनके साथी काइलाह गए और फिलिस्तीनियों से युद्ध किया, उनके पशु उनसे छीनकर उन्हें पूरी तरह हरा दिया. इस प्रकार दावीद ने काइलाह निवासियों को सुरक्षा प्रदान की.
وقتی اَبیّاتار کاهن پسر اَخیملک به قعیله نزد داوود فرار کرد، ایفود را نیز با خود برد. 6
(जब अहीमेलेख के पुत्र अबीयाथर भागकर दावीद के पास गए, वह अपने साथ पवित्र परिधान एफ़ोद भी ले गए थे.)
هنگامی که شائول شنید که داوود در قعیله است، گفت: «خدا او را به دست من داده، چون داوود خود را در شهری حصاردار به دام انداخته است!» 7
जब शाऊल को सूचित किया गया कि दावीद काइलाह आए हुए हैं, शाऊल ने विचार किया, “अब तो परमेश्वर ने दावीद को मेरे वश में कर दिया है, क्योंकि अब वह ऐसे नगर में जा छिपा है, जो दीवारों से घिरा हुआ है और जिसमें प्रवेश द्वार भी है.”
پس شائول تمام نیروهای خود را احضار کرد و به سمت قعیله حرکت نمود تا داوود و افرادش را در شهر محاصره کند. 8
तब शाऊल ने अपनी संपूर्ण सेना का आह्वान किया, कि वे काइलाह नगर को जाकर दावीद और उनके साथियों को बंदी बना लें.
وقتی داوود از نقشهٔ شائول باخبر شد به اَبیّاتار گفت: «ایفود را بیاور تا از خداوند سؤال نمایم که چه باید کرد.» 9
दावीद यह जानते थे कि शाऊल उनके बुरे की युक्ति कर रहे हैं. यह जानकर दावीद ने पुरोहित अबीयाथर से विनती की, “एफ़ोद लेकर यहां आइए!”
داوود گفت: «ای خداوند، خدای اسرائیل، شنیده‌ام که شائول عازم قعیله است و می‌خواهد این شهر را به دلیل مخالفت با من نابود کند. 10
तब दावीद ने यह प्रार्थना की, “याहवेह इस्राएल के परमेश्वर, आपके सेवक को यह निश्चित समाचार मिला है कि शाऊल मेरे कारण संपूर्ण काइलाह नगर को नष्ट करने के लक्ष्य से यहां आने की योजना बना रहे हैं.
آیا اهالی قعیله مرا به دست او تسلیم خواهند کرد؟ آیا همان‌طور که شنیده‌ام شائول به اینجا خواهد آمد؟ ای خداوند، خدای اسرائیل، خواهش می‌کنم به من جواب بده.» خداوند فرمود: «بله، شائول خواهد آمد.» داوود گفت: «در این صورت آیا اهالی قعیله، من و افرادم را به دست او تسلیم می‌کنند؟» خداوند فرمود: «بله، به دست او تسلیم می‌کنند.» 11
मुझे बताइए, क्या, नगर के पुरनिए मुझे उनके हाथों में सौंप देंगे? क्या हमें प्राप्‍त सूचना के अनुसार शाऊल यहां आएंगे? याहवेह, इस्राएल के परमेश्वर, कृपा करें और अपने सेवक को इस विषय में सूचित करें.” याहवेह ने उत्तर दिया, “शाऊल अवश्य आएगा.”
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तब दावीद ने उनसे पूछा, “क्या, काइलाह के नगर के पुरनिए मुझे और मेरे साथियों को शाऊल के हाथों में सौंप देंगे?” याहवेह ने उत्तर दिया, “वे तुम्हें उनके हाथों में सौंप देंगे.”
پس داوود و افرادش که حدود ششصد نفر بودند برخاسته، از قعیله بیرون رفتند. آنها در یک جا نمی‌ماندند بلکه جای خود را دائم عوض می‌کردند. چون به شائول خبر رسید که داوود از قعیله فرار کرده است، دیگر به قعیله نرفت. 13
तब दावीद और उनके साथी, जो संख्या में लगभग छः सौ थे, काइलाह नगर छोड़ चले गए, और वनों में स्थान बदलते हुए घूमते रहे. जब शाऊल को यह सूचना मिली कि दावीद काइलाह नगर छोड़ चुके हैं, उन्होंने अपना अभियान छोड़ दिया.
داوود در بیابان و در مخفیگاه‌های کوهستان زیف به سر می‌برد. شائول نیز هر روز به تعقیب او می‌پرداخت، ولی خداوند نمی‌گذاشت که دست او به داوود برسد. 14
दावीद ने निर्जन प्रदेश के गढ़ों में रहना शुरू कर दिया, जो ज़ीफ़ के पहाड़ी इलाके में थे. दावीद की खोज करते रहना शाऊल का नियम हो गया था, मगर परमेश्वर ने दावीद को उनके हाथों में पड़ने नहीं दिया.
وقتی داوود در حارث (واقع در زیف) بود، شنید که شائول برای کشتن او به آنجا آمده است. 15
जब दावीद होरशा क्षेत्र में ज़ीफ़ के वनों में छिपे हुए थे, उन्हें यह पता हो गया था कि शाऊल उनके प्राणों की खोज में निकल पड़े हैं.
یوناتان، پسر شائول به حارث آمد تا با وعده‌های خدا داوود را تقویت دهد. 16
शाऊल के पुत्र योनातन होरशा में दावीद से भेंटकरने आए और उन्हें परमेश्वर में मजबूत किया.
یوناتان به او گفت: «نترس، پدرم هرگز تو را پیدا نخواهد کرد. تو پادشاه اسرائیل خواهی شد و من معاون تو. پدرم نیز این موضوع را به خوبی می‌داند.» 17
उन्होंने दावीद से कहा, “डरना नहीं, मेरे पिता तुम तक पहुंच नहीं सकेंगे. इस्राएल के होनेवाले शासक तुम हो और मैं तुम्हारा सहायक रहूंगा. वस्तुतः मेरे पिता को इस बात की पूरी पता है.”
پس هر دو ایشان در حضور خداوند پیمان دوستی خود را تجدید نمودند. داوود در حارث ماند، ولی یوناتان به خانه برگشت. 18
उन्होंने याहवेह के सामने परस्पर वाचा बांधी. दावीद होरशा में ही रहे, मगर योनातन अपने घर लौट गए.
اما اهالی زیف نزد شائول به جِبعه رفتند و گفتند: «ما می‌دانیم داوود کجا پنهان شده است. او در صحرای نِگِب در مخفیگاه‌های حارث واقع در کوه حخیله است. 19
कुछ ज़ीफ़ निवासियों ने गिबियाह में शाऊल को यह सूचना दी, “दावीद हमारे क्षेत्र में होरशा के गढ़ों में जेशिमोन के दक्षिण में, हकीलाह की पहाड़ियों में छिपे हुए हैं.
هر وقت پادشاه مایل باشند، بیایند تا او را دست بسته تسلیم کنیم.» 20
तब महाराज, आप जब चाहें यहां आ जाएं, और अपने हृदय की इच्छा पूरी करें. हम अपनी ओर से दावीद को महाराज के हाथों में सौंपने की पूरी कोशिश करेंगे.”
شائول گفت: «خداوند شما را برکت دهد که به فکر من هستید! 21
शाऊल ने उत्तर दिया, “आप लोगों ने मुझ पर जो दया दिखाई है, उसके लिए याहवेह आपको आशीष प्रदान करें.
بروید و بیشتر تحقیق کنید تا مطمئن شوید او در آنجاست. ببینید چه کسی او را دیده است. می‌دانم که او خیلی زرنگ و حیله‌گر است. 22
जाइए और जाकर इस तथ्य की पुष्टि कर लीजिए: ठीक-ठीक यह ज्ञात कीजिए कि वह कहां छिपा हुआ है और किसने उसे वहां देखा है; क्योंकि मुझे प्राप्‍त सूचना के अनुसार वह बहुत ही चालाक व्यक्ति है.
مخفیگاه‌های او را پیدا کنید، آنگاه برگردید و جزئیات را به من گزارش دهید و من همراه شما بدانجا خواهم آمد. اگر در آنجا باشد، هر طور شده او را پیدا می‌کنم، حتی اگر مجبور باشم وجب به وجب تمام سرزمین یهودا را بگردم!» 23
जाकर उन सारे छिपने योग्य स्थानों को देखो, उन्हें पहचान लो, जहां वह दुबका रहता है, तब लौटकर आओ और मुझे निश्चित सूचना दो. तभी मैं तुम्हारे साथ चलूंगा; यदि वह वास्तव में इसी क्षेत्र में है, तो मैं उसे यहूदिया के कुलों से ढूंढ़ निकालूंगा.”
مردان زیف به خانه‌هایشان برگشتند. اما داوود چون شنید که شائول در تعقیب او به طرف زیف می‌آید، برخاسته با افرادش به بیابان معون که در جنوب یهودا واقع شده است، رفت. ولی شائول و افرادش نیز به دنبال او تا معون رفتند. 24
तब वे शाऊल के पूर्व ज़ीफ़ नगर पहुंच गए. इस समय दावीद और उनके साथी जेशिमोन के दक्षिण के अराबाह में माओन की मरुभूमि में थे.
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शाऊल और उनके साथी दावीद की खोज में निकल पड़े. दावीद को किसी ने इसकी सूचना दे दी, तब दावीद माओन की मरुभूमि में पर्वत की चट्टानों में जा छिपे. शाऊल को इस विषय में भी सूचना दे दी गई. वह दावीद का पीछा करने निकल पड़े.
شائول و داوود در دو طرف یک کوه قرار گرفتند. شائول و سربازانش هر لحظه نزدیکتر می‌شدند و داوود سعی می‌کرد راه فراری پیدا کند، ولی فایده‌ای نداشت. 26
शाऊल और उनके साथी पर्वत की एक ओर चल रहे थे, दावीद और उनके साथी पर्वत की दूसरी ओर. दोनों के मध्य था पर्वत. दावीद की कोशिश थी कि वह शीघ्र, अति शीघ्र, शाऊल के साथियों से दूर निकल जाएं, क्योंकि वे उनके निकट आते जा रहे थे.
درست در این هنگام به شائول خبر رسید که فلسطینی‌ها به اسرائیل حمله کرده‌اند. 27
उसी समय एक संदेशवाहक ने आकर शाऊल को सूचना दी, “कृपया तुरंत लौट आएं! फिलिस्तीनियों ने हमारे देश पर हमला कर दिया है.”
پس شائول به ناچار دست از تعقیب داوود برداشت و برای جنگ با فلسطینی‌ها بازگشت. به این دلیل آن مکان را صخرۀ جدایی نامیدند. 28
तब शाऊल ने दावीद का पीछा करना छोड़ फिलिस्तीनियों से युद्ध करने चले गए. इस घटना के कारण उस स्थान का नाम ही सेला हम्माहलेकोथ अर्थात् विभाजक चट्टान पड़ गया.
داوود از آنجا رفت و در مخفیگاه‌های عین جدی پنهان شد. 29
दावीद ने वह क्षेत्र छोड़ दिया, और जाकर एन-गेदी के गढ़ों में रहने लगे.

< اول سموئیل 23 >