< ମୋଶାଙ୍କ ଲିଖିତ ପ୍ରଥମ ପୁସ୍ତକ 44 >
1 ଏଥିଉତ୍ତାରେ ଯୋଷେଫ ଆପଣା ଗୃହାଧ୍ୟକ୍ଷକୁ ଆଜ୍ଞା ଦେଲେ, “ଏହି ଲୋକମାନଙ୍କ ପଟରେ ଯେତେ ଶସ୍ୟ ଧରଇ, ସେତେ ପରିପୂର୍ଣ୍ଣ କରିଦିଅ, ପୁଣି, ପ୍ରତ୍ୟେକର ଟଙ୍କା ପ୍ରତ୍ୟେକର ପଟ-ମୁଖରେ ରଖ।
१मग योसेफाने आपल्या कारभाऱ्याला आज्ञा देऊन म्हटले, “या लोकांच्या गोणीमधे जेवढे अधिक धान्य मावेल व त्यांना नेता येईल तेवढे भर. आणि त्यासोबत प्रत्येकाचे पैसेही त्या पोत्यात ठेव.
2 ଆଉ କନିଷ୍ଠ ପଟରେ ତାହାର ଶସ୍ୟ କିଣିବା ଟଙ୍କା ସଙ୍ଗେ ଆମ୍ଭ ତାଟିଆ, ସେ ରୂପା ତାଟିଆ ରଖ।” ତହିଁରେ ସେ ଯୋଷେଫଙ୍କ କଥାନୁସାରେ କଲା।
२सर्वांत धाकट्याच्या गोणीत धान्याच्या पैशाबरोबर माझा विशेष चांदीचा प्यालाही ठेव.” योसेफाच्या कारभाऱ्याने त्याच्या आज्ञेप्रमाणे सर्वकाही केले.
3 ଆଉ ପ୍ରଭାତ ହେବା ମାତ୍ରେ, ସେମାନେ ଗର୍ଦ୍ଦଭ ସହିତ ବିଦାୟ ପାଇଲେ।
३दुसऱ्या दिवशी अगदी सकाळी त्या भावांना त्यांच्या गाढवांसह त्यांच्या देशाला रवाना करण्यात आले.
4 ପୁଣି, ନଗରରୁ ବାହାରି ବହୁତ ଦୂର ନ ଯାଉଣୁ, ଯୋଷେଫ ଆପଣା ଗୃହାଧ୍ୟକ୍ଷକୁ କହିଲେ, “ତୁମ୍ଭେ ଉଠି ସେହି ମନୁଷ୍ୟମାନଙ୍କ ପଛେ ପଛେ ଦୌଡ଼ିଯାଇ ସେମାନଙ୍କ ସଙ୍ଗ ଧରି କୁହ, ‘ତୁମ୍ଭେମାନେ ଉପକାର ବଦଳେ କାହିଁକି ଅପକାର କଲ?
४ते नगराबाहेर दूर गेले नाहीत, तोच थोड्या वेळाने योसेफ आपल्या कारभाऱ्याला म्हणाला, “जा आणि त्या लोकांचा पाठलाग कर आणि त्यांना थांबवून असे म्हण, ‘आम्ही तुमच्याशी भलेपणाने वागलो! असे असता तुम्ही आमच्याशी अशा वाईट रीतीने का वागला? तुम्ही माझ्या स्वामीचा चांदीचा प्याला का चोरला?
5 ଆମ୍ଭ ପ୍ରଭୁ ଯହିଁରେ ପାନ କରନ୍ତି ଓ ଯଦ୍ଦ୍ୱାରା ଗଣକତା କରନ୍ତି, ସେହି ତାଟିଆ କି ଏ ନୁହେଁ? ଏପରି କର୍ମ ଦ୍ୱାରା ତୁମ୍ଭେମାନେ ଦୋଷ କରିଅଛ।’”
५हा प्याला खास माझा धनी पिण्याकरिता वापरतात. तसेच देवाला प्रश्न विचारण्याकरिता उपयोग करतात. हा प्याला चोरून तुम्ही फार वाईट केले आहे.’”
6 ଏଥିଉତ୍ତାରେ ସେ ସେମାନଙ୍କ ସଙ୍ଗ ଧରି ଏହିସବୁ କଥା କହିଲା।
६तेव्हा त्या कारभाऱ्याने त्यांना गाठून योसेफाने आज्ञा केल्याप्रमाणे तो त्यांच्याशी बोलला.
7 ତହିଁରେ ସେମାନେ କହିଲେ, “ଆମ୍ଭର ପ୍ରଭୁ କାହିଁକି ଏପରି କଥା କହନ୍ତି? ଆପଣଙ୍କ ଦାସମାନଙ୍କର ଏପରି କର୍ମ କରିବା ଦୂରେ ଥାଉ।
७परंतु ते कारभाऱ्याला म्हणाले, “माझे धनी असे का बरे बोलतात? आम्ही कधीच अशा गोष्टी करीत नाही.
8 ଦେଖନ୍ତୁ, ଆପଣା ଆପଣା ପଟ ମୁଖରୁ ଆର ଥର ଯେଉଁ ଟଙ୍କା ପାଇଥିଲୁ; ତାହା ଆମ୍ଭେମାନେ କିଣାନ ଦେଶରୁ ପୁନର୍ବାର ଆପଣଙ୍କ ନିକଟକୁ ଆଣିଲୁ; ତେବେ କିପରି ଆପଣଙ୍କ ପ୍ରଭୁଙ୍କ ଗୃହରୁ ରୂପା କି ସୁନା ଚୋରି କରିବୁ?
८पाहा, मागे आमच्या गोणीत मिळालेला पैसाही आम्ही कनान देशातून तुमच्याकडे परत आणला. तेव्हा आपल्या धन्याच्या घरातून आम्ही सोने किंवा चांदी कशी चोरणार?
9 ଆପଣଙ୍କ ଦାସମାନଙ୍କ ମଧ୍ୟରେ ଯାହାଠାରୁ ତାହା ମିଳେ, ସେ ମରୁ, ପୁଣି, ଆମ୍ଭେମାନେ ମଧ୍ୟ ପ୍ରଭୁଙ୍କର ଦାସ ହେବୁ।”
९या पेक्षा आम्हापैकी कोणाच्या पोत्यात तुम्हास जर तो चांदीचा प्याला मिळाला तर तो भाऊ मरेल. तुम्ही त्यास मारून टाकावे आणि मग आम्ही सर्वजण तुमच्या धन्याचे गुलाम होऊ.”
10 ତହିଁରେ ସେ କହିଲା, “ଭଲ, ତୁମ୍ଭମାନଙ୍କ କଥାନୁସାରେ ହେଉ; ଯାହା ପାଖରୁ ତାହା ମିଳିବ, ସେ ଆମ୍ଭର ଦାସ ହେବ, ମାତ୍ର ଅନ୍ୟମାନେ ନିର୍ଦ୍ଦୋଷ ହେବେ।”
१०कारभारी म्हणाला, “ठीक आहे, तुम्ही म्हणता त्याप्रमाणे आपण करू. जर मला चांदीचा प्याला मिळाला तर मग तो मनुष्य माझ्या धन्याचा गुलाम होईल. इतरजण जाण्यास मोकळे राहतील.”
11 ତହୁଁ ସେମାନେ ସେହିକ୍ଷଣି ଭୂମିରେ ଆପଣା ଆପଣା ପଟ ଉତ୍ତାରି ପ୍ରତ୍ୟେକେ ଆପଣା ଆପଣା ପଟ ଫିଟାଇବାକୁ ଲାଗିଲେ।
११नंतर प्रत्येक भावाने लगेच आपली गोणी जमिनीवर उतरून उघडली.
12 ସେ ଗୃହାଧ୍ୟକ୍ଷ ଜ୍ୟେଷ୍ଠଠାରୁ ଆରମ୍ଭ କରି କନିଷ୍ଠ ପର୍ଯ୍ୟନ୍ତ ଖୋଜି ଗଲା; ଆଉ ବିନ୍ୟାମୀନ୍ର ପଟରୁ ସେହି ତାଟିଆ ମିଳିଲା।
१२कारभाऱ्याने थोरल्या भावापासून सुरुवात करून धाकट्या भावाच्या गोणीपर्यंत तपासून पाहिले. तेव्हा त्यास बन्यामिनाच्या गोणीत तो चांदीचा प्याला मिळाला.
13 ସେତେବେଳେ ସେମାନେ ଆପଣା ଆପଣା ବସ୍ତ୍ର ଚିରିଲେ, ଆଉ ପ୍ରତ୍ୟେକେ ଗଧ ବୋଝାଇ କରି ନଗରକୁ ଫେରିଗଲେ।
१३दुःखामुळे त्यांनी आपली वस्त्रे फाडली आणि आपल्या गोण्या गाढवांवर लादून ते परत नगरात आले.
14 ଆଉ ଯିହୁଦା ଓ ତାହାର ଭ୍ରାତୃଗଣ ଯୋଷେଫଙ୍କ ଗୃହରେ ପ୍ରବେଶ କଲେ; ଯୋଷେଫ ସେହି ସମୟ ପର୍ଯ୍ୟନ୍ତ ସେଠାରେ ଥିଲେ; ଏଣୁ ସେମାନେ ତାଙ୍କ ସାକ୍ଷାତରେ ଭୂମିରେ ପଡ଼ିଲେ।
१४यहूदा व त्याचे भाऊ परत योसेफाच्या घरी गेले. योसेफ अजून घरातच होता. त्या भावांनी योसेफापुढे लोटांगण घातले.
15 ତେବେ ଯୋଷେଫ ସେମାନଙ୍କୁ କହିଲେ, “ତୁମ୍ଭେମାନେ ଏ କିପରି କାର୍ଯ୍ୟ କଲ? ଆମ୍ଭ ପରି ଲୋକ ଯେ ଅବଶ୍ୟ ଗଣକତା କରି ପାରିବ, ଏହା କି ତୁମ୍ଭେମାନେ ଜାଣ ନାହିଁ?”
१५योसेफ त्यांना म्हणाला, “तुम्ही असे का केले? मला शकून पाहण्याचे ज्ञान आहे हे तुम्हास माहीत नाही का?”
16 ତହିଁରେ ଯିହୁଦା କହିଲା, “ଆମ୍ଭେମାନେ ପ୍ରଭୁଙ୍କ ଛାମୁରେ ଆଉ କି ଉତ୍ତର ଦେବୁ? ଆଉ କି କଥା କହିବୁ? ଅବା କିପରି ଆପଣାମାନଙ୍କୁ ନିର୍ଦ୍ଦୋଷ କରିବୁ? ପରମେଶ୍ୱର ଆପଣଙ୍କ ଦାସମାନଙ୍କର ଅପରାଧ ପ୍ରକାଶ କରିଅଛନ୍ତି; ଦେଖନ୍ତୁ, ଆମ୍ଭେମାନେ ଓ ଯାହାଠାରୁ ତାଟିଆ ମିଳିଅଛି ସେ, ପୁଣି ଆମ୍ଭେ ସମସ୍ତେ ଆପଣଙ୍କ (ପ୍ରଭୁଙ୍କର) ଦାସ ହେବୁ।”
१६यहूदा म्हणाला, “माझ्या धन्याला आम्ही काय बोलावे? किंवा आम्ही अपराधी नाही हे कसे सिद्ध करावे? देवाला तुमच्या सेवकांचा दोष सापडला आहे. म्हणून आता त्याच्यासह आम्ही सर्वजण धन्याचे गुलाम झालो आहोत.”
17 ତହିଁରେ ଯୋଷେଫ କହିଲେ, “ଏପରି କର୍ମ ଆମ୍ଭଠାରୁ ଦୂର ହେଉ; ଯାହାଠାରୁ ତାଟିଆ ମିଳିଅଛି, ସେ ଆମ୍ଭର ଦାସ ହେବ; ମାତ୍ର ତୁମ୍ଭେମାନେ କୁଶଳରେ ପିତାଙ୍କ ନିକଟକୁ ଚାଲିଯାଅ।”
१७परंतु योसेफ म्हणाला, “मी तुम्हा सर्वजणांना गुलाम करणार नाही. फक्त ज्याने चांदीचा प्याला चोरला तोच माझा गुलाम होईल. बाकीचे तुम्ही शांतीने आपल्या बापाकडे जाऊ शकता.”
18 ତହିଁରେ ଯିହୁଦା ନିକଟକୁ ଯାଇ କହିଲା, “ପ୍ରଭୋ, ଆପଣଙ୍କ ଏହି ଦାସକୁ ପ୍ରଭୁଙ୍କ କର୍ଣ୍ଣଗୋଚରରେ ପଦେ ନିବେଦନ କରିବାକୁ ଅନୁମତି ଦେଉନ୍ତୁ ଓ ଆପଣା ଦାସ ପ୍ରତି ଆପଣଙ୍କ କ୍ରୋଧ ପ୍ରଜ୍ୱଳିତ ନ ହେଉ; କାରଣ ଆପଣ ଫାରୋଙ୍କ ତୁଲ୍ୟ ଅଟନ୍ତି।
१८मग यहूदा योसेफाजवळ जाऊन म्हणाला, “माझे धनी, मी विनंती करतो, तुमच्या सेवकाला कानात बोलू द्या आणि माझ्यावर राग भडकू देऊ नका. आपण फारो राजासमान आहात.
19 ପ୍ରଭୁ ଆପଣା ଦାସମାନଙ୍କୁ ପଚାରିଥିଲେ, ‘ତୁମ୍ଭମାନଙ୍କର ପିତା କିଅବା ଭାଇ ଅଛନ୍ତି କି?’
१९माझ्या धन्याने आपल्या सेवकाला विचारले होते, ‘तुम्हास बाप किंवा भाऊ आहे का?’
20 ତହିଁରେ ଆମ୍ଭେମାନେ ପ୍ରଭୁଙ୍କୁ ଉତ୍ତର ଦେଇଥିଲୁ, ‘ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ପିତା ଅଛନ୍ତି, ସେ ବୃଦ୍ଧ ଲୋକ; ପୁଣି, ତାଙ୍କ ବୃଦ୍ଧାବସ୍ଥାର ଗୋଟିଏ ପୁତ୍ର ଅଛି, ସେହି ଜଣକ କନିଷ୍ଠ; ମାତ୍ର ତାହାର ସହୋଦର ମରିଅଛି, ସେହି କେବଳ ତାହାର ମାତାର ଅବଶିଷ୍ଟ ପୁତ୍ର; ଏଣୁ ତାହାର ପିତା ତାହାକୁ ସ୍ନେହ କରନ୍ତି।’
२०आणि आम्ही आपल्या धन्याला म्हणालो, होय, आमचा बाप आहे, तो म्हातारा आहे तसेच वडिलाच्या म्हातारपणी झालेला लहान भाऊ आहे. आणि त्याचा भाऊ मरण पावला आहे. त्या आईचा हा एकच मुलगा राहिला आहे. आणि त्याचा बाप त्याच्यावर प्रीती करतो.
21 ଏଥିରେ ଆପଣ ଏହି ଦାସମାନଙ୍କୁ କହିଥିଲେ, ‘ତୁମ୍ଭେମାନେ ତାକୁ ଆମ୍ଭ କତିକି ଆଣ, ଆମ୍ଭେ ତାକୁ ସ୍ୱଚକ୍ଷୁରେ ଦେଖିବା।’
२१आणि तुम्ही आपल्या सेवकांना म्हणाला, ‘मग त्यास माझ्याकडे घेऊन या. मला त्यास पाहावयाचे आहे.’
22 ତେବେ ଆମ୍ଭେମାନେ ପ୍ରଭୁଙ୍କୁ କହିଥିଲୁ, ‘ସେ ଯୁବା ପିତାଙ୍କୁ ଛାଡ଼ି ପାରିବ ନାହିଁ; ସେ ତାହାର ପିତାଙ୍କୁ ଛାଡ଼ି ଆସିଲେ, ପିତା ମରିଯିବେ।’
२२आणि आम्ही स्वामीस म्हणालो, तो मुलगा बापाला सोडून येऊ शकणार नाही, कारण त्याने बापाला सोडले तर आमचा बाप मरून जाईल.
23 ତହିଁରେ ଆପଣ ଏହି ଦାସମାନଙ୍କୁ କହିଲେ, ‘ତୁମ୍ଭମାନଙ୍କ ସଙ୍ଗରେ କନିଷ୍ଠ ଭାଇ ନ ଆସିଲେ, ତୁମ୍ଭେମାନେ ଆଉ ଆମ୍ଭ ମୁଖ ଦେଖି ପାରିବ ନାହିଁ।’
२३परंतु आपण आम्हांला बजावून सांगितले, ‘तुम्ही तुमच्या धाकट्या भावाला घेऊन आलेच पाहिजे नाही, तर तुम्ही माझे तोंड पुन्हा पाहू शकणार नाही.’
24 ଏଥିଉତ୍ତାରେ ଆମ୍ଭେମାନେ ଆପଣଙ୍କ ଦାସ ଯେ ମୋʼ ପିତା, ତାଙ୍କ ନିକଟରେ ଉପସ୍ଥିତ ହୋଇ ତାଙ୍କୁ ପ୍ରଭୁଙ୍କର ଏହିସବୁ କଥା କହିଲୁ।
२४मग असे झाले की, आम्ही तुमचा सेवक आमचा बाप याच्याकडे परत गेलो व आमचा धनी जे बोलला ते त्यास सांगितले.
25 ଏଥିଉତ୍ତାରେ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ପିତା କହିଲେ, ‘ତୁମ୍ଭେମାନେ ପୁନର୍ବାର ଯାଇ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ନିମନ୍ତେ କିଛି ଭକ୍ଷ୍ୟ କିଣି ଆଣ।’
२५आणि आमचा बाप म्हणाला, पुन्हा जाऊन आपणासाठी धान्य विकत आणा.
26 ତହିଁରେ ଆମ୍ଭେମାନେ କହିଲୁ, ‘ଯାଇ ପାରିବୁ ନାହିଁ; ଯଦି ସାନ ଭାଇ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ସଙ୍ଗରେ ଥିବ, ତେବେ ଯାଇ ପାରିବୁ; କାରଣ ସାନ ଭାଇ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ସଙ୍ଗରେ ନ ଥିଲେ, ଆମ୍ଭେମାନେ ସେହି ବ୍ୟକ୍ତିଙ୍କର ମୁଖ ଦେଖି ପାରିବୁ ନାହିଁ।’
२६आणि आम्ही म्हणालो, आमच्या धाकट्या भावाला बरोबर घेतल्याशिवाय जाणार नाही, कारण तुमच्या धाकट्या भावाला माझ्याकडे आणल्याखेरीज तुम्हास माझे तोंड पुन्हा पाहता येणार नाही, असे त्या अधिकाऱ्याने आम्हास बजावले आहे.
27 ତହିଁରେ ଆପଣଙ୍କ ଦାସ ଯେ ମୋହର ପିତା, ସେ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କୁ କହିଲେ, ‘ତୁମ୍ଭେମାନେ ଜାଣ, ଆମ୍ଭର ସେହି ଭାର୍ଯ୍ୟାଠାରୁ ଦୁଇଟି ପୁତ୍ର ହୋଇଥିଲେ।
२७मग तुमचा सेवक आमचा बाप म्हणाला, तुम्हास माहीत आहे की, माझ्या पत्नीच्या पोटी मला दोन पुत्र झाले.
28 ସେମାନଙ୍କ ମଧ୍ୟରୁ ଗୋଟିଏ ଆମ୍ଭ ନିକଟରୁ ଚାଲିଗଲା, ତହୁଁ ଆମ୍ଭେ କହିଲୁ, ସେ ନିଶ୍ଚୟ ଖଣ୍ଡ ଖଣ୍ଡ ହୋଇ ବିଦୀର୍ଣ୍ଣ ହୋଇଅଛି; ପୁଣି, ସେହି ଦିନଠାରୁ ଆମ୍ଭେ ଆଉ ତାକୁ ଦେଖି ନାହୁଁ।
२८आणि त्यातला एक माझ्यापासून दूर निघून गेला आहे आणि मी म्हणालो, खरोखर त्यास वन्य पशूने फाडून तुकडे तुकडे केले आणि तेव्हापासून मी त्यास पाहिले नाही.
29 ଏବେ ଆମ୍ଭ ପାଖରୁ ଏହାକୁ ନେଇଗଲେ ଯଦି ଏହାକୁ କୌଣସି ବିପତ୍ତି ଘଟେ, ତେବେ ତୁମ୍ଭେମାନେ ଆମ୍ଭକୁ ଶୋକରେ ଏହି ପକ୍ୱ କେଶରେ ପାତାଳକୁ ପଠାଇବ।’ (Sheol )
२९आणि आता माझ्या या मुलाला तुम्ही माझ्यापासून घेऊन गेला आणि त्यास जर काही अपाय झाला तर तुम्ही माझे पिकलेले केस शोकाने मृतलोकात जायला कारण व्हाल. (Sheol )
30 ଏହେତୁ ଆପଣଙ୍କ ଦାସ ଯେ ମୋʼ ପିତା, ତାଙ୍କ ନିକଟରେ ମୁଁ ଉପସ୍ଥିତ ହେଲେ, ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ସଙ୍ଗରେ ଯଦି ଏହି ଯୁବା ନ ଥିବ, ତେବେ ଏହି ଯୁବା ନ ଥିବାର ଦେଖି ସେ ତତ୍କ୍ଷଣାତ୍ ମରିଯିବେ।
३०म्हणून आता तुझा सेवक, माझा बाप याच्याकडे मी गेलो आणि मुलगा माझ्याबरोबर नसला तर याच्या जिवाशी त्याचा जीव जडलेला असल्यामुळे,
31 କାରଣ ତାଙ୍କ ପ୍ରାଣ ଏହି ଯୁବାର ପ୍ରାଣରେ ବନ୍ଧା ଅଟେ। ତହିଁରେ ଆପଣଙ୍କର ଏହି ଦାସମାନେ ଶୋକରେ ପକ୍ୱ କେଶରେ ଆପଣଙ୍କ ଦାସ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ପିତାଙ୍କୁ କବରକୁ ପଠାଇବେ। (Sheol )
३१असे होईल की, मुलगा नाही हे पाहून तो मरून जाईल. आणि तुमचा चाकर, आमचा बाप याचे पिकलेले केस शोकाने मृतलोकात जायला तुझे सेवक कारण होतील. (Sheol )
32 ଆହୁରି, ଆପଣଙ୍କ ଦାସ ମୁଁ, ଆପଣା ପିତାଙ୍କ ନିକଟରେ ଏହି ଯୁବାର ଲଗା ହୋଇ କହିଅଛି, ‘ମୁଁ ଯଦି ତାକୁ ତୁମ୍ଭ ପାଖକୁ ନ ଆଣେ, ତେବେ ମୁଁ ଯାବଜ୍ଜୀବନ ପିତାଙ୍କ ନିକଟରେ ଅପରାଧୀ ହେବି।’
३२या मुलाबद्दल मी माझ्या पित्यास हमी दिली आहे. मी म्हटले, ‘जर मी त्यास तुमच्याकडे परत घेऊन आलो नाही तर मग जन्मभर मी तुमचा दोषी राहीन.’
33 ଏଣୁ ନିବେଦନ କରୁଅଛି, ପ୍ରଭୁଙ୍କ ନିକଟରେ ଏହି ଯୁବାର ପରିବର୍ତ୍ତେ ଆପଣଙ୍କ ଦାସ ମୁଁ ଆପଣଙ୍କ ଦାସ ହୋଇଥାଏ, ମାତ୍ର ଏହି ଯୁବାକୁ ଭାଇମାନଙ୍କ ସଙ୍ଗରେ ବିଦାୟ କରନ୍ତୁ।
३३म्हणून आता, मी तुम्हास विनंती करतो, मला, तुमच्या या सेवकाला या मुलाच्याऐवजी माझ्या धन्याचा गुलाम म्हणून ठेवून घ्या. मुलाला त्याच्या भावांबरोबर जाऊ द्या.
34 କାରଣ ଏହି ଯୁବା ମୋʼ ସଙ୍ଗରେ ନ ଥିଲେ, ମୁଁ କିପରି ପିତାଙ୍କ ନିକଟକୁ ଯାଇ ପାରିବି? ପୁଣି, ପିତାଙ୍କୁ ଯେଉଁ ବିପଦ ଘଟିବ, ତାହା କିପରି ଅବା ଦେଖି ପାରିବି?”
३४माझ्या बापाकडे मी माघारी कसा जाऊ? माझ्या बापाचे वाईट होईल ते मला पाहावे लागेल याची मला भयंकर भीती वाटते.”