< ରୋମି 10 >

1 ହେ ହାଗା ମିଶିକ, ଆଇଁୟାଃ ଆପ୍‌ନାଃ ହଡ଼କ ଜୀଉବାଞ୍ଚାଅ ନାମେକାକ, ମେନ୍ତେ ଆଇଁୟାଃ ମନ୍‌ସୁରୁଦ୍‌ରେ ସାନାଙ୍ଗ୍‌ତାନାଇଙ୍ଗ୍‌ ଆଡଃ ଆଇଙ୍ଗ୍‌ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ତାଃରେ ସବେନ୍‌ ଇମ୍‌ତାଇଙ୍ଗ୍‌ ବିନ୍ତିତାନା ।
प्रिय भाई बहिनो, उनका उद्धार ही मेरी हार्दिक अभिलाषा तथा परमेश्वर से मेरी प्रार्थना का विषय है.
2 ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ଆଃ ବିଷାଏରେ ଇନ୍‌କୁଆଃ ପୁରାଃଗି ଚିହୁଲ୍‌ଲାନ୍‌ ମେନାଃ, ଏନା ଆଇଙ୍ଗ୍‌ ଇନ୍‌କୁଆଃ ସାଃଏତେ ଗାୱା ଏମ୍‌ତାନାଇଙ୍ଗ୍‌, ମେନ୍‌ଦ ଇନ୍‌କୁଆଃ ଚିହୁଲ୍‌ତେୟାଃ ସାର୍‌ତି ସେଣାଁଁନ୍‌ ଲେକାତେ ନାହାଁଲାଃ ।
उनके विषय में मैं यह गवाही देता हूं कि उनमें परमेश्वर के प्रति उत्साह तो है किंतु उनका यह उत्साह वास्तविक ज्ञान के अनुसार नहीं है.
3 ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ ହଡ଼କକେ ଚିଲ୍‌କା ଆୟାଃଲଃ ଧାର୍‌ମାନ୍‌ ବାଇକଆଏ, ଏନା ଇନ୍‌କୁ କାକ ସାରିକାଦ୍‌ ତାଇକେନା ଆଡଃ ଇନ୍‌କୁ ଧାର୍‌ମାନ୍‌ ହବାଅଃ ନାଗେନ୍ତେ ଆକଆଃ ଆପ୍‌ନାଃ ଇଛାସାନାଙ୍ଗ୍‌ ଲେକା ରିକାକେଦାକ, ଏନାତେ ଇନ୍‌କୁ ଆପାନ୍‌କେ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ତାଃରେ କା ଜିମାକେଦ୍‌ତେ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ଆଃ ଏନ୍‌ ହରାକେ ବାଗିୟାକାଦାକ ।
परमेश्वर की धार्मिकता के विषय में अज्ञानता तथा अपनी ही धार्मिकता की स्थापना करने के उत्साह में उन्होंने स्वयं को परमेश्वर की धार्मिकता के अधीन नहीं किया.
4 ଖ୍ରୀଷ୍ଟ୍‌ଗି ଆନ୍‌ଚୁରେନ୍‌ ଟୁଣ୍ଡୁ ତାନିଃ, ଏନାତେ ସବେନ୍‌କ ଇନିଃତାଃରେ ଏସ୍‌କାର୍‌ ବିଶ୍ୱାସ୍‌ଲେରେ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ଆଃ ନେପେଲ୍‌ରେ ଧାର୍‌ମାନ୍‌ ମେନ୍ତେକ କାଜିୟଃଆ ।
उस हर एक व्यक्ति के लिए, जो मसीह में विश्वास करता है, मसीह ही धार्मिकता की व्यवस्था की समाप्‍ति हैं.
5 ଆନ୍‌ଚୁ ମାନାତିଙ୍ଗ୍‌ ହରାତେ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ଲଃ ଧାର୍‌ମାନ୍‌ ହବାଅଃ ନାଗେନ୍ତେ ମୁଶା ଅଲାକାଦା, “ଅକନ୍‌କ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ଆଃ ଆନ୍‌ଚୁକ ମାନାତିୟାଁଃ, ଇନ୍‌କୁ ବାଞ୍ଚାଅଃଆକ ।”
मोशेह के अनुसार व्यवस्था पर आधारित धार्मिकता है, जो इनका अनुसरण करेगा, वह इनके कारण जीवित रहेगा.
6 ମେନ୍‌ଦ ବିଶ୍ୱାସ୍‌ ହରାତେ ଧାର୍‌ମାନ୍‌ ହବାଅଃ ବିଷାଏରେ ଧାରାମ୍‌ପୁଥିରେ ଅଲାକାନା, “ଖ୍ରୀଷ୍ଟ୍‌କେ ଆଡ଼୍‌ଗୁ ନାଗେନ୍ତେ ଅକଏ ସିର୍ମାତେ ରାକାବା? ମେନ୍ତେ ଆପେ ଆପେୟାଃ ମନ୍‌ରେ ଆଲ୍‌ପେ କୁପୁଲିନାଃ ।”
किंतु विश्वास पर आधारित धार्मिकता का भेद है: अपने मन में यह विचार न करो: स्वर्ग पर कौन चढ़ेगा, मसीह को उतार लाने के लिए?
7 ଚାଏ, “ଖ୍ରୀଷ୍ଟ୍‌କେ ଗନଏଃହେତେ ବିରିଦ୍‌ ଆଉ ନାଙ୍ଗ୍‌ ଅକଏ ହୁଆଙ୍ଗ୍‌ଗାଡ଼ାତେ ସେନା?” ନେ କାଜିୟଗି ଆପେ ଆଲ୍‌ପେ କୁପୁଲିନାଃ । (Abyssos g12)
या मसीह को मरे हुओं में से जीवित करने के उद्देश्य से पाताल में कौन उतरेगा? (Abyssos g12)
8 ଚିୟାଃଚି ଧାରାମ୍‌ପୁଥି ଲେକାତେ, “ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ଆଃ କାଜି ଆପେତାଃରେ, ଆପେୟାଃ ମଚାରେ ଆଡଃ ମନ୍‌ସୁରୁଦ୍‌ରେ ମେନାଃ ।” ଏନ୍‌ ବିଶ୍ୱାସ୍‌ରେୟାଃ କାଜିଗି ଆଲେ ଉଦୁବେତାନାଲେ ।
क्या है इसका मतलब: परमेश्वर का वचन तुम्हारे पास है—तुम्हारे मुख में तथा तुम्हारे हृदय में—विश्वास का वह संदेश, जो हमारे प्रचार का विषय है:
9 ଆପେ ୟୀଶୁକେ ଆପେୟାଃ ମଚାତେ ପ୍ରାଭୁ ମେନ୍ତେପେ ମାନାତିଙ୍ଗ୍‌ରେଦ ଆଡଃ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ ଇନିଃକେ ଗଜାକାନ୍‌କଏତେ ଜୀଉବିରିଦ୍‌କିୟାଏ ମେନ୍ତେ ମନ୍‌ସୁରୁଦ୍‌ରେପେ ବିଶ୍ୱାସେ ରେଦ, ଆପେ ଜୀଉ ବାଞ୍ଚାଅପେ ନାମେୟାଁ ।
इसलिये यदि तुम अपने मुख से मसीह येशु को प्रभु स्वीकार करते हो तथा हृदय में यह विश्वास करते हो कि परमेश्वर ने उन्हें मरे हुओं में से जीवित किया है तो तुम्हें उद्धार प्राप्‍त होगा,
10 ୧୦ ଚିଆଃଚି ଆବୁ ମନ୍‌ସୁରୁଦ୍‌ରେ ବିଶ୍ୱାସ୍‌କେଦ୍‌ ହରାତେ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ଆଃ ଆୟାର୍‌ରେ ଧାର୍‌ମାନ୍‌ ମେନ୍ତେବୁ କାଜିନାଃ ଆଡଃ ମଚାତେ ମାନାତିଙ୍ଗ୍‌କେଦ୍‌ ହରାତେ ଜୀଉବାଞ୍ଚାଅବୁ ନାମ୍‌ଦାଡ଼ିୟା ।
क्योंकि विश्वास हृदय से किया जाता है, जिसका परिणाम है धार्मिकता तथा स्वीकृति मुख से होती है, जिसका परिणाम है उद्धार.
11 ୧୧ ଧାରାମ୍‌ପୁଥି ଲେକାତେ, “ଜେତାଏ ଇନିଃତାଃରେ ବିଶ୍ୱାସେନିଃ କାଏ ଗିହୁଗଃଆ ।
पवित्र शास्त्र का लेख है: हर एक, जो उनमें विश्वास करेगा, वह लज्जित कभी न होगा.
12 ୧୨ ଚିଆଃଚି ଯିହୁଦୀ ହଡ଼ ଆଡଃ ଗ୍ରୀକ୍‌ ହଡ଼କ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ଆଃ ଆୟାର୍‌ରେ ସବେନ୍‌କ ମିଦ୍‌ଗିୟାକ । ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ ଏସ୍‌କାର୍‌ ସବେନ୍‌କଆଃ ପ୍ରାଭୁ ତାନିଃ, ଅକନ୍‌କ ଆଇଃକ୍‌ତାଃରେ ଦେଙ୍ଗା ବିନ୍ତି ରିକାଃକ ଇନ୍‌କୁକେ ଇନିଃ ପୁରାଃଗି ଆଶିଷ୍‌କଆ ।”
यहूदी तथा यूनानी में कोई भेद नहीं रह गया क्योंकि एक ही प्रभु सबके प्रभु हैं, जो उन सबके लिए, जो उनकी दोहाई देते हैं, अपार संपदा हैं.
13 ୧୩ ଚିଆଃଚି ଜେତାଏ ପ୍ରାଭୁଆଃ ନୁତୁମ୍‌ତେ ବିନ୍ତିୟାଏ, ଇନିଃ ଜୀଉବାଞ୍ଚାଅ ନାମେୟାଁଏ ।
क्योंकि हर एक, जो प्रभु को पुकारेगा, उद्धार प्राप्‍त करेगा.
14 ୧୪ ମେନ୍‌ଦ ଇନିଃତାଃରେ କା ବିଶ୍ୱାସ୍‌କେଦ୍‌ତେ ଇନ୍‌କୁ ଚିଲ୍‌କାତେ ଇନିଃକେ ବିନ୍ତିୟାକ? ଆଡଃ ଆୟାଃ ବିଷାଏରେ ସୁକୁକାଜି କା ଆୟୁମ୍‌କେଦ୍‌ତେ ଇନ୍‌କୁ ଚିଲ୍‌କାତେ ବିଶ୍ୱାସ୍‌ ଦାଡ଼ିୟାକ? ଆଡଃ ସୁକୁକାଜିକେ ବେଗାର୍‌ ଉଦୁବ୍‌କେଦ୍‌ତେ ଇନ୍‌କୁ ଚିଲ୍‌କାତେକ ଆୟୁମେୟା?
वे भला उन्हें कैसे पुकारेंगे जिनमें उन्होंने विश्वास ही नहीं किया? वे भला उनमें विश्वास कैसे करेंगे, जिन्हें उन्होंने सुना ही नहीं? और वे भला सुनेंगे कैसे यदि उनकी उद्घोषणा करनेवाला नहीं?
15 ୧୫ ଆଡଃ କାଜି ଉଦୁବ୍‌ ନାଗେନ୍ତେ ମିହୁଡ଼୍‌କେ କା କୁଲିରେ ଇନିଃ ଚିଲ୍‌କାତେ ପାର୍‌ଚାର୍‌ରେୟା? ନେ ବିଷାଏରେ ଧାରାମ୍‌ପୁଥିରେ ଅଲାକାନା, “ସୁକୁକାଜି ଉଦୁବ୍‌ତାନ୍‌କଆଃ ହିନିଜୁଃ ଚିମିନ୍‌ ବୁଗିନ୍‌ଗିୟା?”
और प्रचारक प्रचार कैसे कर सकेंगे यदि उन्हें भेजा ही नहीं गया? जैसा कि पवित्र शास्त्र का लेख है: कैसे सुहावने हैं वे चरण जिनके द्वारा अच्छी बातों का सुसमाचार लाया जाता है!
16 ୧୬ ମେନ୍‌ଦ ସବେନ୍‌କ ଏନ୍‌ ସୁକୁକାଜିକେ କାକ ମାନାତିଙ୍ଗ୍‌କାଦା । ଏନାମେନ୍ତେ ଯିଶାୟ ନାବୀ ଅଲାକାଦା, “ପ୍ରାଭୁ, ଆଲେୟାଃ ସୁକୁକାଜି ଆୟୁମ୍‌କେଦ୍‌ତେ ଅକଏ ବିଶ୍ୱାସ୍‌କାଦା?”
फिर भी सभी ने ईश्वरीय सुसमाचार पर ध्यान नहीं दिया. भविष्यवक्ता यशायाह का लेख है: “प्रभु! किसने हमारी बातों पर विश्वास किया?”
17 ୧୭ ସୁକୁକାଜି ଆୟୁମ୍‌ ହରାତେ ବିଶ୍ୱାସ୍‌ ହିଜୁଃଆ ଆଡଃ ଖ୍ରୀଷ୍ଟ୍‌ଆଃ କାଜି ଉଦୁବ୍‌ତେୟାଃଗି ଏନ୍‌ ସୁକୁକାଜି ତାନାଃ ।
इसलिये स्पष्ट है कि विश्वास की उत्पत्ति होती है सुनने के माध्यम से तथा सुनना मसीह के वचन के माध्यम से.
18 ୧୮ ମେନ୍‌ଦ ଆଇଙ୍ଗ୍‌ କୁଲି ତାନାଇଙ୍ଗ୍‌, ଇନ୍‌କୁ ଚିନାଃ ଏନ୍‌ କାଜିକେ କାକ ଆୟୁମାକାଦା? ସାର୍‌ତିଗି ଆୟୁମାକାଦାକ, ଚିୟାଃଚି ଧାରାମ୍‌ପୁଥିରେ ଅଲାକାନା, “ଇନ୍‌କୁଆଃ ଲାବ୍‌ଜା ଗଟା ଅତେଦିଶୁମ୍‌ ନିତିର୍‌କାନା, ଇନ୍‌କୁଆଃ ନିତିର୍‌ଅଃ କାଜିକ ଅତେଦିଶୁମ୍‌ରେୟାଃ ଟୁଣ୍ଡୁ ଜାକେଦ୍‌ ଆୟୁମାକାନା ।”
किंतु अब प्रश्न यह है: क्या उन्होंने सुना नहीं? निःसंदेह उन्होंने सुना है: उनका शब्द सारी पृथ्वी में तथा, उनका संदेश पृथ्वी के छोर तक पहुंच चुका है.
19 ୧୯ ଆଡଃମିସା ଆଇଙ୍ଗ୍‌ କୁଲି ତାନାଇଙ୍ଗ୍‌, ଇସ୍ରାଏଲ୍‌ ହଡ଼କ ଚିନାଃ ଏନାକେ କାକ ଆଟ୍‌କାର୍‌ଉରୁମ୍‌କେଦା? ସାର୍‌ତିଗି ଆଟ୍‌କାର୍‌ଉରୁମ୍‌କେଦାକ, ସିଦାରେଗି ମୁଶାରାଃ ଦିପିଲିରେ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ କାଜିକେଦାଏ, “ଆଇଙ୍ଗ୍‌ ଆଲେୟାଃ ହଡ଼କକେ ହିସ୍‌ଙ୍ଗାଇଚିକ ନାଗେନ୍ତେ ମିଆଁଦ୍‌ ଡଣ୍ଡ ହଡ଼କେଇଙ୍ଗ୍‌ ବେଭାରିୟା, ଏନ୍‌ଲେକା ମିଆଁଦ୍‌ ଡଣ୍ଡ ହଡ଼ ହରାତେ ଇନ୍‌କୁକେଇଙ୍ଗ୍‌ ଖିସ୍‌ଇଚିକଆ ।”
मेरा प्रश्न है, क्या इस्राएली इसे समझ सके? पहले मोशेह ने कहा: मैं एक ऐसी जनता के द्वारा तुममें जलनभाव उत्पन्‍न करूंगा, जो राष्ट्र है ही नहीं. मैं तुम्हें एक ऐसे राष्ट्र के द्वारा क्रोधित करूंगा, जिसमें समझ है ही नहीं.
20 ୨୦ ଯିଶାୟ ନାବୀ ଆଡଃଗି ପେଡ଼େଃତେ କାଜିକାଦା, “ଆଇଙ୍ଗ୍‌କେ କା ଦାଣାଁଁତାନ୍‌ ହଡ଼କ, ଆଇଙ୍ଗ୍‌କେ ନାମ୍‌କେଦିୟାଁକ, ଅକନ୍‌କ ଆଇଙ୍ଗ୍‌କେ କାକ କୁଲିଙ୍ଗ୍‌ତାଇକେନା, ଆଇଙ୍ଗ୍‌ ଇନ୍‌କୁତାଃରେଇଙ୍ଗ୍‌ ଉଦୁବେନ୍‌ୟାନା ।”
इसके बाद भविष्यवक्ता यशायाह निडरतापूर्वक कहते हैं: मुझे तो उन्होंने पा लिया, जो मुझे खोज भी नहीं रहे थे तथा मैं उन पर प्रकट हो गया, जिन्होंने इसकी कामना भी नहीं की थी.
21 ୨୧ ମେନ୍‌ଦ ପାର୍‌ମେଶ୍ୱାର୍‌ ଇସ୍ରାଏଲ୍‌ ହଡ଼କଆଃ ବିଷାଏରେ କାଜିୟାଃଏ, “କାଜି କା ମାନାତିଙ୍ଗ୍‌ତାନ୍‌ ହଡ଼କ ନାଗେନ୍ତେ ସବେନ୍‌ ଇମ୍‌ତା ତିଃଇ ଜିଲିଙ୍ଗ୍‌କେଦ୍‌ତେ ଆଇଙ୍ଗ୍‌ ଦାରମ୍‌କତାନା ।”
इस्राएल के विषय में परमेश्वर का कथन है: “मैं आज्ञा न माननेवाली और हठीली प्रजा के सामने पूरे दिन हाथ पसारे रहा.”

< ରୋମି 10 >