< उत्पत्ति 47 >

1 योसेफ फारोकडे जाऊन म्हणाला, “माझा बाप माझे भाऊ व त्यांच्या कुटुंबातील सर्व मंडळी कनान देशातून त्यांची शेरडेमेंढरे, गुरेढोरे व त्यांचे सर्वकाही घेऊन येथे आले आहेत. ते गोशेन प्रांतात आहेत.”
ଏଥିଉତ୍ତାରେ ଯୋଷେଫ ଯାଇ ଫାରୋଙ୍କୁ ସମ୍ବାଦ ଦେଇ କହିଲେ, “ମୋʼ ପିତା ଓ ଭାଇମାନେ କିଣାନ ଦେଶରୁ ଆପଣା ଗୋମେଷାଦି ପଲ ପ୍ରଭୃତି ସର୍ବସ୍ୱ ନେଇ ଆସିଅଛନ୍ତି; ଦେଖନ୍ତୁ, ସେମାନେ ଗୋଶନ ପ୍ରଦେଶରେ ଅଛନ୍ତି।”
2 त्याने आपल्याबरोबर फारोसमोर जाण्यासाठी आपल्या भावांपैकी पाच जणांना घेतले आणि त्यांची ओळख करून दिली.
ପୁଣି, ଯୋଷେଫ ଆପଣା ଭ୍ରାତୃଗଣ ମଧ୍ୟରୁ ପାଞ୍ଚ ଜଣଙ୍କୁ ନେଇ ଫାରୋଙ୍କ ସହିତ ସାକ୍ଷାତ କରାଇଲେ।
3 फारो राजा त्याच्या भावांना म्हणाला, “तुम्ही काय धंदा करता?” ते म्हणाले, “आम्ही आपले दास मेंढपाळ आहोत आणि आमचे पूर्वजही मेंढपाळच होते.”
ତହିଁରେ ଫାରୋ ଯୋଷେଫଙ୍କ ଭାଇମାନଙ୍କୁ ପଚାରିଲେ, “ତୁମ୍ଭମାନଙ୍କର କେଉଁ ବ୍ୟବସାୟ?” ସେମାନେ ଫାରୋଙ୍କୁ କହିଲେ, “ଆପଣଙ୍କର ଏହି ଦାସମାନେ ପୂର୍ବପୁରୁଷାନୁକ୍ରମେ ପଶୁପାଳକ।”
4 ते फारोला पुढे म्हणाले, “कनान देशात फारच भयंकर व कडक दुष्काळ पडला आहे. तेथे एकाही शेतात तुमच्या दासांच्या कळपांसाठी हिरवे गवत किंवा हिरवा चारा राहिलेला नाही म्हणून आम्ही या देशात तात्पुरते राहण्यास आलो आहोत. आम्ही आपणांस विनंती करतो की आम्हास गोशेन प्रांतात राहू द्यावे.”
ସେମାନେ ଫାରୋଙ୍କୁ ଆହୁରି କହିଲେ, “ଆମ୍ଭେମାନେ ଏ ଦେଶରେ ପ୍ରବାସ କରିବାକୁ ଆସିଅଛୁ; ଯେଣୁ ଆପଣଙ୍କ ଏହି ଦାସମାନଙ୍କ ପଶୁପଲ ପାଇଁ କିଛି ଚରା ନାହିଁ; କିଣାନ ଦେଶରେ ଅତି ଭାରୀ ଦୁର୍ଭିକ୍ଷ ପଡ଼ିଅଛି; ଏହେତୁ ବିନତି କରୁଅଛୁ, ଆପଣ ଏହି ଦାସମାନଙ୍କୁ ଗୋଶନ ପ୍ରଦେଶରେ ବାସ କରିବାକୁ ଦେଉନ୍ତୁ।”
5 मग फारो योसेफाला म्हणाला, “तुझा बाप व तुझे भाऊ तुझ्याकडे आले आहेत.
ତହିଁରେ ଫାରୋ ଯୋଷେଫଙ୍କୁ ଆଜ୍ଞା ଦେଲେ, “ତୁମ୍ଭର ପିତା ଓ ଭ୍ରାତୃଗଣ ତୁମ୍ଭ ନିକଟକୁ ଆସିଅଛନ୍ତି,
6 त्यांना राहण्याकरिता तू मिसर देशातील कोणतेही ठिकाण निवड. त्यांना उत्तम जमीन असलेला प्रदेश दे, त्यांना गोशेन प्रांतात वस्ती करून राहू दे. आणि त्याच्यात जर कोणी हुशार मनुष्य मनुष्ये तुला माहीत असतील तर मग त्यांना माझ्या गुराढोरांवर अधिकारी कर.”
ମିସର ଦେଶ ତୁମ୍ଭ ସମ୍ମୁଖରେ ଅଛି; ଦେଶର ସର୍ବୋତ୍ତମ ସ୍ଥାନରେ ଆପଣା ପିତା ଓ ଭାଇମାନଙ୍କୁ ବାସ କରାଅ; ଗୋଶନ ପ୍ରଦେଶରେ ସେମାନେ ବାସ କରନ୍ତୁ; ପୁଣି, ସେମାନଙ୍କ ମଧ୍ୟରୁ ଯାହାକୁ ଯାହାକୁ ପାରଙ୍ଗମ ଲୋକ ବୋଲି ଜାଣୁଅଛ, ସେମାନଙ୍କୁ ଆମ୍ଭ ପଶୁପଲର ଅଧ୍ୟକ୍ଷ ପଦରେ ନିଯୁକ୍ତ କର।”
7 मग योसेफाने याकोब त्याचा बाप याला आणले आणि फारोच्या समोर सादर केले. तेव्हा याकोबाने फारोस आशीर्वाद दिला.
ଏଥିଉତ୍ତାରେ ଯୋଷେଫ ଆପଣା ପିତା ଯାକୁବଙ୍କୁ ଆଣି ଫାରୋଙ୍କ ସାକ୍ଷାତରେ ଉପସ୍ଥିତ କରାଇଲେ; ତହିଁରେ ଯାକୁବ ଫାରୋଙ୍କୁ ଆଶୀର୍ବାଦ କଲେ।
8 मग फारोने याकोबाला विचारले, “तुमचे वय किती आहे?”
ସେତେବେଳେ ଫାରୋ ଯାକୁବଙ୍କୁ ପଚାରିଲେ, “ଆପଣଙ୍କ ପରମାୟୁର ଦିନ କେତେ?”
9 याकोबाने फारोस उत्तर दिले, “माझ्या कष्टमय जीवनाची वर्षे फक्त एकशे तीस वर्षे आहेत. परंतु माझ्या पूर्वजांइतके दीर्घ आयुष्य मला लाभले नाही.”
ଯାକୁବ ଫାରୋଙ୍କୁ କହିଲେ, “ମୋହର ପ୍ରବାସ କାଳର ଦିନ ଶହେ ତିରିଶ ବର୍ଷ; ମୋʼ ପରମାୟୁର ଦିନ ଅଳ୍ପ ଓ ଆପଦଜନକ; ପୁଣି, ମୋହର ପୂର୍ବପୁରୁଷମାନଙ୍କ ପ୍ରବାସକାଳୀନ ଆୟୁର ଦିନ ତୁଲ୍ୟ ନୁହେଁ।”
10 १० याकोबाने फारोला आशीर्वाद दिला व मग तो फारोपुढून निघून गेला.
ଏଥିଉତ୍ତାରେ ଯାକୁବ ଫାରୋଙ୍କୁ ଆଶୀର୍ବାଦ କରି ତାଙ୍କ ଛାମୁରୁ ବିଦାୟ ହେଲେ।
11 ११ योसेफाने फारोच्या आज्ञेप्रमाणे आपल्या बापाला व भावांना रामसेस नगरजवळील प्रांतातील उत्तम भूमी त्यांना रहावयास दिली.
ତହୁଁ ଯୋଷେଫ ଫାରୋଙ୍କର ଆଜ୍ଞାନୁସାରେ ମିସର ଦେଶର ସର୍ବୋତ୍ତମ ଅଞ୍ଚଳରେ, ଅର୍ଥାତ୍‍, ରାମିଷେଷ୍‍ ପ୍ରଦେଶରେ ଅଧିକାର ଦେଇ ଆପଣା ପିତା ଓ ଭାଇମାନଙ୍କର ଅବସ୍ଥିତି କରାଇଲେ।
12 १२ आणि त्याने आपला बाप, आपले भाऊ व त्यांच्या कुटुंबाप्रमाणे, त्यांच्यावर अवलंबून असलेल्यांच्या संख्येप्रमाणे भरपूर अन्नसामग्री पुरवली.
ପୁଣି, ଯୋଷେଫ ଆପଣା ପିତା ଓ ଭାଇମାନଙ୍କୁ ଓ ସମସ୍ତ ପିତୃପରିବାରକୁ ପ୍ରତ୍ୟେକର ପରିବାରାନୁସାରେ ଭକ୍ଷ୍ୟଦ୍ରବ୍ୟ ଦେଇ ପ୍ରତିପାଳନ କଲେ।
13 १३ त्या वेळी सर्व भूमीवर दुष्काळ तर फारच कडक पडला होता; अन्नधान्य कोठेच मिळत नव्हते. त्यामुळे मिसर व कनान देशातील जमीन दुष्काळामुळे उजाड झाली.
ସେହି ସମୟରେ ଅତିଶୟ ଦୁର୍ଭିକ୍ଷ ହେବାରୁ ସର୍ବଦେଶରେ ଖାଦ୍ୟଦ୍ରବ୍ୟର ଅଭାବ ହେଲା; ତହିଁରେ ମିସର ଦେଶୀୟ ଓ କିଣାନ ଦେଶୀୟ ଲୋକମାନେ ଦୁର୍ଭିକ୍ଷ ହେତୁ ପ୍ରାୟ ମୂର୍ଚ୍ଛାଗତ ହେବାକୁ ଲାଗିଲେ।
14 १४ योसेफाने मिसर आणि कनान देशातील रहिवाशांना अन्नधान्य विकून त्यांच्याकडील सर्व पैसा गोळा केला. त्यानंतर योसेफाने तो पैसा फारोच्या राजवाड्यात आणला.
ଆଉ ମିସର ଦେଶରେ ଓ କିଣାନ ଦେଶରେ ଯେତେ ରୂପା ଥିଲା, ଲୋକମାନେ ତାହା ଦେଇ ଶସ୍ୟ କିଣିବାରୁ ଯୋଷେଫ ସେସବୁ ରୂପା ସଂଗ୍ରହ କରି ଫାରୋଙ୍କର ଗୃହକୁ ଆଣିଲେ।
15 १५ काही काळाने मिसर व कनान देशातील लोकांचे पैसे संपून गेले, त्यामुळे मिसरचे लोक योसेफाकडे येऊन म्हणाले, “आम्हास अन्न द्या! आमचे सर्व पैसे संपले आहेत म्हणून आम्ही तुमच्यासमोरच का मरावे?”
ଏଥିଉତ୍ତାରେ ମିସର ଦେଶରେ ଓ କିଣାନ ଦେଶରେ ରୂପାର ଅଭାବ ହୁଅନ୍ତେ, ମିସରୀୟ ଲୋକ ସମସ୍ତେ ଯୋଷେଫଙ୍କ ନିକଟକୁ ଆସି କହିଲେ, “ଆମ୍ଭମାନଙ୍କୁ ଖାଦ୍ୟସାମଗ୍ରୀ ଦେଉନ୍ତୁ, ଆମ୍ଭମାନଙ୍କର ରୂପା ଶେଷ ହେଉଅଛି ବୋଲି କାହିଁକି ଆମ୍ଭେମାନେ ଆପଣଙ୍କ ସମ୍ମୁଖରେ ମରିବୁ?”
16 १६ परंतु योसेफ म्हणाला, “जर तुमचे पैसे संपले आहेत, तर तुम्ही मला तुमची गुरेढोरे द्या आणि मग मी तुमच्या गुराढोरांच्या बदल्यात तुम्हास धान्य देईन.”
ତହିଁରେ ଯୋଷେଫ କହିଲେ, “ତୁମ୍ଭମାନଙ୍କର ପଶୁ ଦିଅ; ଯଦି ରୂପା ଶେଷ ହୋଇଥାଏ, ତେବେ ପଶୁ ବଦଳେ ଆମ୍ଭେ ତୁମ୍ଭମାନଙ୍କୁ ଶସ୍ୟ ଦେବା।”
17 १७ तेव्हा लोकांनी त्यांच्याकडील गुरेढोरे, शेरडेमेंढरे, घोडे, गाढवे आणि इतर जनावरे देऊन अन्नधान्य विकत घेतले. त्या वर्षात लोकांकडून गुरेढोरे घेऊन त्यांच्या बदल्यात योसेफाने त्यांना अन्नधान्य दिले.
ତହୁଁ ସେମାନେ ଯୋଷେଫଙ୍କ ନିକଟକୁ ଆପଣା ଆପଣା ପଶୁ ଆଣିଲେ; ତହିଁରେ ଯୋଷେଫ ଅଶ୍ୱ ଓ ମେଷ ଓ ଗୋରୁପଲ ଓ ଗର୍ଦ୍ଦଭ ଆଦି ବଦଳ ନେଇ ସେମାନଙ୍କୁ ଭକ୍ଷ୍ୟ ଦେବାକୁ ଲାଗିଲେ; ଏହି ପ୍ରକାରେ ଯୋଷେଫ ପଶୁ ବଦଳେ ସେମାନଙ୍କୁ ଭକ୍ଷ୍ୟ ଦେଇ ସେହି ବର୍ଷ ଚଳାଇ ନେଲେ।
18 १८ परंतु त्या वर्षानंतर, पुढील वर्षी लोक योसेफाकडे जाऊन म्हणाले, “आमच्या धन्यापासून आम्ही काही लपवत नाही. आपणास माहीत आहे की, आमच्याकडे पैसे उरलेले नाहीत आणि आमची गुरेढोरेही धन्याची झाली आहेत. तेव्हा आमच्या धनाच्यासमोर आमची शरीरे व आमच्या जमिनी याशिवाय दुसरे काहीही उरलेले नाही.
ପୁଣି, ସେ ବର୍ଷ ସମ୍ପୂର୍ଣ୍ଣ ହୁଅନ୍ତେ, ଦ୍ୱିତୀୟ ବର୍ଷରେ ସେମାନେ ଯୋଷେଫଙ୍କ ନିକଟକୁ ଆସି କହିଲେ, “ଆମ୍ଭମାନଙ୍କର ସମସ୍ତ ରୂପା ଶେଷ ହୋଇଅଛି; ତାହା ପ୍ରଭୁଙ୍କଠାରୁ ଲୁଚାଇବା ନାହିଁ; ପୁଣି, ଆମ୍ଭମାନଙ୍କର ସମସ୍ତ ପଶୁଧନ ମଧ୍ୟ ପ୍ରଭୁଙ୍କର ହୋଇଅଛି; ଏବେ ପ୍ରଭୁଙ୍କ ସାକ୍ଷାତରେ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କର ଦେହ ଓ ଭୂମି ବିନା ଆଉ କିଛି ଅବଶିଷ୍ଟ ନାହିଁ।
19 १९ तुमच्या डोळ्यांसमोर आम्ही का मरावे? आमचा व आमच्या जमिनीचाही नाश का व्हावा? परंतु जर आपण आम्हांला अन्नधान्य द्याल तर मग आम्ही आमच्या जमिनी फारोला देऊ आणि आम्ही त्याचे गुलाम होऊ. आम्हास बियाणे द्या म्हणजे आम्ही जगू, मरणार नाही आणि जमिनी ओस पडणार नाहीत.”
ଏଥିପାଇଁ ଆମ୍ଭେମାନେ ଓ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କର ଭୂମି ଦୁହେଁ କାହିଁକି ଆପଣଙ୍କ ଦୃଷ୍ଟିଗୋଚରରେ ମରିବୁ? ଆପଣ ଭକ୍ଷ୍ୟ ଦେଇ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କୁ ଓ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ଭୂମି କିଣି ନେଉନ୍ତୁ, ତହିଁରେ ଆମ୍ଭେମାନେ ଓ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ଭୂମି ଫାରୋଙ୍କର ଦାସ ହେବୁ; ତାʼପରେ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କୁ ବିହନ ଦେଉନ୍ତୁ, ତହିଁରେ ବଞ୍ଚିବୁ; ନୋହିଲେ ଆମ୍ଭେମାନେ ମରିଯିବୁ, ପୁଣି, ଭୂମି ମଧ୍ୟ ବିନଷ୍ଟ ହେବ।”
20 २० तेव्हा मिसरमधील सर्व शेतजमिनी योसेफाने फारोसाठी विकत घेतल्या. मिसरी लोकांनी आपल्या शेतजमिनी फारोला विकल्या कारण दुष्काळ भयंकर तीव्र झाला होता.
ଏହିରୂପେ ଦୁର୍ଭିକ୍ଷ ସେମାନଙ୍କ ପ୍ରତି ଅତି ଅସହ୍ୟ ହୁଅନ୍ତେ, ମିସରୀୟମାନେ ପ୍ରତ୍ୟେକେ ଆପଣା ଆପଣା ଭୂମି ବିକ୍ରୟ କଲେ; ତହିଁରେ ଯୋଷେଫ ଫାରୋଙ୍କ ନିମନ୍ତେ ମିସର ଦେଶର ସମସ୍ତ ଭୂମି କ୍ରୟ କଲେ; ତେଣୁ ସମସ୍ତ ଭୂମି ଫାରୋଙ୍କର ହେଲା।
21 २१ मिसरमधील एका टोकापासून तर दुसऱ्या टोकापर्यंतच्या सर्व लोकांस त्याने फारोचे गुलाम केले.
ତହିଁରେ ସେ ମିସରର ଏକ ସୀମାଠାରୁ ଅନ୍ୟ ସୀମା ପର୍ଯ୍ୟନ୍ତ ନଗରେ ନଗରେ ପ୍ରଜାମାନଙ୍କୁ ପ୍ରବାସ କରାଇଲେ।
22 २२ योसेफाने याजकांच्या मालकीच्या जमिनी मात्र विकत घेतल्या नाहीत. फारो याजकांना त्यांच्या कामाबद्दल पगार देत होता. त्या पैशातून ते आपणासाठी अन्नधान्य विकत घेत असत म्हणून त्यांच्यावर आपल्या जमिनी विकण्याची वेळ आली नाही.
ସେ କେବଳ ଯାଜକମାନଙ୍କର ଭୂମି କ୍ରୟ କଲେ ନାହିଁ; କାରଣ ଯାଜକମାନେ ଫାରୋଙ୍କଠାରୁ ବୃତ୍ତି ପାଇଲେ; ଏଣୁ ଫାରୋଙ୍କର ଦତ୍ତ ବୃତ୍ତି ଦ୍ୱାରା ସେମାନଙ୍କର ନିର୍ବାହ ହେବାରୁ ସେମାନେ ଆପଣା ଆପଣା ଭୂମି ବିକ୍ରୟ କଲେ ନାହିଁ।
23 २३ तेव्हा योसेफ लोकांस म्हणाला, “पाहा, मी फारोकरता तुम्हास तुमच्या जमिनीसह विकत घेतले आहे तर मी आता तुम्हास बियाणे देतो. ते तुम्ही शेतात पेरा.
ଏଥିଉତ୍ତାରେ ଯୋଷେଫ ପ୍ରଜାମାନଙ୍କୁ କହିଲେ, “ଦେଖ, ଆମ୍ଭେ ଫାରୋଙ୍କ ନିମନ୍ତେ ତୁମ୍ଭମାନଙ୍କୁ ଓ ତୁମ୍ଭମାନଙ୍କ ଭୂମି ସବୁ କିଣିଲୁ; ଏବେ ଏହି ବିହନ ନେଇ ଭୂମିରେ ବୁଣ।
24 २४ परंतु हंगामाच्या वेळी तुमच्या उत्पन्नातील पाचवा हिस्सा फारोला दिलाच पाहिजे. बाकीचे चार हिस्से तुम्ही तुमच्यासाठी घ्यावेत. त्यातून पुढच्या वर्षाकरता तुम्ही बियाणे ठेवावे व बाकीच्या धान्याचा तुमच्या घरातील लहानथोरांस खाण्यासाठी उपयोग करावा.”
ତହିଁରୁ ଯାହା ଉତ୍ପନ୍ନ ହେବ, ତାହାର ପଞ୍ଚମାଂଶ ଫାରୋଙ୍କୁ ଦେବ, ପୁଣି, ଅନ୍ୟ ଚାରି ଅଂଶ ଭୂମିର ବିହନ ପାଇଁ ଓ ଆପଣା ଆପଣା ପରିଜନ ଓ ବାଳକମାନଙ୍କ ନିମନ୍ତେ ରଖିବ।”
25 २५ लोक म्हणाले, “आपण आम्हांला वाचवले आहे, म्हणून फारोचे गुलाम होण्यात आम्हांला आनंद आहे.”
ତହିଁରେ ସେମାନେ କହିଲେ, “ଆପଣ ଆମ୍ଭମାନଙ୍କ ପ୍ରାଣ ରକ୍ଷା କଲେ; ଆପଣଙ୍କ କୃପାଦୃଷ୍ଟି ହେଲେ, ଆମ୍ଭେମାନେ ଫାରୋଙ୍କର ଦାସ ହେବୁ।”
26 २६ त्या वेळी मग योसेफाने देशासाठी एक कायदा केला, तो आजपर्यंत चालू आहे; त्या कायद्याप्रमाणे जमिनीच्या उत्पन्नाचा पाचवा भाग फारोचा आहे. फारो मिसरमधील सर्व जमिनीचा मालक आहे. फक्त याजकांची जमीन फारोच्या मालकीची नाही.
ପଞ୍ଚମାଂଶ ଫାରୋ ପାଇବେ, ମିସରର ସମସ୍ତ ଭୂମି ବିଷୟରେ ଯୋଷେଫଙ୍କର ସ୍ଥାପିତ ଏହି ନିୟମ ଆଜି ପର୍ଯ୍ୟନ୍ତ ଚଳୁଅଛି; କେବଳ ଯାଜକମାନଙ୍କର ଭୂମି ଫାରୋଙ୍କର ହେଲା ନାହିଁ।
27 २७ इस्राएल मिसरमध्ये गोशेन प्रांतात राहिला. त्याची संतती खूप वाढली व त्यांची भरभराट झाली. त्यांना मिसरमधील जमीन मिळाली व त्यांनी वतने केली आणि तेथे त्यांचे सर्वकाही चांगले झाले.
ସେସମୟରେ ଇସ୍ରାଏଲ ମିସରର ଗୋଶନ ପ୍ରଦେଶରେ ବାସ କଲେ, ପୁଣି, ସେଠାରେ ସେମାନେ ଅଧିକାର ପାଇ ପ୍ରଜାବନ୍ତ ଓ ଅତିଶୟ ବହୁବଂଶ ହେଲେ।
28 २८ याकोब मिसरमध्ये सतरा वर्षे राहिला, तो एकशे सत्तेचाळीस वर्षांचा झाला.
ଯାକୁବ ମିସର ଦେଶରେ ସତର ବର୍ଷ କାଳ କ୍ଷେପଣ କଲେ, ତାଙ୍କର ପରମାୟୁର ଦିବସ ଶହେ ସତଚାଳିଶ ବର୍ଷ ଥିଲା।
29 २९ इस्राएलाच्या मरणाचा काळ जवळ आला, म्हणून मग त्याने आपला मुलगा योसेफ याला आपणाजवळ बोलावले आणि तो त्यास म्हणाला, “तू जर माझ्यावर प्रेम करतोस तर माझ्या मांडीखाली तुझा हात ठेवून मला वचन दे की, मी जे सांगतो ते तू करशील आणि तू माझ्याशी खरेपणाने वागशील. मला मिसरामध्ये पुरू नको.
ଇସ୍ରାଏଲଙ୍କର ମରଣ ଦିନ ସନ୍ନିକଟ ହେବାରୁ ସେ ଆପଣା ପୁତ୍ର ଯୋଷେଫଙ୍କୁ ଡକାଇ କହିଲେ, “ମୁଁ ଯଦି ତୁମ୍ଭ ସାକ୍ଷାତରେ ଅନୁଗ୍ରହ ପାଇଲି, ତେବେ ବିନୟ କରୁଅଛି, ତୁମ୍ଭେ ମୋʼ ଜଙ୍ଘରେ ହସ୍ତ ଦିଅ; ପୁଣି, ମୋʼ ପ୍ରତି ଦୟା ଓ ସତ୍ୟ ବ୍ୟବହାର କରି ଏହି ମିସର ଦେଶରେ ମୋତେ କବର ଦିଅ ନାହିଁ।
30 ३० जेव्हा मी माझ्या वाडवडिलांसोबत झोपी जाईन, तेव्हा मला मिसरमधून बाहेर घेऊन जा आणि माझ्या पूर्वजांना जेथे पुरले आहे तेथे म्हणजे आपल्या वंशजांसाठी घेतलेल्या पुरण्याच्या जागेत मला मूठमाती दे.” योसेफाने उत्तर दिले, “तुम्ही मला जे करावयास सांगितले ते मी नक्की करीन.”
ମାତ୍ର ମୁଁ ଆପଣା ପୂର୍ବପୁରୁଷମାନଙ୍କ ସହିତ ଶୟନ କଲେ, ତୁମ୍ଭେ ମୋତେ ଏହି ମିସର ଦେଶରୁ ଘେନିଯାଇ ସେମାନଙ୍କ କବର ସ୍ଥାନରେ କବରଶାୟୀ କରାଅ।” ତହିଁରେ ଯୋଷେଫ କହିଲେ, “ତୁମ୍ଭ ଆଜ୍ଞା ପ୍ରମାଣେ କରିବି।”
31 ३१ मग याकोब म्हणाला, “तू माझ्याशी तशी शपथ वाहा.” तेव्हा तसे करण्याबद्दल योसेफाने शपथ वाहिली. मग इस्राएलाने आपले डोके मागे पलंगाच्या उशावर नम्रतेने खाली वाकून नमन केले.
ତହୁଁ ଯାକୁବ ଯୋଷେଫଙ୍କୁ ଶପଥ କରିବାକୁ କହନ୍ତେ, “ସେ ତାଙ୍କ ନିକଟରେ ଶପଥ କଲେ।” ସେତେବେଳେ ଇସ୍ରାଏଲ ଶଯ୍ୟାର ମୁଣ୍ଡଆଡ଼େ ପ୍ରଣାମ କରି ପରମେଶ୍ୱରଙ୍କ ଆରାଧନା କଲେ।

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