< Ii Paralipomenon 5 >

1 intulit igitur Salomon omnia quae voverat David pater suus argentum et aurum et universa vasa posuit in thesauris domus Dei
इस तरह सब काम जो सुलेमान ने ख़ुदावन्द के घर के लिए बनवाया ख़त्म हुआ और सुलेमान अपने बाप दाऊद की पाक की हुई चीज़ों या'नी सोने और चाँदी और सब बर्तन को अन्दर ले आया और उनको ख़ुदा के घर के ख़ज़ाना में रख़ दिया।
2 post quae congregavit maiores natu Israhel et cunctos principes tribuum et capita familiarum de filiis Israhel in Hierusalem ut adducerent arcam foederis Domini de civitate David quae est Sion
तब सुलेमान ने इस्राईल के बुज़ुर्गों और क़बीलों के सब रईसों या'नी बनी — इस्राईल के आबाई ख़ानदानों के सरदार को येरूशलेम में इकट्ठा किया ताकि वह दाऊद के शहर से जो सिय्यून है ख़ुदावन्द के 'अहद का सन्दूक़ ले आएं।
3 venerunt igitur ad regem omnes viri Israhel in die sollemni mensis septimi
और इस्राईल के सब लोग सातवे महीने की 'ईद में बादशाह के पास जमा' हुए।
4 cumque venissent cuncti seniorum Israhel portaverunt Levitae arcam
इस्राईल के सब बुज़ुर्ग आए और लावी ने सन्दूक़ उठाया।
5 et intulerunt eam et omnem paraturam tabernaculi porro vasa sanctuarii quae erant in tabernaculo portaverunt sacerdotes cum Levitis
और वह सन्दूक़ को ख़ेमा — ए — इजितमा'अ को और सब पाक बर्तन को जो उस ख़ेमा में थे ले आए। इनको लावी काहिन लाए थे।
6 rex autem Salomon et universus coetus Israhel et omnes qui fuerant congregati ante arcam immolabant arietes et boves absque ullo numero tanta enim erat multitudo victimarum
और सुलेमान बादशाह और इस्राईल की सारी जमा'अत ने जो उसके पास इकट्ठी हुई थी सन्दूक़ के आगे खड़ा होकर भेड़ बकरियाँ और बैल ज़बह किए ऐसा कि कसरत की वजह से उनका शुमार — ओ — हिसाब नहीं हो सकता था।
7 et intulerunt sacerdotes arcam foederis Domini in locum suum id est ad oraculum templi in sancta sanctorum subter alas cherubin
और काहिनों ने ख़ुदावन्द के 'अहद के सन्दूक़ को उसकी जगह घरकी इल्हामगाह में जो पाकतरीन मकान है या'नी करुबियों के बाज़ुओं के नीचे लाकर रखा
8 ita ut cherubin expanderent alas suas super locum in quo posita erat arca et ipsam arcam tegerent cum vectibus eius
और करूबी अपने कुछ सन्दूक़ की जगह के ऊपर फैलाए हुए थे और यूँ करूबी सन्दूक़ और उसकी चोबों को ऊपर से ढांके हुए थे।
9 vectium autem quibus portabatur arca quia paululum longiores erant capita parebant ante oraculum si vero quis paululum fuisset extrinsecus eos videre non poterat fuit itaque arca ibi usque in praesentem diem
और चोबें ऐसी लम्बी थीं कि उनके सिरे सन्दुक़़ से निकले हुए इल्हामगाह के आगे दिखाई देते थे लेकिन बाहर से नज़र नहीं आते थे और वह आज के दिन तक वहीँ है।
10 nihilque erat aliud in arca nisi duae tabulae quas posuerat Moses in Horeb quando legem dedit Dominus filiis Israhel egredientibus ex Aegypto
और उस सन्दूक़ में कुछ न था 'अलावा पत्थर की उन दो लौहों के जिनको मूसा ने होरेब पर उस में रखा था जब ख़ुदावन्द ने बनी इस्राईल से जिस वक़्त वह मिस्र से निकले थे 'अहद बांधा।
11 egressis autem sacerdotibus de sanctuario omnes enim sacerdotes qui ibi potuerant inveniri sanctificati sunt nec adhuc illo tempore vices et ministeriorum ordo inter eos divisus erat
और ऐसा हुआ कि जब काहिन पाक मकान से निकले क्यूँकि सब काहिन जो हाज़िर थे अपने को पाक़ कर के आए थे और बारी बारी से ख़िदमत नही करते थे।
12 tam Levitae quam cantores id est et qui sub Asaph erant et qui sub Heman et qui sub Idithun filii et fratres eorum vestiti byssinis cymbalis et psalteriis et citharis concrepabant stantes ad orientalem plagam altaris cumque eis sacerdotes centum viginti canentes tubis
और लावी जो गाते थे वह सब के सब जैसे आसफ़ और हैमान और यदूतून और उनके बेटे और उनके भाई कतानी कपड़े से मुलव्वस होकर और झांझ और सितार और बरबत लिए हुए मजबह के पूरबी किनारे पर खड़े थे और उनके साथ एक सौ बीस काहिन थे जो नरसिंगे फूँक रहे थे।
13 igitur cunctis pariter et tubis et voce et cymbalis et organis et diversi generis musicorum concinentibus et vocem in sublime tollentibus longe sonitus audiebatur ita ut cum Dominum laudare coepissent et dicere confitemini Domino quoniam bonus quoniam in aeternum misericordia eius impleretur domus Domini nube
तो ऐसा हुआ कि जब नरसिंगे फूँकने वालें और गाने वाले मिल गए ताकि ख़ुदावन्द की हम्द और शुक्रगुज़ारी में उन सब की एक आवाज़ सुनाई दे और जब नरसिंगो और झाँझों और मूसीक़ी के सब साजों के साथ उन्होंने अपनी आवाज़ बलन्द कर के ख़ुदावन्द की ता'रीफ़ की कि वह अच्छा है क्यूँकि उसकी रहमत हमेशा हैं तो वह घर जो ख़ुदावन्द का घर है अब्र से भर गया।
14 nec possent sacerdotes stare et ministrare propter caliginem conpleverat enim gloria Domini domum Dei
यहाँ तक कि काहिन अब्र की वजह से ख़िदमत के लिए खड़े न रह सके इसलिए कि ख़ुदा का घर ख़ुदावन्द के जलाल से भर गया था।

< Ii Paralipomenon 5 >