< जकर्याह 13 >

1 “उसी दिन दाऊद के घराने और यरूशलेम के निवासियों के लिये पाप और मलिनता धोने के निमित्त एक बहता हुआ सोता फूटेगा।
“En aquel día se abrirá una fuente para la casa de David y para los habitantes de Jerusalén, para el pecado y la impureza.
2 “सेनाओं के यहोवा की यह वाणी है, कि उस समय मैं इस देश में से मूरतों के नाम मिटा डालूँगा, और वे फिर स्मरण में न रहेंगी; और मैं भविष्यद्वक्ताओं और अशुद्ध आत्मा को इस देश में से निकाल दूँगा।
Aquel día, dice el Señor de los Ejércitos, haré desaparecer de la tierra los nombres de los ídolos, y no se recordarán más. También haré que desaparezcan de la tierra los profetas y el espíritu de impureza.
3 और यदि कोई फिर भविष्यद्वाणी करे, तो उसके माता-पिता, जिनसे वह उत्पन्न हुआ, उससे कहेंगे, ‘तू जीवित न बचेगा, क्योंकि तूने यहोवा के नाम से झूठ कहा है;’ इसलिए जब वह भविष्यद्वाणी करे, तब उसके माता-पिता जिनसे वह उत्पन्न हुआ उसको बेध डालेंगे।
Sucederá que cuando alguno profetice todavía, su padre y su madre que lo parió le dirán: ‘Debes morir, porque hablas mentiras en nombre de Yahvé’; y su padre y su madre que lo parió lo apuñalarán cuando profetice.
4 उस समय हर एक भविष्यद्वक्ता भविष्यद्वाणी करते हुए अपने-अपने दर्शन से लज्जित होंगे, और धोखा देने के लिये कम्बल का वस्त्र न पहनेंगे,
Sucederá en ese día que los profetas se avergonzarán cada uno de su visión cuando profetice; no llevarán un manto velludo para engañar,
5 परन्तु वह कहेगा, ‘मैं भविष्यद्वक्ता नहीं, किसान हूँ; क्योंकि लड़कपन ही से मैं दूसरों का दास हूँ।’
sino que dirá: ‘Yo no soy profeta, soy un labrador de la tierra; porque he sido hecho siervo desde mi juventud.’
6 तब उससे यह पूछा जाएगा, ‘तेरी छाती पर ये घाव कैसे हुए,’ तब वह कहेगा, ‘ये वे ही हैं जो मेरे प्रेमियों के घर में मुझे लगे हैं।’”
Se le dirá: “¿Qué son estas heridas entre los brazos? Entonces responderá: ‘Aquellas con las que fui herido en casa de mis amigos.’
7 सेनाओं के यहोवा की यह वाणी है, “हे तलवार, मेरे ठहराए हुए चरवाहे के विरुद्ध अर्थात् जो पुरुष मेरा स्वजाति है, उसके विरुद्ध चल। तू उस चरवाहे को काट, तब भेड़-बकरियाँ तितर-बितर हो जाएँगी; और बच्चों पर मैं अपने हाथ बढ़ाऊँगा।
“Despierta, espada, contra mi pastor, y contra el hombre que está cerca de mí”, dice Yahvé de los Ejércitos. “Golpea al pastor y las ovejas se dispersarán; y volveré mi mano contra los pequeños.
8 यहोवा की यह भी वाणी है, कि इस देश के सारे निवासियों की दो तिहाई मार डाली जाएँगी और बची हुई तिहाई उसमें बनी रहेगी।
Sucederá que en toda la tierra — dice Yahvé —, “dos partes en él serán cortadas y morirán; pero el tercero quedará en él.
9 उस तिहाई को मैं आग में डालकर ऐसा निर्मल करूँगा, जैसा रूपा निर्मल किया जाता है, और ऐसा जाँचूँगा जैसा सोना जाँचा जाता है। वे मुझसे प्रार्थना किया करेंगे, और मैं उनकी सुनूँगा। मैं उनके विषय में कहूँगा, ‘ये मेरी प्रजा हैं,’ और वे मेरे विषय में कहेंगे, ‘यहोवा हमारा परमेश्वर है।’”
Llevaré la tercera parte al fuego, y los refinará como se refina la plata, y los probará como se prueba el oro. Invocarán mi nombre y yo los escucharé. Diré: “Es mi pueblo”. y dirán: “Yahvé es mi Dios””.

< जकर्याह 13 >