< हाग्गै 1 >
1 १ दारा राजा के राज्य के दूसरे वर्ष के छठवें महीने के पहले दिन, यहोवा का यह वचन, हाग्गै भविष्यद्वक्ता के द्वारा, शालतीएल के पुत्र जरुब्बाबेल के पास, जो यहूदा का अधिपति था, और यहोसादाक के पुत्र यहोशू महायाजक के पास पहुँचा
[I am], Haggai, a prophet. I received a message from Yahweh on August 29th, during the second year that Darius was the king [of Persia]. I told this message to Shealtiel’s son Zerubbabel, the governor of Judah, and to Jehozadak’s son Jeshua, the Supreme Priest.
2 २ “सेनाओं का यहोवा यह कहता है, ये लोग कहते हैं कि यहोवा का भवन बनाने का समय नहीं आया है।”
Yahweh, the Commander of the armies of heaven, told [me] that the people were saying that it was not yet time for them to rebuild Yahweh’s temple.
3 ३ फिर यहोवा का यह वचन हाग्गै भविष्यद्वक्ता के द्वारा पहुँचा,
Then Yahweh gave me this message [to tell to the people of Jerusalem]:
4 ४ “क्या तुम्हारे लिये अपने छतवाले घरों में रहने का समय है, जबकि यह भवन उजाड़ पड़ा है?
“It is not right [RHQ] for you to be living in luxurious houses while my temple is only ruins!
5 ५ इसलिए अब सेनाओं का यहोवा यह कहता है, अपने-अपने चाल-चलन पर ध्यान करो।
[I, ] Yahweh, the Commander of the armies of heaven, say this: Think about what is happening to you.
6 ६ तुम ने बहुत बोया परन्तु थोड़ा काटा; तुम खाते हो, परन्तु पेट नहीं भरता; तुम पीते हो, परन्तु प्यास नहीं बुझती; तुम कपड़े पहनते हो, परन्तु गरमाते नहीं; और जो मजदूरी कमाता है, वह अपनी मजदूरी की कमाई को छेदवाली थैली में रखता है।
You have planted a lot [of seeds], but you are not getting many [crops] to harvest. You eat [food], but you never get enough. You drink [wine], but you are still thirsty. You wear clothes, but you do not stay warm. You earn money, [but things are very expensive], with the result that [it is as though] [MET] [your money disappears because] you are putting it in purses/pockets that have [big] holes in them.”
7 ७ “सेनाओं का यहोवा तुम से यह कहता है, अपने-अपने चाल चलन पर सोचो।
[So] this is what Yahweh, the Commander of the armies of heaven, says: “Think about what is happening to you.
8 ८ पहाड़ पर चढ़ जाओ और लकड़ी ले आओ और इस भवन को बनाओ; और मैं उसको देखकर प्रसन्न होऊँगा, और मेरी महिमा होगी, यहोवा का यही वचन है।
[Then] go up into the hills, [cut down trees, ] and bring timber [down here], and rebuild my temple. When you do that, I will be pleased, and I will be honored.
9 ९ तुम ने बहुत उपज की आशा रखी, परन्तु देखो थोड़ी ही है; और जब तुम उसे घर ले आए, तब मैंने उसको उड़ा दिया। सेनाओं के यहोवा की यह वाणी है, ऐसा क्यों हुआ? क्या इसलिए नहीं, कि मेरा भवन उजाड़ पड़ा है और तुम में से प्रत्येक अपने-अपने घर को दौड़ा चला जाता है?
You expected [to harvest] plenty [of crops], but there were few [crops to harvest]. And when you brought the crops home, I caused them to spoil [IDM] quickly. The reason [that happened is that] my temple is a ruins, while each of you are busy building your own [beautiful] houses.
10 १० इस कारण आकाश से ओस गिरना और पृथ्वी से अन्न उपजना दोनों बन्द हैं।
It is because of what you [are doing] that rain does not fall from the sky, and [as a result] there are no crops.
11 ११ और मेरी आज्ञा से पृथ्वी और पहाड़ों पर, और अन्न और नये दाखमधु पर और ताजे तेल पर, और जो कुछ भूमि से उपजता है उस पर, और मनुष्यों और घरेलू पशुओं पर, और उनके परिश्रम की सारी कमाई पर भी अकाल पड़ा है।”
I have caused a (drought/severe lack of rain) on the hills and on your fields. The result has been that your grain [has withered], and your grapevines [MTY] and olive trees [MTY] and all your [other] crops have dried up. [Because of that, ] you and your cattle [do not have enough food], and the hard work that you have done will be for nothing.”
12 १२ तब शालतीएल के पुत्र जरुब्बाबेल और यहोसादाक के पुत्र यहोशू महायाजक ने सब बचे हुए लोगों समेत अपने परमेश्वर यहोवा की बात मानी; और जो वचन उनके परमेश्वर यहोवा ने उनसे कहने के लिये हाग्गै भविष्यद्वक्ता को भेज दिया था, उसे उन्होंने मान लिया; और लोगों ने यहोवा का भय माना।
Then Zerubbabel and Jeshua and all the others of God’s people who were still alive obeyed the message that Yahweh our God had said, and they heeded the message that I had given them, because [they knew that] Yahweh our God had sent/appointed me. And the people revered Yahweh.
13 १३ तब यहोवा के दूत हाग्गै ने यहोवा से आज्ञा पाकर उन लोगों से यह कहा, “यहोवा की यह वाणी है, मैं तुम्हारे संग हूँ।”
Then [I], Haggai, who was Yahweh’s messenger, gave this message from Yahweh to the people: “I, Yahweh, declare that I am with you.”
14 १४ और यहोवा ने शालतीएल के पुत्र जरुब्बाबेल को जो यहूदा का अधिपति था, और यहोसादाक के पुत्र यहोशू महायाजक को, और सब बचे हुए लोगों के मन को उभारकर उत्साह से भर दिया कि वे आकर अपने परमेश्वर, सेनाओं के यहोवा के भवन को बनाने में लग गए।
[So] Yahweh motivated Zerubbabel and Jeshua and the other people to want to rebuild the temple of our God, the Commander of the armies of angels. They gathered together and started to work to rebuild it.
15 १५ यह दारा राजा के राज्य के दूसरे वर्ष के छठवें महीने के चौबीसवें दिन हुआ।
[They started work] on September 21st, during the second year that Darius was the king.