< 2 इतिहास 8 >

1 सुलैमान को यहोवा के भवन और अपने भवन के बनाने में बीस वर्ष लगे।
সদাপ্রভুর মন্দির ও তাঁর নিজের বাড়ি তৈরী করতে শলোমনের কুড়ি বছর লাগল।
2 तब जो नगर हीराम ने सुलैमान को दिए थे, उन्हें सुलैमान ने दृढ़ करके उनमें इस्राएलियों को बसाया।
তারপর, হূরম শলোমনকে যে সব নগর দিয়েছিলেন, শলোমন সেগুলি পুনরায় তৈরী করে সেখানে ইস্রায়েল সন্তানদের বাস করতে দিলেন।
3 तब सुलैमान सोबा के हमात को जाकर, उस पर जयवन्त हुआ।
তারপর শলোমন হমাৎ-সোবাতে গিয়ে সেটা দখল করলেন।
4 उसने तदमोर को जो जंगल में है, और हमात के सब भण्डार-नगरों को दृढ़ किया।
তিনি মরুপ্রান্তে তদ্‌মোর নগর এবং তৈরী করলেন হমাতে সমস্ত ভান্ডার-নগর তৈরী করলেন।
5 फिर उसने ऊपरवाले और नीचेवाले दोनों बेथोरोन को शहरपनाह और फाटकों और बेंड़ों से दृढ़ किया।
তাই তিনি উপরের বৈৎ-হোরোণ ও নীচের বৈৎ-হোরোণ এই দুটি প্রাচীরে ঘেরা নগর প্রাচীর, দরজা ও অর্গলের মাধ্যমে শক্তিশালী করলেন।
6 उसने बालात को और सुलैमान के जितने भण्डार-नगर थे और उसके रथों और सवारों के जितने नगर थे उनको, और जो कुछ सुलैमान ने यरूशलेम, लबानोन और अपने राज्य के सब देश में बनाना चाहा, उन सब को बनाया।
আর বালৎ এবং শলোমনের সব ভান্ডার-নগর এবং তাঁর রথের ও ঘোড়াচালকদের নগরগুলি, আর যিরূশালেমে, লিবানোনে ও তাঁর অধিকার দেশের সব জায়গায় যা যা তৈরী করতে শলোমনের ইচ্ছা ছিল, তিনি সবই তৈরী করলেন।
7 हित्तियों, एमोरियों, परिज्जियों, हिब्बियों और यबूसियों के बचे हुए लोग जो इस्राएल के न थे,
হিত্তীয়, ইমোরীয়, পরিষীয়, হিব্বীয় ও যিবূষীয় যে সব লোক অবশিষ্ট ছিল, যারা ইস্রায়েলীয় নয়, যাদেরকে ইস্রায়েল সন্তানরা সম্পূর্ণ ভাবে ধ্বংস করে নি,
8 उनके वंश जो उनके बाद देश में रह गए, और जिनका इस्राएलियों ने अन्त न किया था, उनमें से तो बहुतों को सुलैमान ने बेगार में रखा और आज तक उनकी वही दशा है।
দেশে অবশিষ্ট সেই লোকদের সন্তানদের শলোমন নিজের দাস হিসাবে সংগ্রহ করলেন; তারা আজ পর্যন্ত সেই কাজ করছে।
9 परन्तु इस्राएलियों में से सुलैमान ने अपने काम के लिये किसी को दास न बनाया, वे तो योद्धा और उसके हाकिम, उसके सरदार और उसके रथों और सवारों के प्रधान हुए।
কিন্তু শলোমন তাঁর কাজ করবার জন্য ইস্রায়েল সন্তানদের মধ্যে কাউকে দাস বানান নি; তারা যোদ্ধা, তাঁর প্রধান সেনাপতি এবং তাঁর রথের ও ঘোড়াচালকদের সেনাপতি হল।
10 १० सुलैमान के सरदारों के प्रधान जो प्रजा के लोगों पर प्रभुता करनेवाले थे, वे ढाई सौ थे।
১০আর তাদের মধ্যে শলোমন রাজার নিযুক্ত দুশো পঞ্চাশ জন প্রধান শাসনকর্ত্তা প্রজাদের উপরে কর্তৃত্ব করত।
11 ११ फिर सुलैमान फ़िरौन की बेटी को दाऊदपुर में से उस भवन में ले आया जो उसने उसके लिये बनाया था, क्योंकि उसने कहा, “जिस-जिस स्थान में यहोवा का सन्दूक आया है, वह पवित्र है, इसलिए मेरी रानी इस्राएल के राजा दाऊद के भवन में न रहने पाएगी।”
১১পরে শলোমন ফরৌণের মেয়ের জন্য যে বাড়ি তৈরী করেছিলেন, সেই বাড়িতে দায়ূদ-নগর থেকে তাঁকে নিয়ে এলেন; কারণ তিনি বললেন, “আমার স্ত্রী ইস্রায়েলের রাজা দায়ূদের বাড়িতে থাকবেন না, কারণ যে সব জায়গায় সদাপ্রভুর সিন্দুক আনা হয়েছে সেই জায়গাগুলি পবিত্র।”
12 १२ तब सुलैमान ने यहोवा की उस वेदी पर जो उसने ओसारे के आगे बनाई थी, यहोवा को होमबलि चढ़ाई।
১২আর শলোমন বারান্দার সামনে সদাপ্রভুর যে যজ্ঞবেদি তৈরী করেছিলেন, তার উপরে সদাপ্রভুর উদ্দেশ্যে হোম করতে লাগলেন।
13 १३ वह मूसा की आज्ञा और प्रतिदिन के नियम के अनुसार, अर्थात् विश्राम और नये चाँद और प्रतिवर्ष तीन बार ठहराए हुए पर्वों अर्थात् अख़मीरी रोटी के पर्व, और सप्ताहों के पर्व, और झोपड़ियों के पर्व में बलि चढ़ाया करता था।
১৩তিনি মোশির আদেশ মতে বিশ্রামবারে, অমাবস্যায় ও বছরের মধ্যে নির্ধারিত তিনটি উত্সবে, অর্থাৎ তাড়ীশূন্য রুটির উত্সবে, সপ্তাহের উত্সবে ও কুঁঠীর উত্সবে প্রতিদিনের নিয়ম অনুসারে বলি উৎসর্গ করতেন।
14 १४ उसने अपने पिता दाऊद के नियम के अनुसार याजकों के सेवाकार्यों के लिये उनके दल ठहराए, और लेवियों को उनके कामों पर ठहराया, कि हर एक दिन के प्रयोजन के अनुसार वे यहोवा की स्तुति और याजकों के सामने सेवा-टहल किया करें, और एक-एक फाटक के पास द्वारपालों को दल-दल करके ठहरा दिया; क्योंकि परमेश्वर के भक्त दाऊद ने ऐसी आज्ञा दी थी।
১৪আর তিনি তাঁর বাবা দায়ূদের নির্ধারিত যাজকদের সেবা কাজের জন্য তাদের দিন সূচি নির্দিষ্ট করে দিলেন এবং প্রতিদিনের নিয়ম অনুসারে প্রশংসা ও যাজকদের সামনে পরিচর্য্যা করতে লেবীয়দেরকে নিজেদের কাজে নিযুক্ত করলেন। আর তিনি পালা অনুসারে প্রত্যেকটি দরজা দারোয়ানদের নিযুক্ত করলেন, কারণ ঈশ্বরের লোক দায়ূদ সেই রকম আদেশ দিয়েছিলেন।
15 १५ राजा ने भण्डारों या किसी और बात के सम्बंध में याजकों और लेवियों को जो-जो आज्ञा दी थी, उन्होंने उसे न टाला।
১৫আর রাজা যাজকদের ও লেবীয়দেরকে ভান্ডার প্রভৃতি যে কোনো বিষয়ে যে আদেশ দিতেন, তার অমান্য তারা করত না।
16 १६ सुलैमान का सब काम जो उसने यहोवा के भवन की नींव डालने से लेकर उसके पूरा करने तक किया वह ठीक हुआ। इस प्रकार यहोवा का भवन पूरा हुआ।
১৬সদাপ্রভুর গৃহের ভিত যে দিন গাঁথা হয়েছিল সেদিন থেকে শুরু করে তা শেষ করবার দিন পর্যন্ত শলোমনের সমস্ত কাজ নিয়ম করে চলল-সদাপ্রভুর গৃহের কাজ শেষ হল।
17 १७ तब सुलैमान एस्योनगेबेर और एलोत को गया, जो एदोम के देश में समुद्र के किनारे स्थित हैं।
১৭তারপর শলোমন ইদোম দেশের সমুদ্র পারের ইৎসিয়োন-গেবরে ও এলতে গেলেন।
18 १८ हीराम ने उसके पास अपने जहाजियों के द्वारा जहाज और समुद्र के जानकार मल्लाह भेज दिए, और उन्होंने सुलैमान के जहाजियों के संग ओपीर को जाकर वहाँ से साढ़े चार सौ किक्कार सोना राजा सुलैमान को ला दिया।
১৮আর হূরম তাঁর দাসেদের দিয়ে তাঁর কাছে কয়েকটি জাহাজ ও সামুদ্রিক কাজে দক্ষ দাসদেরকে পাঠালেন; তারা শলোমনের দাসেদের সঙ্গে ওফীরে গিয়ে সেখান থেকে চারশো পঞ্চাশ তালন্ত সোনা নিয়ে শলোমন রাজার কাছে আনলো।

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