< जकर्याह 5 >
1 मैंने फिर देखा, और मेरे सामने उड़ता हुआ एक चर्मपत्र था.
И обратихся и возведох очи мои и видех, и се, серп летящь.
2 उसने मुझसे पूछा, “तुम्हें क्या दिखाई दे रहा है?” मैंने उत्तर दिया, “मुझे उड़ता हुआ एक चर्मपत्र दिखाई दे रहा है, जो लगभग दस मीटर लंबा तथा पांच मीटर चौड़ा है.”
И рече ко мне: что ты видиши? И рех: аз вижду серп летящь, в долготу лактей двадесять и в широту десяти лактей.
3 तब उसने मुझसे कहा, “यह वह शाप है जो सारे देश पर लगेगा; क्योंकि इस पत्र के एक तरफ जो लिखा है, उसके अनुसार हर एक चोर को निकाल दिया जाएगा, और इस पत्र के दूसरी ओर जो लिखा है, उसके अनुसार हर वह व्यक्ति जो झूठी शपथ खाता है, वह भी निकाल दिया जाएगा.
И рече ко мне: сия клятва исходящая на лице всея земли: зане всяк тать от сего даже до смерти отмщен будет, и всяк кленыйся во лжу от сего до смерти отмстится.
4 सर्वशक्तिमान याहवेह घोषणा करते हैं, ‘मैं इस शाप को भेजूंगा, और यह हर चोर के घर में और मेरे नाम से झूठी शपथ खानेवाले हर व्यक्ति के घर में घुसेगा. यह उस घर में बना रहेगा और उसे उसके लकड़ी और पत्थर सहित पूरी तरह नष्ट कर देगा.’”
И изнесу его, глаголет Господь Вседержитель, и внидет в дом татя и в дом кленущагося именем Моим во лжу, и вселится посреде дому его, и скончает его и древа его и камение его.
5 तब वह स्वर्गदूत जो मुझसे बातें कर रहा था, सामने आकर मुझसे कहने लगा, “ऊपर देखो कि वहां प्रगट हो रहा है.”
И изыде Ангел глаголяй во мне и рече ко мне: воззри очима твоима и виждь исходящее сие. И рех:
6 मैंने पूछा, “यह क्या है?” उसने उत्तर दिया, “यह एक टोकरी है.” और उसने आगे कहा, “यह पूरे देश के लोगों का पाप है.”
что есть? И рече: сия мера исходящая. И рече: сия неправда их по всей земли.
7 तब सीसे के ढक्कन को हटाया गया, और वहां टोकरी में एक स्त्री बैठी हुई थी!
И се, талант оловян вземляйся, и се, жена едина седяше посреде меры.
8 तब स्वर्गदूत ने कहा, “यह दुष्टता है,” और उसने उस स्त्री को टोकरी में वापस धकेल दिया और सीसे के ढक्कन को टोकरी पर ढांक दिया.
И рече: сия есть беззаконие. И верже ю в средину меры и вверже камень оловяный во уста ея.
9 तब मैंने ऊपर देखा—और वहां मेरे सामने दो स्त्रियां थी, जो अपने पंखों से हवा में उड़ रही थी! उनके पंख एक सारस के समान थे, और उन्होंने उस टोकरी को आकाश और पृथ्वी के बीच में उठा लिया.
И возведох очи мои и видех, и се, две жены исходящыя, и дух в крилех их, и те имяху крила, яко криле вдодовы: и взяша меру между землею и между небом.
10 तब वह स्वर्गदूत जो मुझसे बातें कर रहा था, मैंने उससे पूछा, “वे उस टोकरी को कहां लिए जा रही हैं?”
И рех ко Ангелу глаголющему во мне: камо сия относят меру?
11 उसने उत्तर दिया, “बेबीलोनिया देश को, जहां वे इसके लिए एक घर बनाएंगी. जब घर बन जाएगा, तब टोकरी को वहां उसके जगह में रख दिया जाएगा.”
И рече ко мне: создати ей храмину в земли Вавилонстей и уготовати, и положат ю тамо на уготование свое.