< भजन संहिता 87 >
1 कोराह के पुत्रों की रचना. एक स्तोत्र. एक गीत. पवित्र पर्वत पर उन्होंने अपनी नींव डाली है;
Psaume et cantique des fils de Koré. Les fondements de Sion sont sur les montagnes saintes.
2 याकोब के समस्त आवासों की अपेक्षा, याहवेह को ज़ियोन के द्वार कहीं अधिक प्रिय हैं.
Le Seigneur aime ses portes plus que toutes les tentes de Jacob.
3 परमेश्वर के नगर, तुम्हारे विषय में यशस्वी बातें लिखी गई हैं,
On a dit de toi des choses glorieuses, ô cité de Dieu!
4 “अपने परिचितों के मध्य मैं राहाब और बाबेल का लेखा करूंगा, साथ ही फिलिस्तिया, सोर और कूश का भी, और फिर मैं कहूंगा, ‘यही है वह, जिसकी उत्पत्ति ज़ियोन में हुई है.’”
Je rappellerai Raab et Babylone à ceux qui me connaissent. Et voilà que les étrangers et Tyr, et le peuple des Éthiopiens s'y sont réunis.
5 ज़ियोन के विषय में यही घोषणा की जाएगी, “इसका भी जन्म ज़ियोन में हुआ और उसका भी, सर्वोच्च परमेश्वर ही ने ज़ियोन को बसाया है.”
Un homme dira: Ma mère est Sion; et cet homme y est né, et le Très-Haut lui-même en a été le fondateur.
6 याहवेह अपनी प्रजा की गणना करते समय लिखेगा: “इसका जन्म ज़ियोन में हुआ था.”
Le Seigneur racontera cela dans l'écrit des peuples et des princes qui sont nés dans Sion.
7 संगीत की संगत पर वे गाएंगे, “तुम्हीं में मेरे आनंद का समस्त उगम हैं.”
Pour tous, habiter en toi, c'est habiter dans la joie.