< भजन संहिता 140 >
1 संगीत निर्देशक के लिये. दावीद का एक स्तोत्र. याहवेह, दुष्ट पुरुषों से मुझे उद्धार प्रदान कीजिए; हिंसक पुरुषों से मेरी रक्षा कीजिए,
Deliver me, O LORD, from the evil man: preserve me from the violent man;
2 वे मन ही मन अनर्थ षड़्यंत्र रचते रहते हैं और सदैव युद्ध ही भड़काते रहते हैं.
Which imagine mischiefs in their heart; continually are they gathered together for war.
3 उन्होंने अपनी जीभ सर्प सी तीखी बना रखी है; उनके होंठों के नीचे नाग का विष भरा है.
They have sharpened their tongues like a serpent; adders’ poison is under their lips. (Selah)
4 याहवेह, दुष्टों से मेरी रक्षा कीजिए; मुझे उन हिंसक पुरुषों से सुरक्षा प्रदान कीजिए, जिन्होंने, मेरे पैरों को उखाड़ने के लिए युक्ति की है.
Keep me, O LORD, from the hands of the wicked; preserve me from the violent man; who have purposed to overthrow my goings.
5 उन अहंकारियों ने मेरे पैरों के लिए एक फंदा बनाकर छिपा दिया है; तथा रस्सियों का एक जाल भी बिछा दिया है, मार्ग के किनारे उन्होंने मेरे ही लिए फंदे लगा रखे हैं.
The proud have hid a snare for me, and cords; they have spread a net by the wayside; they have set gins for me. (Selah)
6 मैं याहवेह से कहता हूं, “आप ही मेरे परमेश्वर हैं.” याहवेह, कृपा करके मेरी पुकार पर ध्यान दीजिए.
I said to the LORD, You are my God: hear the voice of my supplications, O LORD.
7 याहवेह, मेरे प्रभु, आप ही मेरे उद्धार का बल हैं, युद्ध के समय आप ही मेरे सिर का आवरण बने.
O GOD the Lord, the strength of my salvation, you have covered my head in the day of battle.
8 दुष्टों की अभिलाषा पूर्ण न होने दें, याहवेह; उनकी बुरी युक्ति आगे बढ़ने न पाए अन्यथा वे गर्व में ऊंचे हो जाएंगे.
Grant not, O LORD, the desires of the wicked: further not his wicked device; lest they exalt themselves. (Selah)
9 जिन्होंने इस समय मुझे घेरा हुआ है; उनके होंठों द्वारा उत्पन्न कार्य उन्हीं के सिर पर आ पड़े.
As for the head of those that compass me about, let the mischief of their own lips cover them.
10 उनके ऊपर जलते हुए कोयलों की वृष्टि हो; वे आग में फेंक दिए जाएं, वे दलदल के गड्ढे में डाल दिए जाएं, कि वे उससे बाहर ही न निकल सकें.
Let burning coals fall on them: let them be cast into the fire; into deep pits, that they rise not up again.
11 निंदक इस भूमि पर अपने पैर ही न जमा सकें; हिंसक पुरुष अति शीघ्र बुराई द्वारा पकड़े जाएं.
Let not an evil speaker be established in the earth: evil shall hunt the violent man to overthrow him.
12 मैं जानता हूं कि याहवेह दुखित का पक्ष अवश्य लेंगे तथा दीन को न्याय भी दिलाएंगे.
I know that the LORD will maintain the cause of the afflicted, and the right of the poor.
13 निश्चयतः धर्मी आपके नाम का आभार मानेंगे, सीधे आपकी उपस्थिति में निवास करेंगे.
Surely the righteous shall give thanks to your name: the upright shall dwell in your presence.