< भजन संहिता 119 >
1 कैसे धन्य हैं वे, जिनका आचार-व्यवहार निर्दोष है, जिनका आचरण याहवेह की शिक्षाओं के अनुरूप है.
ধন্য তারা, যারা আচরণে নির্দোষ, যারা সদাপ্রভুর নিয়ম অনুযায়ী পথ চলে।
2 कैसे धन्य हैं वे, जो उनके अधिनियमों का पालन करते हैं तथा जो पूर्ण मन से उनके खोजी हैं.
ধন্য তারা, যারা তাঁর বিধিবিধান পালন করে এবং সমস্ত হৃদয় দিয়ে তাঁর অনুসন্ধান করে—
3 वे याहवेह के मार्गों में चलते हैं, और उनसे कोई अन्याय नहीं होता.
তারা অন্যায় করে না কিন্তু তাঁর নির্দেশিত পথে চলে।
4 आपने ये आदेश इसलिये दिए हैं, कि हम इनका पूरी तरह पालन करें.
তুমি তোমার অনুশাসন দিয়েছ, যেন আমরা সযত্নে তা পালন করি।
5 मेरी कामना है कि आपके आदेशों का पालन करने में मेरा आचरण दृढ़ रहे!
আমার আচরণ যেন সুসংগত হয় যেন তোমার নির্দেশমালা পালন করতে পারি।
6 मैं आपके आदेशों पर विचार करता रहूंगा, तब मुझे कभी लज्जित होना न पड़ेगा.
যখন আমি তোমার সব আদেশ বিবেচনা করব তখন আমাকে লজ্জিত হতে হবে না।
7 जब मैं आपकी धर्ममय व्यवस्था का मनन करूंगा, तब मैं निष्कपट हृदय से आपका स्तवन करूंगा.
যখন আমি তোমার ন্যায়সংগত শাসনবিধি শিক্ষা লাভ করব আমি সরল চিত্তে তোমার প্রশংসা করব।
8 मैं आपकी विधियों का पालन करूंगा; आप मेरा परित्याग कभी न कीजिए.
আমি তোমার আদেশ পালন করব; আমাকে তুমি পরিত্যাগ কোরো না।
9 युवा अपना आचरण कैसे स्वच्छ रखे? आपके वचन पालन के द्वारा.
যুবক কেমন করে জীবনে চলার পথ বিশুদ্ধ রাখবে? তোমার বাক্য অনুযায়ী জীবনযাপন করেই রাখবে।
10 मैं आपको संपूर्ण हृदय से खोजता हूं; आप मुझे अपने आदेशों से भटकने न दीजिए.
আমার সমস্ত হৃদয় দিয়ে আমি তোমার অন্বেষণ করি; আমাকে তোমার আদেশ লঙ্ঘন করে ভ্রান্তপথে যেতে দিয়ো না।
11 आपके वचन को मैंने अपने हृदय में इसलिये रख छोड़ा है, कि मैं आपके विरुद्ध पाप न कर बैठूं.
আমি তোমার বাক্য আমার হৃদয়ে লুকিয়ে রেখেছি যেন আমি তোমার বিরুদ্ধে পাপ না করি।
12 याहवेह, आपका स्तवन हो; मुझे अपनी विधियों की शिक्षा दीजिए.
হে সদাপ্রভু, তোমার ধন্যবাদ হোক; তোমার নির্দেশাবলি আমাকে শিক্ষা দাও।
13 जो व्यवस्था आपके मुख द्वारा निकली हैं, मैं उन्हें अपने मुख से दोहराता रहता हूं.
তোমার মুখের সমস্ত শাসন আমি ঠোঁট দিয়ে উচ্চারণ করব।
14 आपके अधिनियमों का पालन करना मेरा आनंद है, ठीक उसी प्रकार जिस प्रकार कोई विशाल धनराशि पर आनंदित होता है.
তোমার বিধিবিধান পালন করতে আমি আনন্দ করি যেমন কেউ অতুল ধনসম্পদে আনন্দ করে।
15 आपके नीति-सिद्धांत मेरे चिंतन का विषय हैं, मैं आपकी सम्विधियों की विवेचना करता रहता हूं.
আমি তোমার অনুশাসনে ধ্যান করি; এবং তোমার পথের বিবেচনা করি।
16 आपकी विधियां मुझे मगन कर देती हैं, आपके वचनों को मैं कभी न भूलूंगा.
আমি তোমার নির্দেশাবলিতে আমোদ করি; আমি তোমার বাক্য অবহেলা করব না।
17 अपने सेवक पर उपकार कीजिए कि मैं जीवित रह सकूं, मैं आपके वचन का पालन करूंगा.
তোমার দাসের মঙ্গল করো যেন আমি জীবিত থাকি, তাহলে আমি তোমার বাক্য পালন করব।
18 मुझे आपकी व्यवस्था की गहन और अद्भुत बातों को ग्रहण करने की दृष्टि प्रदान कीजिए.
আমার চোখ খুলে দাও যেন আমি তোমার নিয়মকানুনের আশ্চর্য বিষয়াদি দেখতে পাই।
19 पृथ्वी पर मैं प्रवासी मात्र हूं; मुझसे अपने निर्देश न छिपाइए.
এই পৃথিবীতে আমি এক প্রবাসী; তোমার অনুশাসন আমার কাছে গোপন রেখো না।
20 सारा समय आपकी व्यवस्था की अभिलाषा करते-करते मेरे प्राण डूब चले हैं.
সবসময় তোমার বিধানের জন্য, আমার প্রাণ আকাঙ্ক্ষায় আকুল হয়।
21 आपकी प्रताड़ना उन पर पड़ती है, जो अभिमानी हैं, शापित हैं, और जो आपके आदेशों का परित्याग कर भटकते रहते हैं.
যারা উদ্ধত, তারা অভিশপ্ত, তাদের তুমি তিরস্কার করো, তারা তোমার অনুশাসন লঙ্ঘন করে বিপথে যায়।
22 मुझ पर लगे घृणा और तिरस्कार के कलंक को मिटा दीजिए, क्योंकि मैं आपके अधिनियमों का पालन करता हूं.
অবজ্ঞা ও ঘৃণা আমার কাছ থেকে দূর করো, কারণ আমি তোমার বিধিবিধান পালন করি।
23 यद्यपि प्रशासक साथ बैठकर मेरी निंदा करते हैं, आपका यह सेवक आपकी विधियों पर मनन करेगा.
যদিও শাসকেরা একত্রে বসে আমার নিন্দা করে, তোমার দাস তোমার বিধিনির্দেশে ধ্যান করে।
24 आपके अधिनियमों में मगन है मेरा आनंद; वे ही मेरे सलाहकार हैं.
তোমার বিধিবিধান আমার আমোদের বিষয়; সেগুলি আমাকে সুমন্ত্রণা দেয়।
25 मेरा प्राण नीचे धूलि में जा पड़ा है; अपनी प्रतिज्ञा के अनुरूप मुझमें नवजीवन का संचार कीजिए.
আমার প্রাণ ধুলোয় লুটিয়ে আছে; তোমার বাক্য অনুযায়ী আমার জীবন বাঁচিয়ে রাখো।
26 जब मैंने आपके सामने अपने आचरण का वर्णन किया, आपने मुझे उत्तर दिया; याहवेह, अब मुझे अपनी विधियां सिखा दीजिए.
আমি তোমাকে আমার পরিকল্পনা বলেছি আর তুমি আমাকে উত্তর দিয়েছ; তোমার নির্দেশাবলি আমাকে শিক্ষা দাও।
27 मुझे अपने उपदेशों की प्रणाली की समझ प्रदान कीजिए, कि मैं आपके अद्भुत कार्यों पर मनन कर सकूं.
তোমার অনুশাসন আমাকে বুঝতে সাহায্য করো, যেন আমি তোমার আশ্চর্য কাজে ধ্যান করতে পারি।
28 शोक अतिरेक में मेरा प्राण डूबा जा रहा है; अपने वचन से मुझमें बल दीजिए.
আমার প্রাণ দুঃখে অবসন্ন; তোমার বাক্য অনুযায়ী আমাকে শক্তি দাও।
29 झूठे मार्ग से मुझे दूर रखिए; और अपनी कृपा में मुझे अपनी व्यवस्था की शिक्षा दीजिए.
প্রতারণার পথ থেকে আমাকে দূরে রাখো; আমার প্রতি দয়া করো এবং আমাকে তোমার নিয়মকানুন শেখাও।
30 मैंने सच्चाई के मार्ग को अपनाया है; मैंने आपके नियमों को अपना आदर्श बनाया है.
আমি বিশ্বস্ততার পথ বেছে নিয়েছি; আমার হৃদয় তোমার আইনকানুনে স্থির রেখেছি।
31 याहवेह, मैंने आपके नियमों को दृढतापूर्वक थाम रखा है; मुझे लज्जित न होने दीजिए.
হে সদাপ্রভু, আমি তোমার বিধিবিধান আঁকড়ে ধরেছি; আমাকে লজ্জিত হতে দিয়ো না।
32 आपने मेरे हृदय में साहस का संचार किया है, तब मैं अब आपके आदेशों के पथ पर दौड़ रहा हूं.
আমি তোমার আদেশের পথে ছুটে চলি, কারণ তুমি আমার বোধশক্তিকে প্রশস্ত করেছ।
33 याहवेह, मुझे आपकी विधियों का आचरण करने की शिक्षा दीजिए, कि मैं आजीवन उनका पालन करता रहूं.
হে সদাপ্রভু, তোমার বিধি নির্দেশিত পথে চলতে আমাকে শিক্ষা দাও, যেন আমি শেষদিন পর্যন্ত সেগুলি পালন করতে পারি।
34 मुझे वह समझ प्रदान कीजिए, कि मैं आपकी व्यवस्था का पालन कर सकूं और संपूर्ण हृदय से इसमें मगन आज्ञाओं का पालन कर सकूं.
আমাকে বোধশক্তি দাও, যেন আমি তোমার আইনকানুন পালন করতে পারি এবং সমস্ত হৃদয় দিয়ে বাধ্য হতে পারি।
35 अपने आदेशों के मार्ग में मेरा संचालन कीजिए, क्योंकि इन्हीं में मेरा आनंद है.
তোমার আদেশের পথে আমাকে পরিচালিত করো, কারণ সেখানে আমি আনন্দ খুঁজে পাই।
36 मेरे हृदय को स्वार्थी लाभ की ओर नहीं, परंतु अपने नियमों की ओर फेर दीजिए.
আমার হৃদয়কে তোমার বিধিবিধানের দিকে ফেরাও বরং স্বার্থপর লাভের দিকে নয়।
37 अपने वचन के द्वारा मुझमें नवजीवन का संचार कीजिए; मेरी रुचि निरर्थक वस्तुओं से हटा दीजिए.
মূল্যহীন বস্তু থেকে আমার দৃষ্টি ফেরাও, তোমার বাক্য অনুযায়ী আমার জীবন বাঁচিয়ে রাখো।
38 अपने सेवक से की गई प्रतिज्ञा पूर्ण कीजिए, कि आपके प्रति मेरी श्रद्धा स्थायी रहे.
তোমার দাসের প্রতি তোমার প্রতিশ্রুতি পূর্ণ করো, যেন তোমাকে সকলে সম্ভ্রম করে।
39 उस लज्जा को मुझसे दूर रखिए, जिसकी मुझे आशंका है, क्योंकि आपके नियम उत्तम हैं.
আমার লাঞ্ছনা দূর করো যা আমি ভয় করি, কারণ তোমার আইনকানুন উত্তম।
40 कैसी तीव्र है आपके उपदेशों के प्रति मेरी अभिलाषा! अपनी धार्मिकता के द्वारा मुझमें नवजीवन का संचार कीजिए.
তোমার অনুশাসন পালনে আমি কত আগ্রহী! তোমার ধার্মিকতায় আমার জীবন বাঁচিয়ে রাখো।
41 याहवेह, आपका करुणा-प्रेम मुझ पर प्रगट हो जाए, और आपकी प्रतिज्ञा के अनुरूप मुझे आपका उद्धार प्राप्त हो;
হে সদাপ্রভু, তোমার প্রতিশ্রুতি অনুযায়ী তোমার অবিচল প্রেম, আর তোমার পরিত্রাণ আমার উপর আসুক,
42 कि मैं उसे उत्तर दे सकूं, जो मेरा अपमान करता है, आपके वचन पर मेरा भरोसा है.
তখন তাদের আমি সদুত্তর দিতে পারব যারা আমাকে ব্যঙ্গ করে, কারণ আমি তোমার বাক্যে আস্থা রাখি।
43 सत्य के वचन मेरे मुख से न छीनिए, मैं आपकी व्यवस्था पर आशा रखता हूं.
তোমার সত্যের বাক্য আমার মুখ থেকে কখনও নিয়ে নিয়ো না, কারণ তোমার অনুশাসনে আমি আশা রেখেছি।
44 मैं सदा-सर्वदा निरंतर, आपकी व्यवस्था का पालन करता रहूंगा.
আমি চিরকাল তোমার বিধান পালন করব, যুগে যুগে চিরকাল করব।
45 मेरा जीवन स्वतंत्र हो जाएगा, क्योंकि मैं आपके उपदेशों का खोजी हूं.
জীবনে আমি স্বাধীনভাবে চলব, কারণ আমি তোমার অনুশাসন অন্বেষণ করেছি।
46 राजाओं के सामने मैं आपके अधिनियमों पर व्याख्यान दूंगा और मुझे लज्जित नहीं होना पड़ेगा.
রাজাদের সামনে আমি তোমার সাক্ষ্যকলাপের কথা বলব এবং আমি লজ্জিত হব না।
47 क्योंकि आपका आदेश मेरे आनंद का उगम हैं, और वे मुझे प्रिय हैं.
আমি তোমার আদেশে আমোদ করি কারণ আমি সে সকল ভালোবাসি।
48 मैं आपके आदेशों की ओर हाथ बढ़ाऊंगा, जो मुझे प्रिय हैं, और आपकी विधियां मेरे मनन का विषय हैं.
আমি তোমার নির্দেশাবলি সম্মান করি ও ভালোবাসি, আমি তোমার বিধিনিয়মে ধ্যান করি।
49 याहवेह, अपने सेवक से की गई प्रतिज्ञा को स्मरण कीजिए, क्योंकि आपने मुझमें आशा का संचार किया है.
তোমার দাসের প্রতি তোমার প্রতিশ্রুতি স্মরণ করো, কারণ তুমি আমাকে আশা দিয়েছ।
50 मेरी पीड़ा में मुझे इस बातों से सांत्वना प्राप्त होती है: आपकी प्रतिज्ञाएं मेरे नवजीवन का स्रोत हैं.
কষ্টে আমার সান্ত্বনা এই যে, তোমার প্রতিশ্রুতিই আমার জীবন বাঁচিয়ে রাখে।
51 अहंकारी बेधड़क मेरा उपहास करते हैं, किंतु मैं आपकी व्यवस्था से दूर नहीं होता.
দাম্ভিকেরা নির্মমভাবে আমাকে বিদ্রুপ করে, কিন্তু আমি তোমার বিধিবিধান থেকে মুখ ফিরাই না।
52 याहवेह, जब प्राचीन काल से प्रगट आपकी व्यवस्था पर मैं विचार करता हूं, तब मुझे उनमें सांत्वना प्राप्त होती है.
হে সদাপ্রভু, আমি তোমার প্রাচীন শাসনব্যবস্থা স্মরণ করি, এবং তাতেই আমি সান্ত্বনা পাই।
53 दुष्ट मुझमें कोप उकसाते हैं, ये वे हैं, जिन्होंने आपकी व्यवस्था त्याग दी है.
আমি দুষ্টদের প্রতি প্রচণ্ড ক্ষিপ্ত হই, কারণ তারা তোমার বিধিবিধান পরিত্যাগ করেছে।
54 आपकी विधियां मेरे गीत की विषय-वस्तु हैं चाहे मैं किसी भी स्थिति में रहूं.
আমি যেখানেই বসবাস করি না কেন, তোমার নির্দেশাবলিই আমার গানের বিষয়বস্তু।
55 याहवेह, मैं आपकी व्यवस्था का पालन करता हूं, रात्रि में मैं आपका स्मरण करता हूं.
হে সদাপ্রভু, রাতের বেলায় আমি তোমার নাম স্মরণ করি, যেন আমি তোমার বিধিবিধান পালন করতে পারি।
56 आपके उपदेशों का पालन करते जाना ही मेरी चर्या है.
এই আমার অভ্যাস যে, আমি তোমার অনুশাসন পালন করি।
57 याहवेह, आप मेरे जीवन का अंश बन गए हैं; आपके आदेशों के पालन के लिए मैंने शपथ की है.
হে সদাপ্রভু, তুমি আমার অধিকার, আমি তোমার আজ্ঞা পালন করার প্রতিশ্রুতি দিয়েছি।
58 सारे मन से मैंने आपसे आग्रह किया है; अपनी ही प्रतिज्ञा के अनुरूप मुझ पर कृपा कीजिए.
আমি সমস্ত হৃদয় দিয়ে তোমার মুখের অন্বেষণ করেছি; তোমার প্রতিশ্রুতি অনুযায়ী আমাকে কৃপা করো।
59 मैंने अपनी जीवनशैली का विचार किया है और मैंने आपके अधिनियमों के पालन की दिशा में अपने कदम बढ़ा दिए हैं.
আমি আমার চলার পথ বিবেচনা করে দেখেছি, এবং তোমারই বিধিবিধানের পথে আমার পা রেখেছি।
60 अब मैं विलंब न करूंगा और शीघ्रता से आपके आदेशों को मानना प्रारंभ कर दूंगा.
আমি দ্রুত তোমার আদেশ পালন করব, দেরি করব না।
61 मैं आपकी व्यवस्था से दूर न होऊंगा, यद्यपि दुर्जनों ने मुझे रस्सियों से बांध भी रखा हो.
যদিও দুষ্টরা আমাকে দড়ি দিয়ে বেঁধে রাখে, আমি তোমার শাসনব্যবস্থা ভুলে যাব না।
62 आपकी युक्ति संगत व्यवस्था के प्रति आभार अभिव्यक्त करने के लिए, मैं मध्य रात्रि को ही जाग जाता हूं.
তোমার ন্যায়সংগত শাসনবিধির জন্য আমি মাঝরাতে তোমাকে ধন্যবাদ দিতে জেগে উঠি।
63 मेरी मैत्री उन सभी से है, जिनमें आपके प्रति श्रद्धा है, उन सभी से, जो आपके उपदेशों पर चलते हैं.
আমি তাদের সকলের বন্ধু যারা তোমাকে সম্ভ্রম করে, আর যারা তোমার অনুশাসন পালন করে।
64 याहवेह, पृथ्वी आपके करुणा-प्रेम से तृप्त है; मुझे अपनी विधियों की शिक्षा दीजिए.
হে সদাপ্রভু, এই পৃথিবী তোমার প্রেমে পূর্ণ, তোমার নির্দেশাবলি আমাকে শিক্ষা দাও।
65 याहवेह, अपनी ही प्रतिज्ञा के अनुरूप अपने सेवक का कल्याण कीजिए.
হে সদাপ্রভু, তোমার বাক্য অনুসারে তোমার দাসের প্রতি মঙ্গল করো।
66 मुझे ज्ञान और धर्ममय परख सीखाइए, क्योंकि मैं आपकी आज्ञाओं पर भरोसा करता हूं.
আমাকে জ্ঞান ও বিচারবুদ্ধি দাও, কারণ আমি তোমার আদেশে আস্থা রাখি।
67 अपनी पीड़ाओं में रहने के पूर्व मैं भटक गया था, किंतु अब मैं आपके वचन के प्रति आज्ञाकारी हूं.
পীড়িত হবার আগে আমি বিপথে গিয়েছিলাম, কিন্তু এখন আমি তোমার আদেশ পালন করি।
68 आप धन्य हैं, और जो कुछ आप करते हैं भला ही होता है; मुझे अपनी विधियों की शिक्षा दीजिए.
তুমি মঙ্গলময় এবং তুমি যা করো তাও মঙ্গলময়, তোমার নির্দেশাবলি আমাকে শিক্ষা দাও।
69 यद्यपि अहंकारियों ने मुझे झूठी बातों से कलंकित कर दिया है, मैं पूर्ण सच्चाई में आपके आदेशों को थामे हुए हूं.
যদিও দাম্ভিকরা মিথ্যায় আমাকে কলঙ্কিত করেছে, আমি তোমার বিধিসকল সমস্ত হৃদয় দিয়ে পালন করি।
70 उनके हृदय कठोर तथा संवेदनहीन हो चुके हैं, किंतु आपकी व्यवस्था ही मेरा आनंद है.
তাদের হৃদয় কঠোর ও অনুভূতিহীন, কিন্তু আমি তোমার আইনগুলিতে আমোদ করি।
71 यह मेरे लिए भला ही रहा कि मैं प्रताड़ित किया गया, इससे मैं आपकी विधियों से सीख सकूं.
পীড়িত হওয়া আমার জন্য মঙ্গলজনক হয়েছে যেন আমি তোমার আদেশগুলি শিখতে পারি।
72 आपके मुख से निकली व्यवस्था मेरे लिए स्वर्ण और चांदी की हजारों मुद्राओं से कहीं अधिक मूल्यवान हैं.
তোমার মুখের বিধিবিধান হাজার হাজার রুপো ও সোনার চেয়ে আমার কাছে বেশি মূল্যবান।
73 आपके हाथों ने मेरा निर्माण किया और मुझे आकार दिया; मुझे अपने आदेशों को समझने की सद्बुद्धि प्रदान कीजिए.
তোমার হাত আমাকে সৃষ্টি করেছে ও গঠন করেছে; তোমার আদেশ বুঝতে আমাকে বোধশক্তি দাও।
74 मुझे देख आपके भक्त उल्लसित हो सकें, क्योंकि आपका वचन ही मेरी आशा है.
যারা তোমাকে সম্ভ্রম করে তারা যেন আমাকে দেখলে আনন্দিত হয়, কারণ তোমার বাক্যে আমি আশা রেখেছি।
75 याहवेह, यह मैं जानता हूं कि आपकी व्यवस्था धर्ममय है, और आपके द्वारा मेरा क्लेश न्याय संगत था.
হে সদাপ্রভু, আমি জানি যে তোমার বিধিনিয়ম ন্যায়সংগত, আর তুমি বিশ্বস্ততায় আমাকে পীড়িত করেছ।
76 अब अपने सेवक से की गई प्रतिज्ञा के अनुरूप, आपका करुणा-प्रेम ही मेरी शांति है!
তোমার অবিচল প্রেম যেন আমার সান্ত্বনা হয়, যেমন তুমি তোমার দাসের কাছে প্রতিশ্রুতি দিয়েছ।
77 आपकी व्यवस्था में मेरा आनन्दमग्न है, तब मुझे आपकी मनोहरता में जीवन प्राप्त हो.
তোমার অসীম করুণা আমাকে ঘিরে রাখুক যেন আমি বাঁচতে পারি, কারণ তোমার নিয়মবিধান আমার আনন্দের বিষয়।
78 अहंकारियों को लज्जित होना पड़े क्योंकि उन्होंने अकारण ही मुझसे छल किया है; किंतु मैं आपके उपदेशों पर मनन करता रहूंगा.
দাম্ভিকরা লজ্জিত হোক কেননা তারা অকারণে আমার সর্বনাশ করেছে; কিন্তু আমি তোমার অনুশাসনে ধ্যান করব।
79 आपके श्रद्धालु, जिन्होंने आपके अधिनियमों को समझ लिया है, पुनः मेरे पक्ष में हो जाएं,
যারা তোমাকে সম্ভ্রম করে এবং যারা তোমার বিধিবিধান বোঝে, তাদের সঙ্গে আমি মিলিত হই।
80 मेरा हृदय पूर्ण सिद्धता में आपकी विधियों का पालन करता रहे, कि मुझे लज्जित न होना पड़े.
আমার সমস্ত হৃদয় দিয়ে যেন তোমার আদেশ পালন করতে পারি, যেন আমাকে লজ্জিত না হতে হয়।
81 आपके उद्धार की तीव्र अभिलाषा करते हुए मेरा प्राण बेचैन हुआ जा रहा है, अब आपका वचन ही मेरी आशा का आधार है.
তোমার পরিত্রাণের প্রতীক্ষায় আমার প্রাণ দুর্বল হয়, কিন্তু আমি তোমার বাক্যে আশা রেখেছি।
82 आपकी प्रतिज्ञा-पूर्ति की प्रतीक्षा में मेरी आंखें थक चुकी हैं; मैं पूछ रहा हूं, “कब मुझे आपकी ओर से सांत्वना प्राप्त होगी?”
তোমার প্রতিশ্রুতি পূরণের আশায় আমার দৃষ্টি ক্ষীণ হয়, আমি বলি, “কখন তুমি আমায় সান্ত্বনা দেবে?”
83 यद्यपि मैं धुएं में संकुचित द्राक्षारस की कुप्पी के समान हो गया हूं, फिर भी आपकी विधियां मेरे मन से लुप्त नहीं हुई हैं.
যদিও আমি ধোঁয়ার মধ্যে রাখা সংকুচিত সুরাধারের মতো, কিন্তু আমি তোমার নির্দেশাবলি ভুলে যাইনি।
84 और कितनी प्रतीक्षा करनी होगी आपके सेवक को? आप कब मेरे सतानेवालों को दंड देंगे?
কত কাল তোমার দাস প্রতীক্ষায় থাকবে? কবে তুমি আমার নির্যাতনকারীদের উপযুক্ত শাস্তি দেবে?
85 अहंकारियों ने मेरे लिए गड्ढे खोद रखे हैं, उनका आचरण आपकी व्यवस्था के विपरीत है.
দাম্ভিকেরা গর্ত খুঁড়ে আমাকে ফাঁদে ফেলতে চায়, তারা তোমার নিয়মের বিরুদ্ধাচরণ করে।
86 विश्वासयोग्य हैं आपके आदेश; मेरी सहायता कीजिए, झूठ बोलनेवाले मुझे दुःखित कर रहे हैं.
তোমার সব আদেশ নির্ভরযোগ্য; আমাকে সাহায্য করো, কারণ লোকে অকারণে আমাকে নির্যাতন করে।
87 उन्होंने मुझे धरती पर से लगभग मिटा ही डाला था, फिर भी मैं आपके नीति सूत्रों से दूर न हुआ.
তারা আমাকে প্রায় পৃথিবী থেকে মুছে দিয়েছে, কিন্তু আমি তোমার অনুশাসন ত্যাগ করিনি।
88 मैं आपके मुख से बोले हुए नियमों का पालन करता रहूंगा, अपने करुणा-प्रेम के अनुरूप मेरे जीवन की रक्षा कीजिए.
তোমার অবিচল প্রেমে আমার জীবন বাঁচিয়ে রাখো, যেন আমি তোমার মুখের বিধিবিধান পালন করতে পারি।
89 याहवेह, सर्वदा है आपका वचन; यह स्वर्ग में दृढतापूर्वक बसा है.
হে সদাপ্রভু, তোমার বাক্য চিরন্তন; আকাশমণ্ডলে তা প্রতিষ্ঠিত।
90 पीढ़ी से पीढ़ी आपकी सच्चाई बनी रहती है; आपके द्वारा ही पृथ्वी की स्थापना की गई और यह स्थायी बनी हुई है.
তোমার বিশ্বস্ততা বংশপরম্পরায় স্থায়ী; তুমি এই পৃথিবী স্থাপন করেছ এবং তা স্থির রয়েছে।
91 आप के नियम सभी आज तक अस्तित्व में हैं, और सभी कुछ आपकी सेवा कर रहे हैं.
তোমার আইনব্যবস্থা আজও অটল রয়েছে, কারণ সবকিছুই তোমার সেবা করে।
92 यदि आपकी व्यवस्था में मैं उल्लास मगन न होता, तो इन पीड़ाओं को सहते सहते मेरी मृत्यु हो जाती.
যদি তোমার বিধিবিধান আমার আনন্দের বিষয় না হত, আমি হয়তো নিজের দুঃখে বিনষ্ট হতাম।
93 आपके उपदेश मेरे मन से कभी नष्ट न होंगे, क्योंकि इन्हीं के द्वारा आपने मुझे जीवन प्रदान किया है,
আমি কখনও তোমার অনুশাসন ভুলে যাব না, কারণ তা দিয়েই তুমি আমার জীবন বাঁচিয়ে রেখেছ।
94 तब मुझ पर आपका ही स्वामित्व है, मेरी रक्षा कीजिए; मैं आपके ही उपदेशों का खोजी हूं.
আমাকে রক্ষা করো, কারণ আমি তোমারই; আমি তোমার বিধিগুলির অন্বেষণ করেছি।
95 दुष्ट मुझे नष्ट करने के उद्देश्य से घात लगाए बैठे हैं, किंतु आपकी चेतावनियों पर मैं विचार करता रहूंगा.
দুষ্ট আমাকে ধ্বংস করার অপেক্ষায় আছে, কিন্তু আমি তোমার অনুশাসনে মনঃসংযোগ করব।
96 हर एक सिद्धता में मैंने कोई न कोई सीमा ही पाई है, किंतु आपके आदेश असीमित हैं.
প্রত্যেক সিদ্ধতার এক সীমা আছে, কিন্তু তোমার আজ্ঞাগুলি সীমাহীন।
97 आह, कितनी अधिक प्रिय है मुझे आपकी व्यवस्था! इतना, कि मैं दिन भर इसी पर विचार करता रहता हूं.
আহা, আমি তোমার বিধিবিধান কতই না ভালোবাসি! তা আমার সারাদিনের ধ্যানের বিষয়।
98 आपके आदेशों ने तो मुझे अपने शत्रुओं से अधिक बुद्धिमान बना दिया है क्योंकि ये कभी मुझसे दूर नहीं होते.
তোমার নির্দেশাবলি আমাকে আমার শত্রুদের থেকে বুদ্ধিমান করে কারণ সেসব সবসময় আমার সঙ্গে আছে।
99 मुझमें तो अपने सभी शिक्षकों से अधिक समझ है, क्योंकि आपके उपदेश मेरे चिंतन का विषय हैं.
আমি তোমার আইনগুলিতে ধ্যান করি, তাই আমার শিক্ষকদের চেয়ে আমার অন্তর্দৃষ্টি বেশি।
100 आपके उपदेशों का पालन करने का ही परिणाम यह है, कि मुझमें बुजुर्गों से अधिक समझ है.
প্রবীণদের চেয়ে আমার বোধশক্তি বেশি, কারণ আমি তোমার বিধিগুলি পালন করি।
101 आपकी आज्ञा का पालन करने के लक्ष्य से, मैंने अपने कदम हर एक अधर्म के पथ पर चलने से बचा रखे हैं.
প্রত্যেকটি কুপথ থেকে আমার পা আমি দূরে রেখেছি যেন আমি তোমার বাক্য পালন করতে পারি।
102 आप ही के द्वारा दी गई शिक्षा के कारण, मैं आपके नियम तोड़ने से बच सका हूं.
আমি তোমার নিয়মব্যবস্থা থেকে বিপথে যাইনি, কারণ তুমি স্বয়ং আমাকে শিক্ষা দিয়েছ।
103 कैसा मधुर है आपकी प्रतिज्ञाओं का आस्वादन करना, आपकी प्रतिज्ञाएं मेरे मुख में मधु से भी अधिक मीठी हैं!
তোমার বাক্য আমার মুখে আস্বাদন করা কত মিষ্টি, আমার মুখে তা মধুর চেয়েও বেশি মধুর!
104 हर एक झूठा मार्ग मेरी दृष्टि में घृणास्पद है; क्योंकि आपके उपदेशों से मुझे समझदारी प्राप्त होती है.
আমি তোমার বিধিগুলি থেকে বোধশক্তি লাভ করি, তাই আমি সব অন্যায় পথ ঘৃণা করি।
105 आपका वचन मेरे पांवों के लिए दीपक, और मेरे मार्ग के लिए प्रकाश है.
তোমার বাক্য আমার চরণের প্রদীপ, এবং আমার চলার পথের আলো।
106 मैंने यह शपथ ली है और यह सुनिश्चित किया है, कि मैं आपके धर्ममय नियमों का ही पालन करता जाऊंगा.
আমি শপথ করেছি ও স্থির করেছি, যে আমি তোমার ন্যায়সংগত শাসনবিধি পালন করব।
107 याहवेह, मेरी पीड़ा असह्य है; अपनी प्रतिज्ञा के अनुरूप मुझमें नवजीवन का संचार कीजिए.
হে সদাপ্রভু, আমি অনেক কষ্ট পেয়েছি; তোমার বাক্য অনুযায়ী আমার জীবন বাঁচিয়ে রাখো।
108 याहवेह, मेरे मुख से निकले स्वैच्छिक स्तवन वचनों को स्वीकार कीजिए, और मुझे अपने नियमों की शिक्षा दीजिए.
হে সদাপ্রভু, আমার মুখের প্রশংসার অর্ঘ্য গ্রহণ করো, এবং আমাকে তোমার বিধিনিয়ম শিক্ষা দাও।
109 आपकी व्यवस्था से मैं कभी दूर न होऊंगा, यद्यपि मैं लगातार अपने जीवन को हथेली पर लिए फिरता हूं.
যদিও আমি আমার প্রাণ প্রতিনিয়ত আমার হাতে নিয়ে চলি, আমি তোমার বিধিবিধান ভুলে যাব না।
110 दुष्टों ने मेरे लिए जाल बिछाया हुआ है, किंतु मैं आपके उपदेशों से नहीं भटका.
দুষ্টরা আমার জন্য ফাঁদ পেতেছে, কিন্তু আমি তোমার অনুশাসন থেকে বিপথে যাইনি।
111 आपके नियमों को मैंने सदा-सर्वदा के लिए निज भाग में प्राप्त कर लिया है; वे ही मेरे हृदय का आनंद हैं.
তোমার আইনগুলি আমার চিরকালের উত্তরাধিকার, সেগুলি আমার হৃদয়ের আনন্দ।
112 आपकी विधियों का अंत तक पालन करने के लिए मेरा हृदय तैयार है.
তোমার বিধিনির্দেশ শেষ পর্যন্ত পালন করার উদ্দেশে আমার হৃদয় দৃঢ়সংকল্প।
113 दुविधा से ग्रस्त मन का पुरुष मेरे लिए घृणास्पद है, मुझे प्रिय है आपकी व्यवस्था.
দ্বিমনা চরিত্রের লোকেদের আমি ঘৃণা করি, কিন্তু আমি তোমার নিয়মব্যবস্থা ভালোবাসি।
114 आप मेरे आश्रय हैं, मेरी ढाल हैं; मेरी आशा का आधार है आपका वचन.
তুমি আমার আশ্রয় ও আমার ঢাল; তোমার বাক্য আমার আশার উৎস।
115 अधर्मियो, दूर रहो मुझसे, कि मैं परमेश्वर के आदेशों का पालन कर सकूं!
হে অনিষ্টকারীদের দল, আমার কাছ থেকে দূর হও, যেন আমি আমার ঈশ্বরের আদেশ পালন করতে পারি।
116 याहवेह, अपनी प्रतिज्ञा के अनुरूप मुझे सम्भालिए, कि मैं जीवित रहूं; मेरी आशा भंग न होने पाए.
হে ঈশ্বর, তোমার প্রতিশ্রুতি অনুযায়ী আমাকে সামলে রাখো এবং তাতে আমি বাঁচব; আমার প্রত্যাশা বিফল হতে দিয়ো না।
117 मुझे थाम लीजिए कि मैं सुरक्षित रहूं; मैं सदैव आपकी विधियों पर भरोसा करता रहूंगा.
আমাকে তুলে ধরো, তাহলে আমি রক্ষা পাব; আমি চিরকাল তোমার আদেশগুলির উপর ভরসা করব।
118 वे सभी, जो आपके नियमों से भटक जाते हैं, आपकी उपेक्षा के पात्र हो जाते हैं, क्योंकि निरर्थक होती है उनकी चालाकी.
যারা তোমার আদেশ অগ্রাহ্য করে বিপথে যায় তাদের সবাইকে তুমি ত্যাগ করো, কারণ তারা কেবল নিজেদেরই ঠকায়।
119 संसार के सभी दुष्टों को आप मैल के समान फेंक देते हैं; यही कारण है कि मुझे आपकी चेतावनियां प्रिय हैं.
পৃথিবীর সব দুষ্টকে তুমি আবর্জনার মতো পরিত্যাগ করো; তাই তোমার বিধিবিধান আমার কাছে এত প্রিয়।
120 आपके भय से मेरी देह कांप जाती है; आपके निर्णयों का विचार मुझमें भय का संचार कर देता है.
তোমার প্রতি সম্ভ্রমে আমার শরীর কাঁপে, তোমার বিধিনিয়মে আমি ভীত।
121 मैंने वही किया है, जो न्याय संगत तथा धर्ममय है; मुझे सतानेवालों के सामने न छोड़ दीजिएगा.
যা কিছু সঠিক ও ন্যায়সংগত সে সব আমি পালন করেছি, আমাকে আমার অত্যাচারীদের হাতে সমর্পণ কোরো না।
122 अपने सेवक का हित निश्चित कर दीजिए; अहंकारियों को मुझ पर अत्याचार न करने दीजिए.
তোমার দাসের মঙ্গলের ভার তুমি নাও; দাম্ভিকেরা যেন আমার উপর নির্যাতন না করে।
123 आपके उद्धार की प्रतीक्षा में, आपकी निष्ठ प्रतिज्ञाओं की प्रतीक्षा में मेरी आंखें थक चुकी हैं.
তোমার পরিত্রাণের অপেক্ষায়, তোমার ন্যায়সংগত প্রতিশ্রুতির প্রতীক্ষায়, আমার চোখ দুর্বল হয়েছে।
124 अपने करुणा-प्रेम के अनुरूप अपने सेवक से व्यवहार कीजिए और मुझे अपने अधिनियमों की शिक्षा दीजिए.
তোমার প্রেম অনুযায়ী তোমার দাসের প্রতি ব্যবহার করো, আর তোমার নির্দেশাবলি আমাকে শিক্ষা দাও।
125 मैं आपका सेवक हूं, मुझे समझ प्रदान कीजिए, कि मैं आपकी विधियों को समझ सकूं.
আমি তোমার দাস; আমাকে বিচক্ষণতা দাও যেন আমি তোমার বিধিবিধান বুঝতে পারি।
126 याहवेह, आपके नियम तोड़े जा रहे हैं; समय आ गया है कि आप अपना कार्य करें.
হে সদাপ্রভু, এবার তোমার সক্রিয় হওয়ার সময় এসেছে; কারণ তোমার আইনব্যবস্থা লঙ্ঘন করা হচ্ছে।
127 इसलिये कि मुझे आपके आदेश स्वर्ण से अधिक प्रिय हैं, शुद्ध कुन्दन से अधिक,
সোনার চেয়ে, বিশুদ্ধ সোনার চেয়েও আমি তোমার আজ্ঞাগুলি বেশি ভালোবাসি।
128 मैं आपके उपदेशों को धर्ममय मानता हूं, तब मुझे हर एक गलत मार्ग से घृणा है.
তোমার সব অনুশাসনবিধি আমি ন্যায্য মনে করি তাই আমি সমস্ত অন্যায় পথ ঘৃণা করি।
129 अद्भुत हैं आपके अधिनियम; इसलिये मैं उनका पालन करता हूं.
তোমার বিধিবিধান কত আশ্চর্য; তাই আমি সেগুলি মান্য করি।
130 आपके वचन के खुलने से ज्योति उत्पन्न होती है; परिणामस्वरूप भोले पुरुषों को सबुद्धि प्राप्त होती है.
তোমার বাক্যের শিক্ষা আলো দেয়; যারা সরলচিত্ত তাদের বোধশক্তি দেয়।
131 मेरा मुख खुला है और मैं हांफ रहा हूं, क्योंकि मुझे प्यास है आपके आदेशों की.
আমি প্রত্যাশায় শ্বাস ফেলি, তোমার আদেশের অপেক্ষায়।
132 मेरी ओर ध्यान दीजिए और मुझ पर कृपा कीजिए, जैसी आपकी नीति उनके प्रति है, जिन्हें आपसे प्रेम है.
যারা তোমার নাম ভালোবাসে তাদের প্রতি তুমি সর্বদা যেমন করো, তেমনই আমার প্রতি ফিরে চাও ও আমাকে দয়া করো।
133 अपनी प्रतिज्ञा के अनुरूप मेरे पांव को स्थिर कर दीजिए; कोई भी दुष्टता मुझ पर प्रभुता न करने पाए.
তোমার বাক্য অনুযায়ী আমার পদক্ষেপ পরিচালিত করো; পাপ যেন আমার উপর কর্তৃত্ব না করে।
134 मुझे मनुष्यों के अत्याचार से छुड़ा लीजिए, कि मैं आपके उपदेशों का पालन कर सकूं.
লোকেদের নির্যাতন থেকে আমাকে মুক্ত করো, যেন আমি তোমার অনুশাসন মেনে চলতে পারি।
135 अपने सेवक पर अपना मुख प्रकाशित कीजिए और मुझे अपने नियमों की शिक्षा दीजिए.
তোমার দাসের প্রতি তোমার মুখ উজ্জ্বল করো, এবং তোমার নির্দেশাবলি আমাকে শিক্ষা দাও।
136 मेरी आंखों से अश्रुप्रवाह हो रहा है, क्योंकि लोग आपकी व्यवस्था का पालन नहीं कर रहे.
আমার চোখ থেকে অশ্রুপ্রবাহ হচ্ছে, কারণ লোকেরা তোমার আইনব্যবস্থা পালন করছে না।
137 याहवेह, आप धर्मी हैं, सच्चे हैं आपके नियम.
হে সদাপ্রভু, তুমি ন্যায়পরায়ণ, আর তোমার আইনব্যবস্থা ন্যায্য।
138 जो अधिनियम आपने प्रगट किए हैं, वे धर्ममय हैं; वे हर एक दृष्टिकोण से विश्वासयोग्य हैं.
যেসব বিধিবিধান তুমি দিয়েছ তা ধর্মময়, এবং সেগুলি সম্পূর্ণ নির্ভরযোগ্য।
139 मैं भस्म हो रहा हूं, क्योंकि मेरे शत्रु आपके वचनों को भूल गए हैं.
আমার উদ্যম আমাকে ক্লান্ত করেছে, কারণ আমার বিপক্ষরা তোমার বাক্য অবহেলা করে।
140 आपकी प्रतिज्ञाओं का उचित परीक्षण किया जा चुका है, वे आपके सेवक को अत्यंत प्रिय हैं.
তোমার প্রতিশ্রুতি সম্পূর্ণভাবে পরীক্ষাসিদ্ধ হয়েছে, আর তোমার দাস সেগুলি ভালোবাসে।
141 यद्यपि मैं छोटा, यहां तक कि लोगों की दृष्टि में घृणास्पद हूं, फिर भी मैं आपके अधिनियमों को नहीं भूलता.
যদিও আমি ক্ষুদ্র ও অবজ্ঞাত, আমি তোমার অনুশাসন ভুলে যাইনি।
142 अनंत है आपकी धार्मिकता, परमेश्वर तथा यथार्थ है आपकी व्यवस्था.
তোমার ন্যায়পরায়ণতা চিরস্থায়ী আর তোমার আইনব্যবস্থা সত্য।
143 क्लेश और संकट मुझ पर टूट पड़े हैं, किंतु आपके आदेश मुझे मगन रखे हुए हैं.
সংকট ও দুর্দশা আমার উপরে উপস্থিত, কিন্তু তোমার আজ্ঞাগুলি আমাকে আনন্দ দেয়।
144 आपके अधिनियम सदा-सर्वदा धर्ममय ही प्रमाणित हुए हैं; मुझे इनके विषय में ऐसी समझ प्रदान कीजिए कि मैं जीवित रह सकूं.
তোমার বিধিবিধান চিরকালীন সত্য; আমাকে বোধশক্তি দাও যেন বাঁচতে পারি।
145 याहवेह, मैं संपूर्ण हृदय से आपको पुकार रहा हूं, मुझे उत्तर दीजिए, कि मैं आपकी विधियों का पालन कर सकूं.
হে সদাপ্রভু, আমি সমস্ত অন্তর দিয়ে তোমাকে ডাকি, আমাকে উত্তর দাও, এবং আমি তোমার আজ্ঞাগুলি পালন করব।
146 मैं आपको पुकार रहा हूं; मेरी रक्षा कीजिए, कि मैं आपके अधिनियमों का पालन कर सकूं.
আমি তোমাকে ডেকেছি, আমাকে রক্ষা করো আর আমি তোমার বিধিবিধান পালন করব।
147 मैं सूर्योदय से पूर्व ही जाग कर सहायता के लिये पुकारता हूं; मेरी आशा आपके वचन पर आधारित है.
আমি ভোর হওয়ার আগে উঠি আর সাহায্যের জন্য প্রার্থনা করি; তোমার বাক্যে আমি আশা রেখেছি।
148 रात्रि के समस्त प्रहरों में मेरी आंखें खुली रहती हैं, कि मैं आपकी प्रतिज्ञाओं पर मनन कर सकूं.
সারারাত আমি চোখ খুলে জেগে থাকি, যেন তোমার প্রতিশ্রুতিতে আমি ধ্যান করতে পারি।
149 अपने करुणा-प्रेम के कारण मेरी पुकार सुनिए; याहवेह, अपने ही नियमों के अनुरूप मुझमें नवजीवन का संचार कीजिए.
তোমার প্রেম অনুযায়ী আমার কণ্ঠস্বর শোনো; হে সদাপ্রভু, তোমার আইনব্যবস্থা অনুযায়ী আমার জীবন বাঁচিয়ে রাখো।
150 जो मेरे विरुद्ध बुराई की युक्ति रच रहे हैं, मेरे निकट आ गए हैं, किंतु वे आपकी व्यवस्था से दूर हैं.
যারা মন্দ সংকল্প করে তারা আমাকে আক্রমণ করার জন্য কাছে এসেছে, কিন্তু তারা তোমার আইনব্যবস্থা থেকে অনেক দূরে আছে।
151 फिर भी, याहवेह, आप मेरे निकट हैं, और आपके सभी आदेश प्रामाणिक हैं.
তবুও হে সদাপ্রভু, তুমি কাছেই আছ, আর তোমার আজ্ঞাগুলি সত্য।
152 अनेक-अनेक वर्ष पूर्व मैंने आपके अधिनियमों से यह अनुभव कर लिया था कि आपने इनकी स्थापना ही इसलिये की है कि ये सदा-सर्वदा स्थायी बने रहें.
অনেক বছর আগে আমি তোমার বিধিবিধান থেকে শিখেছি যে তুমি এগুলি চিরকালের জন্য স্থাপন করেছ।
153 मेरे दुःख पर ध्यान दीजिए और मुझे इससे बचा लीजिए, क्योंकि आपकी व्यवस्था को मैं भुला नहीं.
আমার দুঃখকষ্টের দিকে চেয়ে দেখো ও আমাকে উদ্ধার করো, কারণ আমি তোমার শাসনব্যবস্থা ভুলে যাইনি।
154 मेरे पक्ष का समर्थन करके मेरा उद्धार कीजिए; अपनी प्रतिज्ञा के अनुरूप मुझमें नवजीवन का संचार कीजिए.
আমার পক্ষসমর্থন করে আমাকে মুক্ত করো, তোমার প্রতিশ্রুতি অনুযায়ী আমার প্রাণরক্ষা করো।
155 कठिन है दुष्टों का उद्धार होना, क्योंकि उन्हें आपकी विधियों की महानता ही ज्ञात नहीं.
দুষ্টরা তোমার পরিত্রাণ থেকে অনেক দূরে, কারণ তারা তোমার বিধিবিধান অন্বেষণ করে না।
156 याहवेह, अनुपम है आपकी मनोहरता; अपने ही नियमों के अनुरूप मुझमें नवजीवन का संचार कीजिए.
হে সদাপ্রভু, তোমার করুণা মহান, তোমার আইনব্যবস্থা অনুযায়ী আমাকে বাঁচিয়ে রাখো।
157 मेरे सतानेवाले तथा शत्रु अनेक हैं, किंतु मैं आपके अधिनियमों से दूर नहीं हुआ हूं.
অনেক আমার বিপক্ষ যারা আমাকে নির্যাতন করে, কিন্তু আমি তোমার বিধিবিধান থেকে বিপথে যাইনি।
158 विश्वासघाती आपके आदेशों का पालन नहीं करते, तब मेरी दृष्टि में वे घृणास्पद हैं.
যারা বিশ্বাসঘাতক আমি তাদের ঘৃণার চোখে দেখি, কারণ তারা তোমার আদেশ পালন করে না।
159 आप ही देख लीजिए: कितने प्रिय हैं मुझे आपके नीति-सिद्धांत; याहवेह, अपने करुणा-प्रेम के अनुरूप मुझमें नवजीवन का संचार कीजिए.
দেখো, আমি তোমার অনুশাসন কত ভালোবাসি, তোমার অবিচল প্রেমের গুণে, হে সদাপ্রভু, আমার জীবন বাঁচিয়ে রাখো।
160 वस्तुतः सत्य आपके वचन का सार है; तथा आपके धर्ममय नियम सदा-सर्वदा स्थायी रहते हैं.
তোমার সব বাক্য সত্য; তোমার সব ন্যায়সংগত শাসনবিধি চিরস্থায়ী।
161 प्रधान मुझे बिना किसी कारण के दुःखित कर रहे हैं, किंतु आपके वचन का ध्यान कर मेरा हृदय कांप उठता है.
শাসকবর্গ অকারণে আমাকে নির্যাতন করে, কিন্তু আমার হৃদয় তোমার বাক্যে কম্পিত হয়।
162 आपकी प्रतिज्ञाओं से मुझे ऐसा उल्लास प्राप्त होता है; जैसा किसी को बड़ी लूट प्राप्त हुई है.
আমি তোমার প্রতিশ্রুতিতে আনন্দ করি যেমন লোকেরা লুট করা সম্পদে করে।
163 झूठ से मुझे घृणा है, बैर है किंतु मुझे प्रेम है आपकी व्यवस्था से.
অসত্যকে আমি ঘৃণা ও অবজ্ঞা করি, কিন্তু আমি তোমার আইনব্যবস্থাকে ভালোবাসি।
164 आपकी धर्ममय व्यवस्था का ध्यान कर मैं दिन में सात-सात बार आपका स्तवन करता हूं.
তোমার ন্যায়সংগত শাসনবিধির জন্য আমি দিনে সাতবার তোমার প্রশংসা করি।
165 जिन्हें आपकी व्यवस्था से प्रेम है, उनको बड़ी शांति मिलती रहती है, वे किसी रीति से विचलित नहीं हो सकते.
যারা তোমার এই আইনব্যবস্থা ভালোবাসে তাদের অন্তরে পরম শান্তি থাকে, আর কোনও কিছুতে তারা হোঁচট খায় না।
166 याहवेह, मैं आपके उद्धार का प्रत्याशी हूं, मैं आपके आदेशों का पालन करता हूं.
হে সদাপ্রভু, আমি তোমার পরিত্রাণের প্রতীক্ষায় আছি, আর আমি তোমার আদেশগুলি পালন করি।
167 मैं आपके अधिनियमों का पालन करता हूं, क्योंकि वे मुझे अत्यंत प्रिय हैं.
আমি তোমার বিধিবিধান মান্য করি, কারণ আমি সেসব অত্যন্ত ভালোবাসি।
168 मैं आपके उपदेशों तथा नियमों का पालन करता हूं, आपके सामने मेरा संपूर्ण आचरण प्रगट है.
আমি তোমার অনুশাসন ও তোমার বিধিবিধান পালন করি, কারণ আমার চলার সকল পথ তোমার জানা।
169 याहवेह, मेरी पुकार आप तक पहुंचे; मुझे अपने वचन को समझने की क्षमता प्रदान कीजिए.
হে সদাপ্রভু, আমার কাতর প্রার্থনা শোনো; তোমার বাক্য অনুযায়ী আমাকে বোধশক্তি দাও।
170 मेरा गिड़गिड़ाना आप तक पहुंचे; अपनी प्रतिज्ञा पूर्ण करते हुए मुझे छुड़ा लीजिए.
আমার নিবেদন শোনো; তোমার প্রতিশ্রুতি অনুযায়ী আমাকে উদ্ধার করো।
171 मेरे होंठों से आपका स्तवन छलक उठे, क्योंकि आपने मुझे अपनी विधियों की शिक्षा दी है.
আমার ঠোঁট দুটি যেন প্রশংসায় উপচে পড়ে; কারণ তুমি আমাকে তোমার নির্দেশাবলি শিক্ষা দাও।
172 मेरी जीभ आपके वचन का गान करेगी, क्योंकि आपके सभी आदेश आदर्श हैं.
আমার জিভ যেন তোমার বাক্যের গান গাইতে থাকে, কারণ তোমার সমস্ত আদেশ ন্যায়সংগত।
173 आपकी भुजा मेरी सहायता के लिए तत्पर रहे, मैंने आपके उपदेशों को अपनाया है.
তোমার হাত আমাকে সাহায্য করার জন্য যেন প্রস্তুত থাকে, কারণ আমি তোমার বিধিগুলি বেছে নিয়েছি।
174 आपसे उद्धार की प्राप्ति की मुझे उत्कंठा है, याहवेह, आपकी व्यवस्था में मेरा आनंद है.
হে সদাপ্রভু, আমি তোমার পরিত্রাণের প্রতীক্ষায় আছি, আর তোমার আইনব্যবস্থা আমাকে আনন্দ দেয়।
175 मुझे आयुष्मान कीजिए कि मैं आपका स्तवन करता रहूं, और आपकी व्यवस्था मुझे संभाले रहे.
আমাকে বাঁচতে দাও যেন আমি তোমার প্রশংসা করতে পারি, এবং তোমার আইনব্যবস্থা যেন আমাকে বাঁচিয়ে রাখে।
176 मैं खोई हुई भेड़ के समान हो गया था. आप ही अपने सेवक को खोज लीजिए, क्योंकि मैं आपके आदेशों को भूला नहीं.
আমি হারিয়ে যাওয়া মেষের মতো বিপথে গিয়েছি। তোমার দাসের অন্বেষণ করো, কারণ আমি তোমার আদেশগুলি ভুলে যাইনি।