< न्यायियों 9 >
1 यरूबाल का पुत्र अबीमेलेक अपने मामाओं से भेंटकरने शेकेम गया. वहां उसने अपने नाना के सारे घराने को इकट्ठा कर उनसे कहा,
Jerubba'als Søn Abimelek begav sig til sine Morbrødre i Sikem og talte til dem og til hele sin Moders Fædrenehus's Slægt og sagde:
2 “शेकेम के सारे अगुओं के सामने आप मुझे बताइए, ‘क्या बेहतर है, यरूबाल के सत्तर पुत्र आप पर शासन करें या सिर्फ एक व्यक्ति?’ आप लोग यह न भूलें कि मैं आपकी ही हड्डी और आपका ही मांस हूं.”
»Sig til alle Sikems Borgere: Hvad baader eder vel bedst, at halvfjerdsindstyve Mænd, alle Jerubba'als Sønner, eller at en enkelt Mand hersker over eder? Kom i Hu, at jeg er eders Kød og Blod!«
3 उसकी माता के भाइयों ने उसकी यह बात शेकेम के अगुओं के सामने दोहरा दी. वे अबीमेलेक का अनुसरण करने के लिए तैयार हो गए. उनका विचार था, “वह हमारा ही संबंधी है.”
Hans Morbrødre talte da alle disse Ord til alle Sikems Borgere til Gunst til ham; og deres Hu vendte sig til Abimelek, idet de sagde: »Han er vor Broder.«
4 उन्होंने उसे बाल-बेरिथ के मंदिर में से चांदी के सत्तर सिक्के दे दीं, जिनसे अबीमेलेक ने नीच और लुच्चे लोगों को अपने पीछे होने के उद्देश्य से भाड़े पर ले लिया.
De gav ham derpaa halvfjerdsindstyve Sekel Sølv fra Ba'al-Berits Hus, og for dem lejede Abimelek nogle daarlige og frække Folk, som sluttede sig til ham.
5 फिर वह ओफ़राह में अपने पिता के घर पर गया और वहां अपने भाइयों को—यरूबाल के सत्तर पुत्रों को—एक ही चट्टान पर ले जाकर मार दिया, किंतु यरूबाल का छोटा पुत्र योथाम बचा रह गया, क्योंकि वह छिप गया था.
Derpaa drog han til sin Faders Hus i Ofra og slog sine Brødre, Jerubba'als halvfjerdsindstyve Sønner, ihjel paa een Sten. Kun Jotam, Jerubba'als yngste Søn, blev tilbage, thi han havde skjult sig.
6 सभी शेकेमवासी एवं सभी बेथ-मिल्लोवासी इकट्ठे हो गए तथा उन्होंने शेकेम में खंभे के बांज वृक्ष के पास अबीमेलेक का राजाभिषेक कर दिया.
Derefter samledes alle Sikems Borgere og hele Millos Hus og gik hen og gjorde Abimelek til Konge ved Egen med Stenstøtten i Sikem.
7 जब योथाम को इसकी सूचना दी गई, वह गेरिज़िम पर्वत शिखर पर जा खड़ा हुआ. वहां से उसने ऊंची आवाज में कहा, “सुनो, शेकेम के शासको, कि परमेश्वर भी तुम्हारी सुनें.
Da Jotam fik Efterretning herom, gik han hen og stillede sig paa Toppen af Garizims Bjerg og raabte med høj Røst til dem: »Hør mig, Sikems Borgere, saa skal Gud høre eder!
8 वृक्षों ने अपने लिए राजा चुनने की योजना बनाई. उन्होंने जैतून वृक्ष से कहा, ‘हम पर शासन करो!’
Engang tog Træerne sig for at salve sig en Konge. De sagde da til Olietræet: Vær du vor Konge!
9 “जैतून वृक्ष ने उत्तर में कहा, ‘क्या मैं अपना वह अमूल्य तेल बनाना रोक दूं; जिसके द्वारा देवता तथा मनुष्य सम्मानित किए जाते हैं; और अन्य वृक्षों के ऊपर जाकर लहराता रहूं?’
Men Olietræet svarede dem: Skulde jeg give Afkald paa min Fedme, for hvilken Guder og Mennesker priser mig, for at give mig til at svæve over Træerne?
10 “वृक्षों ने अंजीर वृक्ष से विनती की, ‘आइए, हम पर शासन कीजिए!’
Saa sagde Træerne til Figentræet: Kom du og vær vor Konge!
11 “मगर अंजीर वृक्ष ने उन्हें उत्तर दिया, ‘क्या मैं अपनी मिठास और अच्छे फल उगाना छोड़ दूं और अन्य पेड़ों के ऊपर जाकर लहराता रहूं?’
Men Figentræet svarede dem: Skulde jeg give Afkald paa min Sødme og min liflige Frugt for at give mig til at svæve over Træerne?
12 “तब वृक्षों ने अंगूर की बेल से विनती की, ‘आइए, हम पर शासन कीजिए!’
Saa sagde Træerne til Vinstokken: Kom du og vær vor Konge!
13 “किंतु अंगूर की बेल ने उत्तर में कहा, ‘क्या मैं अपना दाखमधु बनाना छोड़ दूं, जो देवताओं और मनुष्यों को आनंदित कर देती है और अन्य पेड़ों के ऊपर जाकर लहराती रहूं?’
Men Vinstokken svarede dem: Skulde jeg give Afkald paa min Most, som glæder Guder og Mennesker, for at give mig til at svæve over Træerne?
14 “अंत में सभी वृक्षों ने झड़बेरी से कहा, ‘आइए, हम पर शासन कीजिए!’
Da sagde alle Træerne til Tornebusken: Kom du og vær vor Konge!
15 “झड़बेरी ने वृक्षों से उत्तर में कहा, ‘यदि आप लोग सच में मेरा राजाभिषेक करना चाह रहे हैं, तो आकर मेरी छाया में आसरा ले लीजिए; और अगर नहीं, तो झड़बेरी से आग निकलें और लबानोन के देवदार के पेड़ भस्म हो जाएं.’
Og Tornebusken svarede Træerne: Hvis I mener det ærligt med at salve mig til eders Konge, kom saa og søg ind under min Skygge; men hvis ikke, saa vil Flammer slaa op af Tornebusken og fortære Libanons Cedre!
16 “क्या, आप लोगों ने सच्चे मन से अबीमेलेक को राजा बनाया है, तथा ऐसा करने के द्वारा आप लोगों ने यरूबाल एवं उसके परिवार का भला किया है? क्या आपने वही किया है जिसके लिए वह योग्य था?
Hvis I nu er gaaet ærligt og redeligt til Værks, da I gjorde Abimelek til Konge, og hvis I har handlet vel mod Jerubba'al og hans Hus og gengældt ham, hvad han gjorde —
17 तुम्हारी भलाई के लिए मेरे पिता ने युद्ध किया, अपने प्राण खतरे में डाले तथा आप लोगों को मिदियानियों की अधीनता से छुड़ाया;
min Fader kæmpede jo for eder og vovede sit Liv for at frelse eder af Midjaniternes Haand,
18 किंतु आज आप लोगों ने मेरे पिता के परिवार के विरुद्ध विद्रोह कर दिया है, आपने उस एक ही चट्टान पर उनके सत्तर पुत्रों का वध कर दिया और आपने उनकी सेविका के पुत्र अबीमेलेक को शेकेम पर राजा बना दिया है, केवल इसलिये कि वह आपका संबंधी है!
men I har i Dag rejst eder mod min Faders Hus, dræbt hans Sønner, halvfjerdsindstyve Mænd, paa een Sten og sat hans Trælkvindes Søn Abimelek til Konge over Sikems Borgere, fordi han er eders Broder —
19 यदि आप लोगों ने आज यरूबाल तथा उनके परिवार के साथ निष्कपट भाव से, सच्चाई में व्यवहार किया है, तो अबीमेलेक में ही आपका आनंद हो तथा वह भी आप में ही प्रसन्न रहे.
ja, hvis I i Dag er gaaet ærligt og redeligt til Værks mod Jerubba'al og hans Hus, saa gid I maa faa Glæde af Abimelek, og gid han maa faa Glæde af eder;
20 किंतु यदि नहीं, तो अबीमेलेक द्वारा आग भेजी जाए और शेकेम तथा बेथ-मिल्लो के लोग इसमें भस्म हो जाएं, और शेकेम तथा बेथ-मिल्लो के अगुओं की ओर से आग निकलकर अबीमेलेक को भस्म कर दे.”
men hvis ikke, saa slaa Flammer op fra Abimelek og fortære Sikems Borgere og Millos Hus, og Flammer slaa op fra Sikems Borgere og Millos Hus og fortære Abimelek!«
21 यह कहकर योथाम वहां से भाग निकला. वहां से वह बएर जा पहुंचा और अपने भाई अबीमेलेक के डर से वहीं रहने लगा.
Derpaa tog Jotam Flugten og flygtede til Be'er; og der tog han Ophold for at være i Sikkerhed for sin Broder Abimelek.
22 अबीमेलेक इस्राएल पर तीन साल तक शासन करता रहा.
Da Abimelek havde haft Magten over Israel i tre Aar,
23 तब परमेश्वर ने अबीमेलेक तथा शेकेमवासियों के बीच एक बुरी आत्मा भेज दी. परिणामस्वरूप शेकेमवासियों ने अबीमेलेक से विश्वासघात किया,
sendte Gud en ond Aand mellem Abimelek og Sikems Borgere, og Sikems Borgere faldt fra Abimelek,
24 इसलिये कि यरूबाल के सत्तर पुत्रों से की गई हिंसा का बदला लिया जा सके, और उनके खून का दोष उनके भाई अबीमेलेक पर लगाया जा सके, जिसने उनकी हत्या की थी तथा शेकेम के व्यक्तियों पर भी, जिन्होंने उसे अपने भाइयों की हत्या के लिए उकसाया था.
for at Voldsgerningen mod Jerubba'als halvfjerdsindstyve Sønner kunde blive hævnet og deres Blod komme over deres Broder Abimelek, som havde dræbt dem, og over Sikems Borgere, som havde sat ham i Stand til at dræbe sine Brødre.
25 उसके लिए शेकेम के लोगों ने पहाड़ों की चोटियों पर अपने लोगों को घात में लगा दिए, जो वहां से निकलते हुए यात्रियों को लूट करते थे. इसकी सूचना अबीमेलेक को दे दी गई.
Sikems Borgere lagde da Baghold paa Bjergtoppene, og de udplyndrede alle vejfarende, der kom forbi dem. Dette meldtes Abimelek.
26 एबेद का पुत्र गाअल अपने संबंधियों के साथ शेकेम गया. वह शेकेमवासियों का विश्वासपात्र बन गया.
Nu kom Ga'al, Ebeds Søn, med sine Brødre og flyttede ind i Sikem; og Sikems Borgere fattede Tillid til ham.
27 उन्होंने अपने अंगूर के बगीचों में जाकर अंगूर इकट्ठे किए, अंगूर रौन्दे और अपने देवता के मंदिर में उत्सव मनाया. वहां उन्होंने भोजन किया, पेय पान किया और फिर अबीमेलेक को शाप भी दिया.
De begav sig ud i Marken, plukkede Druer og pressede dem og fejrede deres Vinhøstfest. Og de gik ind i deres Guds Hus, hvor de spiste og drak og udstødte Forbandelser over Abimelek.
28 तब एबेद के पुत्र गाअल ने कहा, “कौन होता है अबीमेलेक, और कौन होता है शेकेम, कि हम इनकी सेवा करें? क्या वह यरूबाल का पुत्र नहीं, क्या ज़बुल उसका सहायक नहीं? हां, शेकेम के पिता हामोर के साथियों की सेवा अवश्य करो, किंतु हम भला अबीमेलेक की सेवा क्यों करें?
Da sagde Ga'al, Ebeds Søn: »Hvem er Abimelek, og hvad er Sikem, at vi skal være hans Trælle! Var ikke Jerubba'als Søn og hans Foged Zebul Trælle for Hamors, Sikems Faders, Mænd hvorfor skal vi da være hans Trælle?
29 अच्छा होता कि ये लोग मेरे अधिकार में होते! तब मैं अबीमेलेक को ही हटा देता. तब उसने अबीमेलेक से कहा, ‘अपनी सेना को बढ़ाकर मुझसे युद्ध के लिए आ जाओ.’”
Havde jeg blot Magten over Folket her, skulde jeg nok skaffe Abimelek af Vejen!«
30 जब नगर अध्यक्ष ज़बुल ने एबेद के पुत्र गाअल का यह बातें सुनी वह क्रोध से भड़क गया.
Da Zebul, Byens Høvedsmand, hørte Ga'als, Ebeds Søns, Ord, blussede hans Vrede op,
31 उसने तोरमाह नगर को अबीमेलेक के पास अपने दूत भेजे. संदेश यह था: “देखिए, एबेद का पुत्र गाअल तथा उसके संबंधी शेकेम आ गए हैं. यहां वे नगर को आपके विरुद्ध उकसा रहे हैं.
og han sendte Bud til Abimelek i Aruma og lod sige: »Se, Ga'al, Ebeds Søn, og hans Brødre er kommet til Sikem, og se, de ophidser Byen imod dig; forstærk derfor din Hær og ryk ud!
32 इस कारण अब आप अपनी सेना को लेकर रात में मैदान में घात लगा दीजिए.
Og nu, bryd op ved Nattetide med dine Folk og læg dig i Baghold paa Marken;
33 सूरज उगते ही आप नगर पर टूट पड़िए. जब गाअल अपनी सेना के साथ आप पर हमला करेगा, आप उसके साथ वही कीजिए, जो आपको सही लगे.”
og kast dig saa over Byen tidligt om Morgenen, naar Solen staar op! Naar da han og hans Folk rykker ud imod dig, kan du gøre med dem, hvad der falder for!«
34 अबीमेलेक तथा उसके साथ के सारे सैनिक रात में चार दल बनाकर शेकेम के लिए घात लगाकर छिप गए.
Abimelek brød da op ved Nattetide med alle sine Folk, og de lagde sig i Baghold imod Sikem i fire Afdelinger.
35 एबेद का पुत्र गाअल जाकर नगर द्वार पर खड़ा हो गया. अबीमेलेक तथा उसके सैनिक घात से बाहर आए.
Da gik Ga'al, Ebeds Søn, ned og stillede sig op ved Byporten. Og Abimelek og hans Folk rejste sig fra deres Baghold.
36 यह देखकर गाअल ने ज़बुल से कहा, “देखो, लोग पहाड़ की चोटियों से नीचे आ रहे हैं!” किंतु ज़बुल ने उसे उत्तर दिया, “आपको तो पर्वतों की छाया ही सेना जैसी दिखाई दे रही है.”
Da Ga'al fik Øje paa Folkene, sagde han til Zebul: »Se, der stiger Folk ned fra Bjergtoppene!« Men Zebul sagde til ham: »Det er Bjergenes Skygge, du tager for Mænd!«
37 गाअल ने दोबारा बताया, “देश के बीचों-बीच से लोग नीचे आ रहे हैं, तथा शकुन शास्त्रियों का एक दल बांज वृक्ष के मार्ग से आ रहा है.”
Men Ga'al sagde atter: »Der stiger Folk ned fra Landets Navle, og en anden Skare kommer i Retning af Sandsigernes Træ!«
38 इसे सुन ज़बुल ने उससे कहा, “क्या हुआ आपकी उन डींगों का, जब आप कह रहे थे, ‘कौन है अबीमेलेक, कि हम उसकी सेवा करें?’ क्या ये वे ही लोग नहीं जिनसे आप घृणा करते रहे? अब जाइए और कीजिए उनसे युद्ध!”
Da sagde Zebul til ham: »Hvor er nu dine store Ord fra før: Hvem er Abimelek, at vi skal være hans Trælle? Der er de Folk, du lod haant om — ryk nu ud og kæmp med dem!«
39 गाअल गया और शेकेम के पुरुषों की अगुवाई करके अबीमेलेक से युद्ध किया.
Ga'al rykkede da ud i Spidsen for Sikems Borgere for at kæmpe mod Abimelek.
40 अबीमेलेक ने गाअल को खदेड़ दिया, और गाअल तथा सैनिक भागने लगे. नगर द्वार के सामने अनेक सैनिक जो भाग रहे थे, वे घायल होकर मर गये.
Men Abimelek slog ham paa Flugt, og mange faldt og laa dræbte helt hen til Byporten.
41 अबीमेलेक अरूमाह में ही ठहरा रहा, किंतु ज़बुल ने गाअल तथा उसके संबंधियों को भगा दिया कि वे शेकेम में न रह सकें.
Abimelek tog saa Ophold i Aruma; og Zebul jog Ga'al og hans Brødre bort fra Sikem.
42 दूसरे दिन शेकेम के नागरिक मैदान में निकल आए. इसकी सूचना अबीमेलेक को दे दी गई.
Næste Dag begav Folket sig ud paa Marken, og det meldtes Abimelek.
43 तब उसने अपनी सेना को तीन भागों में बांट दिया और वे घात लगाकर बैठ गए. जब उसने देखा कि लोग नगर से बाहर आ रहे हैं, उसने उन पर आक्रमण कर उनको मार दिया.
Han tog da sine Folk og delte dem i tre dele og lagde Baghold paa Marken; og da han saa Folket drage ud, overfaldt han dem og slog dem.
44 फिर अबीमेलेक तथा उसके सैनिक दौड़कर नगर फाटक पर जा पहुंचे. दूसरे दो दल दौड़-दौड़ कर उनको मारते चले गए, जो नगर से बाहर आ गए थे.
Og Abimelek og den Afdeling, han havde hos sig, brød frem og tog Stilling ved Indgangen til Byen, medens de to andre Afdelinger kastede sig over alle dem, der var ude paa Marken; og huggede dem ned;
45 अबीमेलेक दिन भर शेकेम से युद्ध करता रहा. उसने शेकेम पर अधिकार कर लिया, और सभी नगरवासियों को मार दिया. उसने नगर को पूरी तरह से गिराकर नगर क्षेत्र में नमक बिखेर दिया.
og efter at Abimelek hele Dagen igennem havde angrebet Byen, indtog han den, dræbte Folkene deri, nedbrød Byen og strøede Salt paa den.
46 जब शेकेम के मीनार पर रहनेवाले सभी अधिकारियों ने यह सब सुना, वे एल-बरिथ मंदिर के भीतरी कमरे में इकट्ठे हो गए.
Da hele Besætningen i Sikems Taarn hørte det, begav de sig ben til Kælderrummet i El-Berits Hus.
47 अतः अबीमेलेक अपनी सेना के साथ ज़लमोन पर्वत पर चला गया.
Og da Abimelek fik Melding om, at hele Besætningen i Sikems Taarn var samlet,
48 वहां अबीमेलेक ने कुल्हाड़ी लेकर वृक्ष की एक शाखा काटी, उसे अपने कंधे पर उठा लिया और अपने साथ के सैनिकों को आदेश दिया, “जैसा तुमने मुझे करते देखा है, तुम भी वैसा ही करो.”
gik han med alle sine Folk op paa Zalmonbjerget. Her greb han en Økse, afhuggede et Knippe Grene, løftede det op og tog det paa Skulderen; og han sagde til sine Folk: »Skynd eder at gøre det samme, som I saa, jeg gjorde!«
49 सभी ने अपने लिए एक-एक शाखा काटी, और अबीमेलेक के पीछे-पीछे चले गए. उन सबने ये शाखाएं भीतरी कमरों में रख दीं और उसमें आग लगा दी. वहां सभी अगुए इकट्ठे थे, इस कारण शेकेम के मीनार के कमरे में जो थे उन सभी अधिकारियों की मृत्यु हो गई, ये लगभग एक हज़ार स्त्री-पुरुष थे.
Alle Folkene afhuggede da ogsaa hver sit Knippe og fulgte efter Abimelek og lagde det oven paa Kælderrummet og stak Ild paa Kælderrummet oven over dem. Saaledes omkom ogsaa hele Besætningen i Sikems Taarn, henved 1000 Mænd og Kvinder.
50 इसके बाद अबीमेलेक तेबेज़ नगर को गया, नगर की घेराबंदी की और उसे अपने वश में कर लिया.
Derefter drog Abimelek mod Tebez, og han belejrede Byen og indtog den.
51 किंतु नगर के बीच में एक मजबूत मीनार था. नगर के बचे हुए सभी स्त्री-पुरुषों ने एवं अगुओं ने भागकर उसी में सहारा लिया और दरवाजे बंद कर लिए और वे सब मीनार की छत पर चढ़ गए.
Inde i Byen var der et stærkt befæstet Taarn; derhen flygtede alle Mænd og Kvinder, alle Byens Indbyggere, idet de stængede efter sig og tyede op paa Taarnets Tag;
52 अबीमेलेक ने आकर उस मीनार पर हमला किया. वह मीनार में आग लगाने के उद्देश्य से द्वार के पास आया ही था,
Abimelek rykkede da frem til Taarnet og angreb det; men da han nærmede sig Taarnets Indgang for at stikke Ild derpaa,
53 कि एक स्त्री ने चक्की का ऊपरी पाट अबीमेलेक के ऊपर गिरा दिया. इससे उसकी खोपड़ी कुचल गई.
kastede en Kvinde en Møllesten ned paa Abimeleks Hoved og knuste hans Hjerneskal.
54 उसने तुरंत अपने युवा हथियार ढोनेवाले को बुलाकर आदेश दिया, “अपनी तलवार निकालो और आज़ाद करो मुझे इस स्थिति से, ताकि मेरे संबंध में यह न कहा जाए: ‘एक स्त्री ने उसकी हत्या कर दी.’” सो उस युवा ने उसे तलवार से बेध दिया, उसकी मृत्यु हो गई.
Da raabte han i Hast til sin Vaabendrager: »Drag dit Sværd og dræb mig, for at det ikke skal siges, at en Kvinde har slaaet mig ihjel!« Og Vaabendrageren gennemborede ham, saa han døde.
55 जब इस्राएलियों ने देखा कि अबीमेलेक की मृत्यु हो गई है, वे सब अपने-अपने घर लौट गए.
Men da Israeliterne saa, at Abimelek var død, begav de sig hver til sit.
56 इस प्रकार परमेश्वर ने अबीमेलेक से उस दुष्टता का बदला ले लिया, जो उसने अपने सत्तर भाइयों की हत्या करने के द्वारा अपने पिता के विरुद्ध की थी.
Saaledes gengældte Gud det onde, Abimelek havde øvet mod sin Fader ved at dræbe sine halvfjerdsindstyve Brødre;
57 इसके अलावा परमेश्वर ने शेकेम निवासियों की सारी दुष्टता का भी बदला ले लिया, और यरूबाल के पुत्र योथाम का शाप उनके सिर पर आ पड़ा.
og al Sikemiternes Ondskab lod Gud komme over deres egne Hoveder. Paa den Maade kom Jotams, Jerubba'als Søns, Forbandelse over dem.