< यूहन्ना 1 >

1 आदि में वचन था, वचन परमेश्वर के साथ था और वचन परमेश्वर था.
ཨཱདཽ ཝཱད ཨཱསཱིཏ྄ ས ཙ ཝཱད ཨཱིཤྭརེཎ སཱརྡྷམཱསཱིཏ྄ ས ཝཱདཿ སྭཡམཱིཤྭར ཨེཝ།
2 यही वचन आदि में परमेश्वर के साथ था.
ས ཨཱདཱཝཱིཤྭརེཎ སཧཱསཱིཏ྄།
3 सारी सृष्टि उनके द्वारा उत्पन्‍न हुई. सारी सृष्टि में कुछ भी उनके बिना उत्पन्‍न नहीं हुआ.
ཏེན སཪྻྭཾ ཝསྟུ སསྲྀཛེ སཪྻྭེཥུ སྲྀཥྚཝསྟུཥུ ཀིམཔི ཝསྟུ ཏེནཱསྲྀཥྚཾ ནཱསྟི།
4 जीवन उन्हीं में था और वह जीवन मानव जाति की ज्योति था.
ས ཛཱིཝནསྱཱཀཱརཿ, ཏཙྩ ཛཱིཝནཾ མནུཥྱཱཎཱཾ ཛྱོཏིཿ
5 वह ज्योति अंधकार में चमकती रही. अंधकार उस पर प्रबल न हो सका.
ཏཛྫྱོཏིརནྡྷཀཱརེ པྲཙཀཱཤེ ཀིནྟྭནྡྷཀཱརསྟནྣ ཛགྲཱཧ།
6 परमेश्वर ने योहन नामक एक व्यक्ति को भेजा
ཡོཧན྄ ནཱམཀ ཨེཀོ མནུཛ ཨཱིཤྭརེཎ པྲེཥཡཱཉྩཀྲེ།
7 कि वह ज्योति को देखें और उसके गवाह बनें कि लोग उनके माध्यम से ज्योति में विश्वास करें.
ཏདྭཱརཱ ཡཐཱ སཪྻྭེ ཝིཤྭསནྟི ཏདརྠཾ ས ཏཛྫྱོཏིཥི པྲམཱཎཾ དཱཏུཾ སཱཀྵིསྭརཱུཔོ བྷཱུཏྭཱགམཏ྄,
8 वह स्वयं ज्योति नहीं थे किंतु ज्योति की गवाही देने आए थे.
ས སྭཡཾ ཏཛྫྱོཏི རྣ ཀིནྟུ ཏཛྫྱོཏིཥི པྲམཱཎཾ དཱཏུམཱགམཏ྄།
9 वह सच्ची ज्योति, जो हर एक व्यक्ति को प्रकाशित करती है, संसार में आने पर थी.
ཛགཏྱཱགཏྱ ཡཿ སཪྻྭམནུཛེབྷྱོ དཱིཔྟིཾ དདཱཏི ཏདེཝ སཏྱཛྱོཏིཿ།
10 वह संसार में थे और संसार उन्हीं के द्वारा बनाया गया फिर भी संसार ने उन्हें न जाना.
ས ཡཛྫགདསྲྀཛཏ྄ ཏནྨདྱ ཨེཝ ས ཨཱསཱིཏ྄ ཀིནྟུ ཛགཏོ ལོཀཱསྟཾ ནཱཛཱནན྄།
11 वह अपनी सृष्टि में आए किंतु उनके अपनों ने ही उन्हें ग्रहण नहीं किया.
ནིཛཱདྷིཀཱརཾ ས ཨཱགཙྪཏ྄ ཀིནྟུ པྲཛཱསྟཾ ནཱགྲྀཧླན྄།
12 परंतु जितनों ने उन्हें ग्रहण किया अर्थात् उनके नाम में विश्वास किया, उन सबको उन्होंने परमेश्वर की संतान होने का अधिकार दिया;
ཏཐཱཔི ཡེ ཡེ ཏམགྲྀཧླན྄ ཨརྠཱཏ྄ ཏསྱ ནཱམྣི ཝྱཤྭསན྄ ཏེབྷྱ ཨཱིཤྭརསྱ པུཏྲཱ བྷཝིཏུམ྄ ཨདྷིཀཱརམ྄ ཨདདཱཏ྄།
13 जो न तो लहू से, न शारीरिक इच्छा से और न मानवीय इच्छा से, परंतु परमेश्वर से पैदा हुए हैं.
ཏེཥཱཾ ཛནིཿ ཤོཎིཏཱནྣ ཤཱརཱིརིཀཱབྷིལཱཥཱནྣ མཱནཝཱནཱམིཙྪཱཏོ ན ཀིནྟྭཱིཤྭརཱདབྷཝཏ྄།
14 वचन ने शरीर धारण कर हमारे मध्य तंबू के समान वास किया और हमने उनकी महिमा को अपना लिया—ऐसी महिमा को, जो पिता के एकलौते पुत्र की होती है—अनुग्रह और सच्चाई से परिपूर्ण.
ས ཝཱདོ མནུཥྱརཱུཔེཎཱཝཏཱིཪྻྱ སཏྱཏཱནུགྲཧཱབྷྱཱཾ པརིཔཱུརྞཿ སན྄ སཱརྡྷམ྄ ཨསྨཱབྷི རྣྱཝསཏ྄ ཏཏཿ པིཏུརདྭིཏཱིཡཔུཏྲསྱ ཡོགྱོ ཡོ མཧིམཱ ཏཾ མཧིམཱནཾ ཏསྱཱཔཤྱཱམ།
15 उन्हें देखकर योहन ने घोषणा की, “यह वही हैं जिनके विषय में मैंने कहा था, ‘वह, जो मेरे बाद आ रहे हैं, वास्तव में मुझसे श्रेष्ठ हैं क्योंकि वह मुझसे पहले थे.’”
ཏཏོ ཡོཧནཔི པྲཙཱཪྻྱ སཱཀྵྱམིདཾ དཏྟཝཱན྄ ཡོ མམ པཤྩཱད྄ ཨཱགམིཥྱཏི ས མཏྟོ གུརུཏརཿ; ཡཏོ མཏྤཱུཪྻྭཾ ས ཝིདྱམཱན ཨཱསཱིཏ྄; ཡདརྠམ྄ ཨཧཾ སཱཀྵྱམིདམ྄ ཨདཱཾ ས ཨེཥཿ།
16 उनकी परिपूर्णता के कारण हम सबने अनुग्रह पर अनुग्रह प्राप्‍त किया.
ཨཔརཉྩ ཏསྱ པཱུརྞཏཱཡཱ ཝཡཾ སཪྻྭེ ཀྲམཤཿ ཀྲམཤོནུགྲཧཾ པྲཱཔྟཱཿ།
17 व्यवस्था मोशेह के द्वारा दी गयी थी, किंतु अनुग्रह और सच्चाई मसीह येशु द्वारा आए.
མཱུསཱདྭཱརཱ ཝྱཝསྠཱ དཏྟཱ ཀིནྟྭནུགྲཧཿ སཏྱཏྭཉྩ ཡཱིཤུཁྲཱིཥྚདྭཱརཱ སམུཔཱཏིཥྛཏཱཾ།
18 परमेश्वर को कभी किसी ने नहीं देखा, केवल परमेश्वर-पुत्र के अलावा; जो पिता से हैं; उन्हीं ने हमें परमेश्वर से अवगत कराया.
ཀོཔི མནུཛ ཨཱིཤྭརཾ ཀདཱཔི ནཱཔཤྱཏ྄ ཀིནྟུ པིཏུཿ ཀྲོཌསྠོ྅དྭིཏཱིཡཿ པུཏྲསྟཾ པྲཀཱཤཡཏ྄།
19 जब यहूदी अगुओं ने येरूशलेम से पुरोहितों और लेवियों को योहन से यह पूछने भेजा, “तुम कौन हो?”
ཏྭཾ ཀཿ? ཨིཏི ཝཱཀྱཾ པྲེཥྚུཾ ཡདཱ ཡིཧཱུདཱིཡལོཀཱ ཡཱཛཀཱན྄ ལེཝིལོཀཱཾཤྩ ཡིརཱུཤཱལམོ ཡོཧནཿ སམཱིཔེ པྲེཥཡཱམཱསུཿ,
20 तो योहन बिना झिझक स्वीकार किया. उसकी गवाही थी, “मैं मसीह नहीं हूं.”
ཏདཱ ས སྭཱིཀྲྀཏཝཱན྄ ནཱཔཧྣཱུཏཝཱན྄ ནཱཧམ྄ ཨབྷིཥིཀྟ ཨིཏྱངྒཱིཀྲྀཏཝཱན྄།
21 तब उन्होंने योहन से दोबारा पूछा, “तो क्या तुम एलियाह हो?” योहन ने उत्तर दिया, “नहीं.” तब उन्होंने पूछा, “क्या तुम वह भविष्यवक्ता हो?” योहन ने उत्तर दिया, “नहीं.”
ཏདཱ ཏེ྅པྲྀཙྪན྄ ཏརྷི ཀོ བྷཝཱན྄? ཀིཾ ཨེལིཡཿ? སོཝདཏ྄ ན; ཏཏསྟེ྅པྲྀཙྪན྄ ཏརྷི བྷཝཱན྄ ས བྷཝིཥྱདྭཱདཱི? སོཝདཏ྄ ནཱཧཾ སཿ།
22 इस पर उन्होंने पूछा, “तो हमें बताओ कि तुम कौन हो, तुम अपने विषय में क्या कहते हो कि हम अपने भेजने वालों को उत्तर दे सकें?”
ཏདཱ ཏེ྅པྲྀཙྪན྄ ཏརྷི བྷཝཱན྄ ཀཿ? ཝཡཾ གཏྭཱ པྲེརཀཱན྄ ཏྭཡི ཀིཾ ཝཀྵྱཱམཿ? སྭསྨིན྄ ཀིཾ ཝདསི?
23 इस पर योहन ने भविष्यवक्ता यशायाह के लेख के अनुसार उत्तर दिया, “मैं उसकी आवाज हूं जो बंजर भूमि में पुकार-पुकारकर कह रही है, ‘प्रभु के लिए मार्ग सीधा करो.’”
ཏདཱ སོཝདཏ྄། པརམེཤསྱ པནྠཱནཾ པརིཥྐུརུཏ སཪྻྭཏཿ། ཨིཏཱིདཾ པྲཱནྟརེ ཝཱཀྱཾ ཝདཏཿ ཀསྱཙིདྲཝཿ། ཀཐཱམིམཱཾ ཡསྨིན྄ ཡིཤཡིཡོ བྷཝིཥྱདྭཱདཱི ལིཁིཏཝཱན྄ སོཧམ྄།
24 ये लोग फ़रीसियों की ओर से भेजे गए थे.
ཡེ པྲེཥིཏཱསྟེ ཕིརཱུཤིལོཀཱཿ།
25 इसके बाद उन्होंने योहन से प्रश्न किया, “जब तुम न तो मसीह हो, न भविष्यवक्ता एलियाह और न वह भविष्यद्वक्ता, तो तुम बपतिस्मा क्यों देते हो?”
ཏདཱ ཏེ྅པྲྀཙྪན྄ ཡདི ནཱབྷིཥིཀྟོསི ཨེལིཡོསི ན ས བྷཝིཥྱདྭཱདྱཔི ནཱསི ཙ, ཏརྷི ལོཀཱན྄ མཛྫཡསི ཀུཏཿ?
26 योहन ने उन्हें उत्तर दिया, “मैं तो जल में बपतिस्मा देता हूं परंतु तुम्हारे मध्य एक ऐसे हैं, जिन्हें तुम नहीं जानते.
ཏཏོ ཡོཧན྄ པྲཏྱཝོཙཏ྄, ཏོཡེ྅ཧཾ མཛྫཡཱམཱིཏི སཏྱཾ ཀིནྟུ ཡཾ ཡཱུཡཾ ན ཛཱནཱིཐ ཏཱདྲྀཤ ཨེཀོ ཛནོ ཡུཥྨཱཀཾ མདྷྱ ཨུཔཏིཥྛཏི།
27 यह वही हैं, जो मेरे बाद आ रहे हैं, मैं जिनकी जूती का बंध खोलने के योग्य भी नहीं हूं.”
ས མཏྤཤྩཱད྄ ཨཱགཏོཔི མཏྤཱུཪྻྭཾ ཝརྟྟམཱན ཨཱསཱིཏ྄ ཏསྱ པཱདུཀཱབནྡྷནཾ མོཙཡིཏུམཔི ནཱཧཾ ཡོགྱོསྨི།
28 ये सब बैथनियाह गांव में हुआ, जो यरदन नदी के पार था जिसमें योहन बपतिस्मा दिया करते थे.
ཡརྡྡནནདྱཱཿ པཱརསྠབཻཐབཱརཱཡཱཾ ཡསྨིནྶྠཱནེ ཡོཧནམཛྫཡཏ྄ ཏསྨིན སྠཱནེ སཪྻྭམེཏད྄ ཨགྷཊཏ།
29 अगले दिन योहन ने मसीह येशु को अपनी ओर आते हुए देखकर भीड़ से कहा, “वह देखो! परमेश्वर का मेमना, जो संसार के पाप का उठानेवाला है!
པརེ྅ཧནི ཡོཧན྄ སྭནིཀཊམཱགཙྪནྟཾ ཡིཤུཾ ཝིལོཀྱ པྲཱཝོཙཏ྄ ཛགཏཿ པཱཔམོཙཀམ྄ ཨཱིཤྭརསྱ མེཥཤཱཝཀཾ པཤྱཏ།
30 यह वही हैं, जिनके विषय में मैंने कहा था, ‘मेरे बाद वह आ रहे हैं, जो मुझसे श्रेष्ठ हैं क्योंकि वह मुझसे पहले से मौजूद हैं.’
ཡོ མམ པཤྩཱདཱགམིཥྱཏི ས མཏྟོ གུརུཏརཿ, ཡཏོ ཧེཏོརྨཏྤཱུཪྻྭཾ སོ྅ཝརྟྟཏ ཡསྨིནྣཧཾ ཀཐཱམིམཱཾ ཀཐིཏཝཱན྄ ས ཨེཝཱཡཾ།
31 मैं भी उन्हें नहीं जानता था, मैं जल में बपतिस्मा देता हुआ इसलिये आया कि वह इस्राएल पर प्रकट हो जाएं.”
ཨཔརཾ ནཱཧམེནཾ པྲཏྱབྷིཛྙཱཏཝཱན྄ ཀིནྟུ ཨིསྲཱཡེལློཀཱ ཨེནཾ ཡཐཱ པརིཙིནྭནྟི ཏདབྷིཔྲཱཡེཎཱཧཾ ཛལེ མཛྫཡིཏུམཱགཙྪམ྄།
32 इसके अतिरिक्त योहन ने यह गवाही भी दी, “मैंने स्वर्ग से आत्मा को कबूतर के समान उतरते और मसीह येशु पर ठहरते हुए देखा.
པུནཤྩ ཡོཧནཔརམེཀཾ པྲམཱཎཾ དཏྭཱ ཀཐིཏཝཱན྄ ཝིཧཱཡསཿ ཀཔོཏཝད྄ ཨཝཏརནྟམཱཏྨཱནམ྄ ཨསྱོཔཪྻྱཝཏིཥྛནྟཾ ཙ དྲྀཥྚཝཱནཧམ྄།
33 मैं उन्हें नहीं जानता था किंतु परमेश्वर, जिन्होंने मुझे जल में बपतिस्मा देने के लिए भेजा, उन्हीं ने मुझे बताया, ‘जिस पर तुम आत्मा को उतरते और ठहरते हुए देखोगे, वही पवित्र आत्मा में बपतिस्मा देंगे.’
ནཱཧམེནཾ པྲཏྱབྷིཛྙཱཏཝཱན྄ ཨིཏི སཏྱཾ ཀིནྟུ ཡོ ཛལེ མཛྫཡིཏུཾ མཱཾ པྲཻརཡཏ྄ ས ཨེཝེམཱཾ ཀཐཱམཀཐཡཏ྄ ཡསྱོཔཪྻྱཱཏྨཱནམ྄ ཨཝཏརནྟམ྄ ཨཝཏིཥྛནྟཉྩ དྲཀྵཡསི སཨེཝ པཝིཏྲེ ཨཱཏྨནི མཛྫཡིཥྱཏི།
34 स्वयं मैंने यह देखा और मैं इसका गवाह हूं कि यही परमेश्वर का पुत्र हैं.”
ཨཝསྟནྣིརཱིཀྵྱཱཡམ྄ ཨཱིཤྭརསྱ ཏནཡ ཨིཏི པྲམཱཎཾ དདཱམི།
35 अगले दिन जब योहन अपने दो शिष्यों के साथ खड़े हुए थे,
པརེ྅ཧནི ཡོཧན྄ དྭཱབྷྱཱཾ ཤིཥྱཱབྷྱཱཾ སཱརྡྡྷེཾ ཏིཥྛན྄
36 उन्होंने मसीह येशु को जाते हुए देखकर कहा, “वह देखो! परमेश्वर का मेमना!”
ཡིཤུཾ གཙྪནྟཾ ཝིལོཀྱ གདིཏཝཱན྄, ཨཱིཤྭརསྱ མེཥཤཱཝཀཾ པཤྱཏཾ།
37 यह सुनकर दोनों शिष्य मसीह येशु की ओर बढ़ने लगे.
ཨིམཱཾ ཀཐཱཾ ཤྲུཏྭཱ དྭཽ ཤིཥྱཽ ཡཱིཤོཿ པཤྩཱད྄ ཨཱིཡཏུཿ།
38 मसीह येशु ने उन्हें अपने पीछे आते देख उनसे पूछा, “तुम क्या चाहते हो?” उन्होंने कहा, “गुरुवर, आप कहां रहते हैं?”
ཏཏོ ཡཱིཤུཿ པརཱཝྲྀཏྱ ཏཽ པཤྩཱད྄ ཨཱགཙྪནྟཽ དྲྀཥྚྭཱ པྲྀཥྚཝཱན྄ ཡུཝཱཾ ཀིཾ གཝེཤཡཐཿ? ཏཱཝཔྲྀཙྪཏཱཾ ཧེ རབྦི ཨརྠཱཏ྄ ཧེ གུརོ བྷཝཱན྄ ཀུཏྲ ཏིཥྛཏི?
39 मसीह येशु ने उनसे कहा, “आओ और देख लो.” इसलिये उन्होंने जाकर मसीह येशु का घर देखा और उस दिन उन्हीं के साथ रहे. यह दिन का लगभग दसवां घंटा था.
ཏཏཿ སོཝཱདིཏ྄ ཨེཏྱ པཤྱཏཾ། ཏཏོ དིཝསསྱ ཏྲྀཏཱིཡཔྲཧརསྱ གཏཏྭཱཏ྄ ཏཽ ཏདྡིནཾ ཏསྱ སངྒེ྅སྠཱཏཱཾ།
40 योहन की गवाही सुनकर मसीह येशु के पीछे आ रहे दो शिष्यों में एक शिमओन पेतरॉस के भाई आन्द्रेयास थे.
ཡཽ དྭཽ ཡོཧནོ ཝཱཀྱཾ ཤྲུཏྭཱ ཡིཤོཿ པཤྩཱད྄ ཨཱགམཏཱཾ ཏཡོཿ ཤིམོནྤིཏརསྱ བྷྲཱཏཱ ཨཱནྡྲིཡཿ
41 उन्होंने सबसे पहले अपने भाई शिमओन को खोजा और उन्हें सूचित किया, “हमें मसीह—परमेश्वर के अभिषिक्त—मिल गए हैं.”
ས ཨིཏྭཱ པྲཐམཾ ནིཛསོདརཾ ཤིམོནཾ སཱཀྵཱཏྤྲཱཔྱ ཀཐིཏཝཱན྄ ཝཡཾ ཁྲཱིཥྚམ྄ ཨརྠཱཏ྄ ཨབྷིཥིཀྟཔུརུཥཾ སཱཀྵཱཏྐྲྀཏཝནྟཿ།
42 तब आन्द्रेयास उन्हें मसीह येशु के पास लाए. मसीह येशु ने शिमओन की ओर देखकर कहा, “तुम योहन के पुत्र शिमओन हो, तुम कैफ़स अर्थात् पेतरॉस कहलाओगे.”
པཤྩཱཏ྄ ས ཏཾ ཡིཤོཿ སམཱིཔམ྄ ཨཱནཡཏ྄། ཏདཱ ཡཱིཤུསྟཾ དྲྀཥྚྭཱཝདཏ྄ ཏྭཾ ཡཱུནསཿ པུཏྲཿ ཤིམོན྄ ཀིནྟུ ཏྭནྣཱམདྷེཡཾ ཀཻཕཱཿ ཝཱ པིཏརཿ ཨརྠཱཏ྄ པྲསྟརོ བྷཝིཥྱཏི།
43 अगले दिन गलील जाते हुए मसीह येशु की भेंट फ़िलिप्पॉस से हुई. उन्होंने उनसे कहा, “मेरे पीछे हो ले.”
པརེ྅ཧནི ཡཱིཤཽ གཱལཱིལཾ གནྟུཾ ནིཤྩིཏཙེཏསི སཏི ཕིལིཔནཱམཱནཾ ཛནཾ སཱཀྵཱཏྤྲཱཔྱཱཝོཙཏ྄ མམ པཤྩཱད྄ ཨཱགཙྪ།
44 आन्द्रेयास और शिमओन के समान फ़िलिप्पॉस भी बैथसैदा नगर के निवासी थे.
བཻཏྶཻདཱནཱམྣི ཡསྨིན྄ གྲཱམེ པིཏརཱནྡྲིཡཡོཪྻཱས ཨཱསཱིཏ྄ ཏསྨིན྄ གྲཱམེ ཏསྱ ཕིལིཔསྱ ཝསཏིརཱསཱིཏ྄།
45 फ़िलिप्पॉस ने नाथानाएल को खोज कर उनसे कहा, “जिनका वर्णन व्यवस्था में मोशेह और भविष्यद्वक्ताओं ने किया है, वह हमें मिल गए हैं—नाज़रेथ निवासी योसेफ़ के पुत्र येशु.”
པཤྩཱཏ྄ ཕིལིཔོ ནིཐནེལཾ སཱཀྵཱཏྤྲཱཔྱཱཝདཏ྄ མཱུསཱ ཝྱཝསྠཱ གྲནྠེ བྷཝིཥྱདྭཱདིནཱཾ གྲནྠེཥུ ཙ ཡསྱཱཁྱཱནཾ ལིཁིཏམཱསྟེ ཏཾ ཡཱུཥཕཿ པུཏྲཾ ནཱསརཏཱིཡཾ ཡཱིཤུཾ སཱཀྵཱད྄ ཨཀཱརྵྨ ཝཡཾ།
46 यह सुन नाथानाएल ने तुरंत उनसे पूछा, “क्या नाज़रेथ से कुछ भी उत्तम निकल सकता है?” “आकर स्वयं देख लो,” फ़िलिप्पॉस ने उत्तर दिया.
ཏདཱ ནིཐནེལ྄ ཀཐིཏཝཱན྄ ནཱསརནྣགརཱཏ ཀིཾ ཀཤྩིདུཏྟམ ཨུཏྤནྟུཾ ཤཀྣོཏི? ཏཏཿ ཕིལིཔོ ྅ཝོཙཏ྄ ཨེཏྱ པཤྱ།
47 मसीह येशु ने नाथानाएल को अपनी ओर आते देख उनके विषय में कहा, “देखो! एक सच्चा इस्राएली है, जिसमें कोई कपट नहीं है.”
ཨཔརཉྩ ཡཱིཤུཿ སྭསྱ སམཱིཔཾ ཏམ྄ ཨཱགཙྪནྟཾ དྲྀཥྚྭཱ ཝྱཱཧྲྀཏཝཱན྄, པཤྱཱཡཾ ནིཥྐཔཊཿ སཏྱ ཨིསྲཱཡེལློཀཿ།
48 नाथानाएल ने मसीह येशु से पूछा, “आप मुझे कैसे जानते हैं?” मसीह येशु ने उन्हें उत्तर दिया, “इससे पूर्व कि फ़िलिप्पॉस ने तुम्हें बुलाया, मैंने तुम्हें अंजीर के पेड़ के नीचे देखा था.”
ཏཏཿ སོཝདད྄, བྷཝཱན྄ མཱཾ ཀཐཾ པྲཏྱབྷིཛཱནཱཏི? ཡཱིཤུརཝཱདཱིཏ྄ ཕིལིཔསྱ ཨཱཧྭཱནཱཏ྄ པཱུཪྻྭཾ ཡདཱ ཏྭམུཌུམྦརསྱ ཏརོརྨཱུལེ྅སྠཱསྟདཱ ཏྭཱམདརྴམ྄།
49 नाथानाएल कह उठे, “रब्बी, आप परमेश्वर का पुत्र हैं! आप इस्राएल के राजा हैं!”
ནིཐནེལ྄ ཨཙཀཐཏ྄, ཧེ གུརོ བྷཝཱན྄ ནིཏཱནྟམ྄ ཨཱིཤྭརསྱ པུཏྲོསི, བྷཝཱན྄ ཨིསྲཱཡེལྭཾཤསྱ རཱཛཱ།
50 तब मसीह येशु ने उनसे कहा, “क्या तुम विश्वास इसलिये करते हो कि मैंने तुमसे यह कहा कि मैंने तुम्हें अंजीर के पेड़ के नीचे देखा? तुम इससे भी अधिक बड़े-बड़े काम देखोगे.”
ཏཏོ ཡཱིཤུ ཪྻྱཱཧརཏ྄, ཏྭཱམུཌུམྦརསྱ པཱདཔསྱ མཱུལེ དྲྀཥྚཝཱནཱཧཾ མམཻཏསྨཱདྭཱཀྱཱཏ྄ ཀིཾ ཏྭཾ ཝྱཤྭསཱིཿ? ཨེཏསྨཱདཔྱཱཤྩཪྻྱཱཎི ཀཱཪྻྱཱཎི དྲཀྵྱསི།
51 तब उन्होंने यह भी कहा, “मैं तुम पर यह अटल सच्चाई प्रकट कर रहा हूं: तुम स्वर्ग को खुला हुआ और परमेश्वर के स्वर्गदूतों को मनुष्य के पुत्र के लिए नीचे आते और ऊपर जाते हुए देखोगे.”
ཨནྱཙྩཱཝཱདཱིད྄ ཡུཥྨཱནཧཾ ཡཐཱརྠཾ ཝདཱམི, ཨིཏཿ པརཾ མོཙིཏེ མེགྷདྭཱརེ ཏསྨཱནྨནུཛསཱུནུནཱ ཨཱིཤྭརསྱ དཱུཏགཎམ྄ ཨཝརོཧནྟམཱརོཧནྟཉྩ དྲཀྵྱཐ།

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