< ירמיה 19 >
כֹּה אָמַר יְהוָה הָלוֹךְ וְקָנִיתָ בַקְבֻּק יוֹצֵר חָרֶשׂ וּמִזִּקְנֵי הָעָם וּמִזִּקְנֵי הַכֹּהֲנִֽים׃ | 1 |
याहवेह ने आदेश दिया: “जाकर कुम्हार से एक मिट्टी का बर्तन खरीदो, तथा कुछ प्राचीन नागरिकों तथा कुछ प्राचीन पुरोहितों को एकत्र करो
וְיָצָאתָ אֶל־גֵּיא בֶן־הִנֹּם אֲשֶׁר פֶּתַח שַׁעַר החרסות הַֽחַרְסִית וְקָרָאתָ שָּׁם אֶת־הַדְּבָרִים אֲשֶׁר־אֲדַבֵּר אֵלֶֽיךָ׃ | 2 |
तब बेन-हिन्नोम की घाटी में जाओ, इसके लिए तुम्हें टूटे हुए बर्तनों के प्रवेश द्वार से जाना होगा. वहां तुम उस संदेश की वाणी करना जो मैं तुम्हें भेजा करूंगा,
וְאָֽמַרְתָּ שִׁמְעוּ דְבַר־יְהוָה מַלְכֵי יְהוּדָה וְיֹשְׁבֵי יְרֽוּשָׁלָ͏ִם כֹּֽה־אָמַר יְהוָה צְבָאוֹת אֱלֹהֵי יִשְׂרָאֵל הִנְנִי מֵבִיא רָעָה עַל־הַמָּקוֹם הַזֶּה אֲשֶׁר כָּל־שֹׁמְעָהּ תִּצַּלְנָה אָזְנָֽיו׃ | 3 |
तुम कहना, ‘यहूदिया के राजाओं तथा येरूशलेम वासियों याहवेह का संदेश सुनो. सेनाओं के याहवेह, इस्राएल के परमेश्वर का संदेश यह है: मैं इस स्थान पर घोर विपत्ति लाने पर हूं, ऐसी जिसके विषय में सुनते ही हर एक श्रोता के कान झनझना उठेंगे.
יַעַן ׀ אֲשֶׁר עֲזָבֻנִי וַֽיְנַכְּרוּ אֶת־הַמָּקוֹם הַזֶּה וַיְקַטְּרוּ־בוֹ לֵאלֹהִים אֲחֵרִים אֲשֶׁר לֹֽא־יְדָעוּם הֵמָּה וַאֲבֽוֹתֵיהֶם וּמַלְכֵי יְהוּדָה וּמָֽלְאוּ אֶת־הַמָּקוֹם הַזֶּה דַּם נְקִיִּֽם׃ | 4 |
यह इसलिये कि उन्होंने मेरा परित्याग कर इस स्थान को अरुचिकर बना छोड़ा है; उन्होंने इस स्थान पर परकीय देवताओं के लिए बलि अर्पित की है, जिन्हें न तो उनके पूर्वजों ने, न यहूदिया के राजाओं ने कभी जाना-पहचाना था तथा इसलिये भी कि उन्होंने इस स्थान को निर्दोष लोगों के रक्त से रंजित कर रखा है.
וּבָנוּ אֶת־בָּמוֹת הַבַּעַל לִשְׂרֹף אֶת־בְּנֵיהֶם בָּאֵשׁ עֹלוֹת לַבָּעַל אֲשֶׁר לֹֽא־צִוִּיתִי וְלֹא דִבַּרְתִּי וְלֹא עָלְתָה עַל־לִבִּֽי׃ | 5 |
उन्होंने बाल के लिए अपने पुत्रों की होमबलि अर्पित करने के उद्देश्य से बाल के लिए पूजा-स्थल प्रतिष्ठित किए हैं. यह वह कृत्य है, जिसका मैंने उन्हें न तो आदेश दिया और न ही मैंने कभी इसका उल्लेख किया और न यह विचार ही कभी मेरे मस्तिष्क में आया.
לָכֵן הִנֵּֽה־יָמִים בָּאִים נְאֻם־יְהוָה וְלֹא־יִקָּרֵא לַמָּקוֹם הַזֶּה עוֹד הַתֹּפֶת וְגֵיא בֶן־הִנֹּם כִּי אִם־גֵּיא הַהֲרֵגָֽה׃ | 6 |
इसलिये यह देखना कि वे दिन आ रहे हैं, यह याहवेह की वाणी है, जब इस स्थान की पहचान तोफेथ अथवा बेन-हिन्नोम की घाटी नहीं रह जाएगी, बल्कि तब यह नरसंहार घाटी के रूप में प्रख्यात हो जाएगी.
וּבַקֹּתִי אֶת־עֲצַת יְהוּדָה וִירוּשָׁלִַם בַּמָּקוֹם הַזֶּה וְהִפַּלְתִּים בַּחֶרֶב לִפְנֵי אֹֽיְבֵיהֶם וּבְיַד מְבַקְשֵׁי נַפְשָׁם וְנָתַתִּי אֶת־נִבְלָתָם לְמַֽאֲכָל לְעוֹף הַשָּׁמַיִם וּלְבֶהֱמַת הָאָֽרֶץ׃ | 7 |
“‘मैं इस स्थान पर यहूदिया तथा येरूशलेम की युक्ति निष्फल कर दूंगा. तथा मैं ऐसा करूंगा कि वे अपने शत्रुओं के समक्ष ही, जो उनके प्राणों के प्यासे हैं, उन्हीं के तलवार के ग्रसित हो जाएंगे. और मैं उनके शव आकाश के पक्षी तथा पृथ्वी के पशुओं का आहार बना दूंगा.
וְשַׂמְתִּי אֶת־הָעִיר הַזֹּאת לְשַׁמָּה וְלִשְׁרֵקָה כֹּל עֹבֵר עָלֶיהָ יִשֹּׁם וְיִשְׁרֹק עַל־כָּל־מַכֹּתֶֽהָ׃ | 8 |
इस नगर को मैं भय और घृणा का विषय बना दूंगा. इसके निकट से जाता हुआ हर एक व्यक्ति भयभीत होकर इसके घावों को देखेगा और उसका उपहास करेगा.
וְהַֽאֲכַלְתִּים אֶת־בְּשַׂר בְּנֵיהֶם וְאֵת בְּשַׂר בְּנֹתֵיהֶם וְאִישׁ בְּשַׂר־רֵעֵהוּ יֹאכֵלוּ בְּמָצוֹר וּבְמָצוֹק אֲשֶׁר יָצִיקוּ לָהֶם אֹיְבֵיהֶם וּמְבַקְשֵׁי נַפְשָֽׁם׃ | 9 |
मैं ऐसी स्थिति उत्पन्न करूंगा कि वे अपनी ही संतान का मांस खाने लगेंगे, जब नगर की घेराबंदी होगी, और उनके शत्रुओं की ओर से उन पर विपत्ति आएगी तथा जो उनके प्राण लेने के लिए तैयार हैं, उन्हें उत्पीड़ित करने लगेंगे, तब वे एक दूसरे का ही मांस खाने लगेंगे.’
וְשָׁבַרְתָּ הַבַּקְבֻּק לְעֵינֵי הָֽאֲנָשִׁים הַהֹלְכִים אוֹתָֽךְ׃ | 10 |
“इसके बाद तुम्हें उन सभी के समक्ष जो तुम्हारे साथ वहां गए हुए हैं उस बर्तन को तोड़ देना होगा,
וְאָמַרְתָּ אֲלֵיהֶם כֹּה־אָמַר ׀ יְהוָה צְבָאוֹת כָּכָה אֶשְׁבֹּר אֶת־הָעָם הַזֶּה וְאֶת־הָעִיר הַזֹּאת כַּאֲשֶׁר יִשְׁבֹּר אֶת־כְּלִי הַיּוֹצֵר אֲשֶׁר לֹֽא־יוּכַל לְהֵרָפֵה עוֹד וּבְתֹפֶת יִקְבְּרוּ מֵאֵין מָקוֹם לִקְבּֽוֹר׃ | 11 |
तब तुम उनसे कहना, ‘यह सेनाओं के याहवेह का संदेश है: ठीक इसी प्रकार मैं इन लोगों को तथा इस नगर को चूर-चूर कर दूंगा, जैसे कोई कुम्हार द्वारा निर्मित बर्तन को तोड़ देता है, जिसे पुनर्निर्मित करना असंभव होता है. लोग शवों को तोफेथ में गाड़ेंगे, जब तक इन्हें गाड़ने के लिए स्थान शेष न रह जाएगा.
כֵּֽן־אֶעֱשֶׂה לַמָּקוֹם הַזֶּה נְאֻם־יְהוָה וּלְיֽוֹשְׁבָיו וְלָתֵת אֶת־הָעִיר הַזֹּאת כְּתֹֽפֶת׃ | 12 |
यही करूंगा मैं इस स्थान एवं यहां के निवासियों के साथ, यह याहवेह की वाणी है, कि मैं इस नगर को तोफेथ सदृश बना दूंगा.
וְהָיוּ בָּתֵּי יְרוּשָׁלִַם וּבָתֵּי מַלְכֵי יְהוּדָה כִּמְקוֹם הַתֹּפֶת הַטְּמֵאִים לְכֹל הַבָּתִּים אֲשֶׁר קִטְּרוּ עַל־גַּגֹּֽתֵיהֶם לְכֹל צְבָא הַשָּׁמַיִם וְהַסֵּךְ נְסָכִים לֵאלֹהִים אֲחֵרִֽים׃ | 13 |
येरूशलेम के आवास एवं यहूदिया के राजाओं के आवास इस स्थान तोफेथ के सदृश अशुद्ध हो जाएंगे. उन सभी आवासों के कारण, जिन पर उन्होंने आकाश की शक्तियों को होमबलि अर्पित की तथा परकीय देवताओं को पेय बलि अर्पित की थी.’”
וַיָּבֹא יִרְמְיָהוּ מֵֽהַתֹּפֶת אֲשֶׁר שְׁלָחוֹ יְהוָה שָׁם לְהִנָּבֵא וַֽיַּעֲמֹד בַּחֲצַר בֵּית־יְהוָה וַיֹּאמֶר אֶל־כָּל־הָעָֽם׃ | 14 |
तत्पश्चात येरेमियाह तोफेथ से लौट आए, जहां याहवेह ने उन्हें भविष्यवाणी के उद्देश्य से भेजा था, येरेमियाह जाकर याहवेह के भवन के आंगन में खड़े हो गए और उन्होंने वहां से उपस्थित जनसमूह को इस प्रकार संबोधित किया,
כֹּֽה־אָמַר יְהוָה צְבָאוֹת אֱלֹהֵי יִשְׂרָאֵל הִנְנִי מבי מֵבִיא אֶל־הָעִיר הַזֹּאת וְעַל־כָּל־עָרֶיהָ אֵת כָּל־הָרָעָה אֲשֶׁר דִּבַּרְתִּי עָלֶיהָ כִּי הִקְשׁוּ אֶת־עָרְפָּם לְבִלְתִּי שְׁמוֹעַ אֶת־דְּבָרָֽי׃ | 15 |
“इस्राएल के परमेश्वर, सेनाओं के याहवेह का संदेश यह है: ‘सुनो! मैं इस नगर तथा इसके सारे उपनगरों पर वे सारी विपत्तियां प्रभावी करने पर हूं, जिसकी मैं पूर्वघोषणा कर चुका हूं, क्योंकि उन्होंने मेरे आदेश को न सुनने के हठ में अपनी गर्दनें कठोर कर ली हैं.’”