< איוב 8 >
עד-אן תמלל-אלה ורוח כביר אמרי-פיך | 2 |
२“तू कब तक ऐसी-ऐसी बातें करता रहेगा? और तेरे मुँह की बातें कब तक प्रचण्ड वायु सी रहेगी?
האל יעות משפט ואם-שדי יעות-צדק | 3 |
३क्या परमेश्वर अन्याय करता है? और क्या सर्वशक्तिमान धार्मिकता को उलटा करता है?
אם-בניך חטאו-לו וישלחם ביד-פשעם | 4 |
४यदि तेरे बच्चों ने उसके विरुद्ध पाप किया है, तो उसने उनको उनके अपराध का फल भुगताया है।
אם-אתה תשחר אל-אל ואל-שדי תתחנן | 5 |
५तो भी यदि तू आप परमेश्वर को यत्न से ढूँढ़ता, और सर्वशक्तिमान से गिड़गिड़ाकर विनती करता,
אם-זך וישר אתה כי-עתה יעיר עליך ושלם נות צדקך | 6 |
६और यदि तू निर्मल और धर्मी रहता, तो निश्चय वह तेरे लिये जागता; और तेरी धार्मिकता का निवास फिर ज्यों का त्यों कर देता।
והיה ראשיתך מצער ואחריתך ישגה מאד | 7 |
७चाहे तेरा भाग पहले छोटा ही रहा हो परन्तु अन्त में तेरी बहुत बढ़ती होती।
כי-שאל-נא לדר רישון וכונן לחקר אבותם | 8 |
८“पिछली पीढ़ी के लोगों से तो पूछ, और जो कुछ उनके पुरखाओं ने जाँच पड़ताल की है उस पर ध्यान दे।
כי-תמול אנחנו ולא נדע כי צל ימינו עלי-ארץ | 9 |
९क्योंकि हम तो कल ही के हैं, और कुछ नहीं जानते; और पृथ्वी पर हमारे दिन छाया के समान बीतते जाते हैं।
הלא-הם יורוך יאמרו לך ומלבם יוצאו מלים | 10 |
१०क्या वे लोग तुझ से शिक्षा की बातें न कहेंगे? क्या वे अपने मन से बात न निकालेंगे?
היגאה-גמא בלא בצה ישגה-אחו בלי-מים | 11 |
११“क्या कछार की घास पानी बिना बढ़ सकती है? क्या सरकण्डा जल बिना बढ़ता है?
עדנו באבו לא יקטף ולפני כל-חציר ייבש | 12 |
१२चाहे वह हरी हो, और काटी भी न गई हो, तो भी वह और सब भाँति की घास से पहले ही सूख जाती है।
כן--ארחות כל-שכחי אל ותקות חנף תאבד | 13 |
१३परमेश्वर के सब बिसरानेवालों की गति ऐसी ही होती है और भक्तिहीन की आशा टूट जाती है।
אשר-יקוט כסלו ובית עכביש מבטחו | 14 |
१४उसकी आशा का मूल कट जाता है; और जिसका वह भरोसा करता है, वह मकड़ी का जाला ठहरता है।
ישען על-ביתו ולא יעמד יחזיק בו ולא יקום | 15 |
१५चाहे वह अपने घर पर टेक लगाए परन्तु वह न ठहरेगा; वह उसे दृढ़ता से थामेगा परन्तु वह स्थिर न रहेगा।
רטב הוא לפני-שמש ועל גנתו ינקתו תצא | 16 |
१६वह धूप पाकर हरा भरा हो जाता है, और उसकी डालियाँ बगीचे में चारों ओर फैलती हैं।
על-גל שרשיו יסבכו בית אבנים יחזה | 17 |
१७उसकी जड़ कंकड़ों के ढेर में लिपटी हुई रहती है, और वह पत्थर के स्थान को देख लेता है।
אם-יבלענו ממקמו וכחש בו לא ראיתיך | 18 |
१८परन्तु जब वह अपने स्थान पर से नाश किया जाए, तब वह स्थान उससे यह कहकर मुँह मोड़ लेगा, ‘मैंने उसे कभी देखा ही नहीं।’
הן-הוא משוש דרכו ומעפר אחר יצמחו | 19 |
१९देख, उसकी आनन्द भरी चाल यही है; फिर उसी मिट्टी में से दूसरे उगेंगे।
הן-אל לא ימאס-תם ולא-יחזיק ביד-מרעים | 20 |
२०“देख, परमेश्वर न तो खरे मनुष्य को निकम्मा जानकर छोड़ देता है, और न बुराई करनेवालों को सम्भालता है।
עד-ימלה שחוק פיך ושפתיך תרועה | 21 |
२१वह तो तुझे हँसमुख करेगा; और तुझ से जयजयकार कराएगा।
שנאיך ילבשו-בשת ואהל רשעים איננו | 22 |
२२तेरे बैरी लज्जा का वस्त्र पहनेंगे, और दुष्टों का डेरा कहीं रहने न पाएगा।”