< דברי הימים ב 28 >

בן עשרים שנה אחז במלכו ושש עשרה שנה מלך בירושלם ולא עשה הישר בעיני יהוה כדויד אביו 1
शासन शुरू करते समय आहाज़ की उम्र बीस साल थी. येरूशलेम में उसने सोलह साल शासन किया. उसने वह नहीं किया जो याहवेह की दृष्टि में सही था, जैसा उसके पूर्वज दावीद ने किया था.
וילך בדרכי מלכי ישראל וגם מסכות עשה לבעלים 2
वह इस्राएल के राजाओं की नीति का पालन करता रहा. उसने बाल देवताओं की मूर्तियां बनाईं.
והוא הקטיר בגיא בן הנם ויבער את בניו באש כתעבות הגוים אשר הריש יהוה מפני בני ישראל 3
इनके अलावा; वह बेन-हिन्‍नोम घाटी में धूप जलाता था और उसने अपने पुत्रों की अग्निबलि चढ़ाई. यह उन जनताओं की घृणित प्रथाएं थी, जिन्हें याहवेह ने इस्राएल वंशजों के सामने से दूर भगाया था.
ויזבח ויקטר בבמות ועל הגבעות ותחת כל עץ רענן 4
वह पूजा स्थलों पर, पहाड़ियों पर और हर एक हरे वृक्ष के नीचे धूप जलाकर बलि चढ़ाता रहा.
ויתנהו יהוה אלהיו ביד מלך ארם ויכו בו וישבו ממנו שביה גדולה ויביאו דרמשק וגם ביד מלך ישראל נתן ויך בו מכה גדולה 5
तब याहवेह उसके परमेश्वर ने उसे अराम के राजा के अधीन कर दिया. उन्होंने उसे हरा दिया और उनमें से बड़ी संख्या में बंदी बनाए और उन्हें दमेशेक ले गए. उसे इस्राएल के राजा के अधीन भी कर दिया गया. उसने उसे बुरी तरह से हराया.
ויהרג פקח בן רמליהו ביהודה מאה ועשרים אלף ביום אחד--הכל בני חיל בעזבם את יהוה אלהי אבותם 6
इसलिये कि उन्होंने अपने पूर्वजों के परमेश्वर याहवेह को त्याग दिया था, रेमालियाह के पुत्र पेकाह ने एक ही दिन में यहूदिया के सभी एक लाख बीस हज़ार योद्धाओं को मार गिराया.
ויהרג זכרי גבור אפרים את מעשיהו בן המלך ואת עזריקם נגיד הבית ואת אלקנה משנה המלך 7
एफ्राईमी ज़ीकरी ने राजपुत्र मआसेइयाह और गृह प्रशासक अज़रीकाम का वध कर दिया और राजा के बाद के सर्वोच्च अधिकारी एलकाना का भी.
וישבו בני ישראל מאחיהם מאתים אלף נשים בנים ובנות וגם שלל רב בזזו מהם ויביאו את השלל לשמרון 8
इस्राएली अपने ही भाइयों के राज्य में से दो लाख पत्नियां, पुत्र और पुत्रियां बंदी बनाकर अपने साथ ले गए. इनके अलावा वे वहां से बड़ी लूट इकट्ठा कर शमरिया ले गए.
ושם היה נביא ליהוה עדד שמו ויצא לפני הצבא הבא לשמרון ויאמר להם הנה בחמת יהוה אלהי אבותיכם על יהודה נתנם בידכם ותהרגו בם בזעף עד לשמים הגיע 9
मगर वहां याहवेह का एक भविष्यद्वक्ता था-ओदेद-वह शमरिया आई हुई सेना से भेंट करने चल पड़ा. उसने उन्हें कहा, “यह समझ लो: क्योंकि याहवेह, तुम्हारे पूर्वजों के परमेश्वर यहूदिया से गुस्सा थे, उन्होंने ही इन्हें तुम्हारे अधीन कर दिया है. तुमने क्रोध में उनका संहार ऐसी क्रूरता में किया है, कि यह बात परमेश्वर के ध्यान में आ गई है.
ועתה בני יהודה וירושלם אתם אמרים לכבש לעבדים ולשפחות לכם הלא רק אתם עמכם אשמות ליהוה אלהיכם 10
अब तुम यह विचार कर रहे हो, कि इनका दमन कर यहूदिया और येरूशलेम वासियों के पुरुष और स्त्री को दास बनाओ, क्या यह सच नहीं कि तुम भी याहवेह, तुम्हारे परमेश्वर के सामने अपराधी हो?
ועתה שמעוני--והשיבו השביה אשר שביתם מאחיכם כי חרון אף יהוה עליכם 11
इसलिये अब मेरी सुनो और इन बंदियों को, जिन्हें तुम अपने ही भाइयों में से पकड़कर ले आए हो, लौट जाने दो; क्योंकि अब याहवेह का तेज क्रोध तुम्हारे विरुद्ध भड़क रहा है.”
ויקמו אנשים מראשי בני אפרים עזריהו בן יהוחנן ברכיהו בן משלמות ויחזקיהו בן שלם ועמשא בן חדלי--על הבאים מן הצבא 12
तब एफ्राईम के वंशजों में के कुछ प्रमुख—येहोहानन का पुत्र अज़रियाह, मेशिल्लेमोथ का पुत्र बेरेखियाह, शल्लूम का पुत्र येहिज़किय्याह और हादलाई का पुत्र अमासा-उनके विरुद्ध हो गए, जो युद्ध से लौट रहे थे.
ויאמרו להם לא תביאו את השביה הנה--כי לאשמת יהוה עלינו אתם אמרים להסיף על חטאתנו ועל אשמתנו כי רבה אשמה לנו וחרון אף על ישראל 13
इन्होंने उनसे कहा, “सही नहीं कि तुम बंदियों को यहां लाओ. इसके द्वारा तुम याहवेह के विरुद्ध हमारे पापों को बढ़ाना चाह रहे हो. हमारा दोष इतना बड़ा है कि इस्राएल के विरुद्ध याहवेह का क्रोध दहक रहा है.”
ויעזב החלוץ את השביה ואת הבזה לפני השרים וכל הקהל 14
तब योद्धाओं ने लूट की सामग्री और बंदियों को अधिकारियों और सारी सभा के सामने लाकर छोड़ दिया.
ויקמו האנשים אשר נקבו בשמות ויחזיקו בשביה וכל מערמיהם הלבישו מן השלל וילבשם וינעלום ויאכלום וישקום ויסכום וינהלום בחמרים לכל כושל ויביאום ירחו עיר התמרים אצל אחיהם וישובו שמרון 15
तब वे लोग, जिन्हें चुना गया था, उठे, नंगे बंदियों को लूट सामग्री से निकालकर कपड़े पहनाए उन्हें जूतियां दी, उन्हें वस्त्र पहनाकर उन्हें भोजन और पानी दिया, तेल से उनका अभिषेक किया, उनके दुर्बलों को गधों पर चढ़ाया और उन्हें खजूर नगर यानी येरीख़ो तक उनके भाइयों के पास छोड़ आए फिर वे शमरिया लौट गए.
בעת ההיא שלח המלך אחז על מלכי אשור--לעזר לו 16
तब राजा आहाज़ ने अश्शूर के राजा से सहायता की विनती की.
ועוד אדומים באו ויכו ביהודה וישבו שבי 17
एक बार फिर एदोमियों ने यहूदिया पर हमला किया और बहुतों को बंदी बना लिया.
ופלשתים פשטו בערי השפלה והנגב ליהודה וילכדו את בית שמש ואת אילון ואת הגדרות ואת שוכו ובנותיה ואת תמנה ובנותיה ואת גמזו ואת בנתיה וישבו שם 18
फिलिस्तीनियों ने भी तराई और यहूदिया के नेगेव पर चढ़ाई करके बेथ-शेमेश, अय्जालोन, गदेरोथ और सोकोह का उसके आस-पास के गांवों सहित, तिमनाह को उसके गांवों सहित और गिमज़ो को उसके गांवों सहित कब्जे में कर लिया और वे वहीं बस भी गए.
כי הכניע יהוה את יהודה בעבור אחז מלך ישראל כי הפריע ביהודה ומעול מעל ביהוה 19
याहवेह द्वारा यहूदिया को इस दयनीय स्थिति में डाले जाने के पीछे कारण थे यहूदिया के राजा आहाज़ की याहवेह के प्रति बड़ी विश्वासहीनता और उसके द्वारा यहूदिया में लाई गई दुष्टता.
ויבא עליו תלגת פלנאסר מלך אשור ויצר לו ולא חזקו 20
तब अश्शूर का राजा तिगलथ-पलेसेर वहां आया ज़रूर, मगर उसने आहाज़ की सहायता करने की बजाय उसे सताया.
כי חלק אחז את בית יהוה ואת בית המלך והשרים ויתן למלך אשור ולא לעזרה לו 21
यद्यपि आहाज़ ने याहवेह के भवन से, राजघराने से और प्रशासकों से धन लेकर अश्शूर के राजा को दे दी थी, इसका कोई लाभ न हुआ.
ובעת הצר לו ויוסף למעול ביהוה הוא המלך אחז 22
अपनी इस विपत्ति की स्थिति में यही राजा आहाज़ ने कई और बुरे पाप किये और याहवेह का और अधिक अविश्वासयोग्य बन गया.
ויזבח לאלהי דרמשק המכים בו ויאמר כי אלהי מלכי ארם הם מעזרים אתם להם אזבח ויעזרוני והם היו לו להכשילו ולכל ישראל 23
क्योंकि अब वह दमेशेक के देवताओं को बलि चढ़ाने लगा था, जो वास्तव में उसकी हार के कारण थे. वह यह विचार करने लगा, “जब ये देवता अराम के राजा की सहायता कर सकते हैं तो, वे मेरी भी सहायता करेंगे.” मगर ये ही इस्राएल के पतन का कारण ठहरे.
ויאסף אחז את כלי בית האלהים ויקצץ את כלי בית האלהים ויסגר את דלתות בית יהוה ויעש לו מזבחות בכל פנה בירושלם 24
इसके अलावा, आहाज़ ने परमेश्वर के भवन के सब बर्तनों को इकट्ठा करके उन पात्रों के टुकड़े-टुकड़े कर दिये और याहवेह के भवन का द्वार बंद करवा दिए. उसने येरूशलेम के कोने-कोने में अपने लिए वेदियां बनवा लीं.
ובכל עיר ועיר ליהודה עשה במות לקטר לאלהים אחרים ויכעס את יהוה אלהי אבתיו 25
उसने यहूदिया के हर एक नगर में वेदियों को बनवाया, कि इन पर अन्य देवताओं के लिए धूप जलाई जा सके. इसके द्वारा उसने अपने पूर्वजों के परमेश्वर, याहवेह के क्रोध को भड़का दिया.
ויתר דבריו וכל דרכיו הראשנים והאחרונים--הנם כתובים על ספר מלכי יהודה וישראל 26
आहाज़ के बाकी कामों और उसकी सारी नीतियों का वर्णन शुरू से अंत तक, यहूदिया और इस्राएल के राजा की पुस्तक में किया गया है.
וישכב אחז עם אבתיו ויקברהו בעיר בירושלם--כי לא הביאהו לקברי מלכי ישראל וימלך יחזקיהו בנו תחתיו 27
तब आहाज़ हमेशा के लिए अपने पूर्वजों से जा मिला. उन्होंने उसे येरूशलेम नगर में ही गाड़ दिया. उन्होंने उसे इस्राएल के राजाओं के लिए ठहराई गई कब्रों में जगह नहीं दी. उसके स्थान पर उसका पुत्र हिज़किय्याह राजा हुआ.

< דברי הימים ב 28 >