< Psaumes 70 >

1 O Dieu, hâte-toi de me délivrer; Éternel, accours à mon aide!
संगीत निर्देशक के लिये. दावीद की रचना. अभ्यर्थना. हे परमेश्वर, कृपा कर मुझे उद्धार प्रदान कीजिए; याहवेह, तुरंत मेरी सहायता कीजिए.
2 Qu'ils soient honteux et qu'ils rougissent, ceux qui cherchent ma vie; qu'ils reculent et soient confus, ceux qui désirent ma perte!
वे, जो मेरे प्राणों के प्यासे हैं, लज्जित और निराश किए जाएं; वे जिनका आनंद मेरी पीड़ा में है, पीठ दिखाकर भागें तथा अपमानित किए जाएं.
3 Qu'ils retournent en arrière, à cause de leur honte, ceux qui disent: Ah! ah!
वे सभी, जो मेरी स्थिति को देख, “आहा! आहा!” करते हैं! लज्जा में अपना मुख छिपा लें.
4 Que tous ceux qui te cherchent, se réjouissent et s'égaient en toi, et que ceux qui aiment ta délivrance disent toujours: Dieu soit magnifié!
किंतु वे सभी, जो आपकी खोज करते हैं हर्षोल्लास में मगन हों; वे सभी, जिन्हें आपके उद्धार की आकांक्षा है, यही कहें, “अति महान हैं परमेश्वर!”
5 Pour moi, je suis affligé et misérable: ô Dieu, hâte-toi de venir à moi! Tu es mon aide et mon libérateur; Éternel, ne tarde point!
मैं दरिद्र और दुःखी पुरुष हूं; परमेश्वर, मेरी सहायता के लिए विलंब न कीजिए. आप ही मेरे सहायक और छुड़ानेवाले हैं; याहवेह, विलंब न कीजिए.

< Psaumes 70 >