< Наум 2 >
1 Разрушителят възлезе пред лицето ти; Пази крепостта, бди за пътя, Стегни кръста си, уякчи силно мощта си.
१सत्यानाश करनेवाला तेरे विरुद्ध चढ़ आया है। गढ़ को दृढ़ कर; मार्ग देखता हुआ चौकस रह; अपनी कमर कस; अपना बल बढ़ा दे।
2 Понеже Господ възстанови величието Яковово Като величието Израилево; Защото изтърсвачите ги изтърсиха, И повредиха лозовите им пръчки.
२यहोवा याकूब की बड़ाई इस्राएल की बड़ाई के समान ज्यों की त्यों कर रहा है, क्योंकि उजाड़नेवालों ने उनको उजाड़ दिया है और दाख की डालियों का नाश किया है।
3 Щитът на силните му е боядисан червено, Яките мъже са облечени в червеникаво; Колесниците лъщят със стомана В деня, когато се приготовлява, И елховите копия се размахват ужасно.
३उसके शूरवीरों की ढालें लाल रंग से रंगी गईं, और उसके योद्धा लाल रंग के वस्त्र पहने हुए हैं। तैयारी के दिन रथों का लोहा आग के समान चमकता है, और भाले हिलाए जाते हैं।
4 Колесниците буйствуват из улиците, Блъскат се една с друга по площадите; Изгледът им е като факли, Тичат като светкавица.
४रथ सड़कों में बहुत वेग से हाँके जाते और चौकों में इधर-उधर चलाए जाते हैं; वे मशालों के समान दिखाई देते हैं, और उनका वेग बिजली का सा है।
5 Той си припомнюва за юнаците си; но те се подплъзват в пътя си; Тичат към стените му, и покривалото се приготвя.
५वह अपने शूरवीरों को स्मरण करता है; वे चलते-चलते ठोकर खाते हैं, वे शहरपनाह की ओर फुर्ती से जाते हैं, और सुरक्षात्मक ढाल तैयार किया जाता है।
6 Речните порти се отварят, И палата се разрушава.
६नहरों के द्वार खुल जाते हैं, और राजभवन गलकर बैठा जाता है।
7 Решено е да се плени Ниневия И да се пресели; И слугините й стенят като с гласа на гълъбите, Когато се бият по гърдите.
७हुसेब नंगी करके बँधुआई में ले ली जाएगी, और उसकी दासियाँ छाती पीटती हुई पिण्डुकों के समान विलाप करेंगी।
8 Но макар Ниневия да е била отдавна пълна с мъже като езеро с вода, пак те бягат; Макар да викат - Стойте! стойте! пак никой не погледва назад.
८नीनवे जब से बनी है, तब से तालाब के समान है, तो भी वे भागे जाते हैं, और “खड़े हो; खड़े हो”, ऐसा पुकारे जाने पर भी कोई मुँह नहीं मोड़ता।
9 Обирайте среброто, обирайте златото; Защото съкровищата й са безгранични, Има богатство от всякакви отбрани вещи.
९चाँदी को लूटो, सोने को लूटो, उसके रखे हुए धन की बहुतायत, और वैभव की सब प्रकार की मनभावनी सामग्री का कुछ परिमाण नहीं।
10 Тя се изпразни, изтърси, и запустя; Сърцето се топи, и колената се удрят едно о друго, Болки има във всеки кръст, А лицата на всички са побледнели.
१०वह खाली, छूछी और सूनी हो गई है! मन कच्चा हो गया, और पाँव काँपते हैं; और उन सभी की कमर में बड़ी पीड़ा उठी, और सभी के मुख का रंग उड़ गया है!
11 Где е ровът на лъвовете, И мястото гдето младите лъвове се хранеха, Гдето ходеха лъвът, лъвицата и лъвчето, И нямаше кой да ги плаши?
११सिंहों की वह माँद, और जवान सिंह के आखेट का वह स्थान कहाँ रहा जिसमें सिंह और सिंहनी अपने बच्चों समेत बेखटके फिरते थे?
12 Где е лъвът, който разкъсваше доволно за лъвчетата си, Давеше за лъвиците си, И пълнеше пещерите си с плячка, И рововете си с грабеж?
१२सिंह तो अपने बच्चों के लिये बहुत आहेर को फाड़ता था, और अपनी सिंहनियों के लिये आहेर का गला घोंट घोंटकर ले जाता था, और अपनी गुफाओं और माँदों को आहेर से भर लेता था।
13 Ето, Аз съм против тебе, казва Господ на Силите; Ще изгоря колесниците й всред дим, И мечът ще изпояде младите ти лъвове; Ще изтребя плячката ти от земята; И няма да се чуе гласът на пратениците ти.
१३सेनाओं के यहोवा की यह वाणी है, मैं तेरे विरुद्ध हूँ, और उसके रथों को भस्म करके धुएँ में उड़ा दूँगा, और उसके जवान सिंह सरीखे वीर तलवार से मारे जाएँगे; मैं तेरे आहेर को पृथ्वी पर से नष्ट करूँगा, और तेरे दूतों का बोल फिर सुना न जाएगा।