< يوحنَّا 4 >

وَلَمَّا عَرَفَ الرَّبُّ أَنَّ الْفَرِّيسِيِّينَ سَمِعُوا أَنَّهُ يَتَّخِذُ تَلامِيذَ وَيُعَمِّدُ أَكْثَرَ مِنْ يُوحَنَّا، ١ 1
फेर जिब यीशु नै बेरा पाट्या के फरीसियाँ नै सुण्या सै के यीशु यूहन्ना तै घणे चेल्लें बणावै सै अर उननै बपतिस्मा देवै सै।
مَعَ أَنَّ يَسُوعَ نَفْسَهُ لَمْ يَكُنْ يُعَمِّدُ بَلْ تَلامِيذُهُ، ٢ 2
(ऊतो यीशु खुद न्ही बल्कि उसके चेल्लें बपतिस्मा देवै थे)
تَرَكَ مِنْطَقَةَ الْيَهُودِيَّةِ وَرَجَعَ إِلَى مِنْطَقَةِ الْجَلِيلِ. ٣ 3
फेर वो यहूदिया परदेस नै छोड़कै दुबारै गलील परदेस म्ह चल्या गया,
وَكَانَ لابُدَّ لَهُ أَنْ يَمُرَّ بِمِنْطَقَةِ السَّامِرَةِ، ٤ 4
इस बार उसनै सामरिया परदेस होकै जाणा पड्या था।
فَوَصَلَ إِلَى بَلْدَةٍ فِيهَا، تُدْعَى سُوخَارَ، قَرِيبَةٍ مِنَ الأَرْضِ الَّتِي وَهَبَهَا يَعْقُوبُ لابْنِهِ يُوسُفَ، ٥ 5
इस करकै वो सामरिया परदेस के सूखार नामक एक नगर म्ह आया, यो नगर उस जगहां कै धोरै था जो याकूब नै अपणे बेट्टे यूसुफ ताहीं दिया था।
حَيْثُ بِئْرُ يَعْقُوبَ. وَلَمَّا كَانَ يَسُوعُ قَدْ تَعِبَ مِنَ السَّفَرِ، جَلَسَ عَلَى حَافَةِ الْبِئْرِ، وَكَانَتِ السَّاعَةُ حَوَالَيْ السَّادِسَةِ. ٦ 6
अर याकूब का कुआँ भी ओड़ैए था। यीशु सफर का थक्या होड़ उस कुएँ पै न्यूए बैठग्या। दोपहर का बखत होरया था।
وَجَاءَتِ امْرَأَةٌ سَامِرِيَّةٌ إِلَى الْبِئْرِ لِتَأْخُذَ مَاءً، فَقَالَ لَهَا يَسُوعُ: «اسْقِينِي!» ٧ 7
इतनै म्ह एक सामरी बिरबान्नी पाणी भरण आई। यीशु नै उस ताहीं कह्या, “मन्नै पाणी पिया।”
فَإِنَّ تَلامِيذَهُ كَانُوا قَدْ ذَهَبُوا إِلَى الْبَلْدَةِ لِيَشْتَرُوا طَعَاماً. ٨ 8
क्यूँके उसके चेल्लें नगर म्ह खाणा मोल लेण जारे थे।
فَقَالَتْ لَهُ الْمَرْأَةُ السَّامِرِيَّةُ: «أَنْتَ يَهُودِيٌّ وَأَنَا سَامِرِيَّةٌ، فَكَيْفَ تَطْلُبُ مِنِّي أَنْ أَسْقِيَكَ؟» فَإِنَّ الْيَهُودَ لَمْ يَكُونُوا يَتَعَامَلُونَ مَعَ أَهْلِ السَّامِرَةِ. ٩ 9
उस सामरी बिरबान्नी नै उस ताहीं कह्या, “तू यहूदी होकै मेरे तै सामरी बिरबान्नी तै पाणी क्यांतै माँग्गै सै?” (क्यूँके यहूदी सामरियाँ तै नफरत करै थे।)
فَأَجَابَهَا يَسُوعُ: «لَوْ كُنْتِ تَعْرِفِينَ عَطِيَّةَ اللهِ، وَمَنْ هُوَ الَّذِي يَقُولُ لَكِ: اسْقِينِي، لَطَلَبْتِ أَنْتِ مِنْهُ فَأَعْطَاكِ مَاءً حَيًّا!» ١٠ 10
यीशु नै जवाब दिया, “जै तू जाणदी के परमेसवर तन्नै के देणा चाहवै सै, अर वो कौण सै, जो तेरे तै कहवै सै, ‘मन्नै पाणी पिया,’ फेर तू उसतै माँगदी, अर वो तन्नै जीवन का पाणी देन्दा।”
فَقَالَتِ الْمَرْأَةُ: «وَلكِنْ يَا سَيِّدُ، لَيْسَ مَعَكَ دَلْوٌ، وَالْبِئْرُ عَمِيقَةٌ. فَمِنْ أَيْنَ لَكَ الْمَاءُ الْحَيُّ؟ ١١ 11
बिरबान्नी नै उस ताहीं कह्या, “हे प्रभु, तेरे धोरै पाणी भरण नै तो किमे सै भी कोनी, अर कुआँ डून्घा सै, तो फेर वो जीवन का पाणी तेरे धोरै कड़ै तै आया?
هَلْ أَنْتَ أَعْظَمُ مِنْ أَبِينَا يَعْقُوبَ الَّذِي أَوْرَثَنَا هذِهِ الْبِئْرَ، وَقَدْ شَرِبَ مِنْهَا هُوَ وَبَنُوهُ وَمَوَاشِيهِ؟» ١٢ 12
के तू म्हारै पूर्वज याकूब तै बड्ड़ा सै, जिसनै म्हारै ताहीं यो कुआँ दिया, अर खुद भी अपणे ऊलादां, अर अपणे डान्गरां सुधा इस म्ह तै पिया?”
فَقَالَ لَهَا يَسُوعُ: «كُلُّ مَنْ يَشْرَبُ مِنْ هَذَا الْمَاءِ يَعُودُ فَيَعْطَشُ. ١٣ 13
यीशु नै उस ताहीं जवाब दिया, “जो कोए यो पाणी पीवैगा वो फेर तिसाया होगा,
وَلكِنَّ الَّذِي يَشْرَبُ مِنَ الْمَاءِ الَّذِي أُعْطِيهِ أَنَا، لَنْ يَعْطَشَ بَعْدَ ذَلِكَ أَبَداً، بَلْ إِنَّ مَا أُعْطِيهِ مِنْ مَاءٍ يُصْبِحُ فِي دَاخِلِهِ نَبْعاً يَفِيضُ فَيُعْطِي حَيَاةً أَبَدِيَّةً». (aiōn g165, aiōnios g166) ١٤ 14
पर जो कोए उस पाणी म्ह तै पीवैगा जो मै उस ताहीं दियुँगा वो फेर अनन्त काल ताहीं तिसाया कोनी होवैगा, बल्के जो पाणी मै उस ताहीं दियुँगा वो उस म्ह तै एक चोवा बण ज्यागा जो अनन्त जीवन खात्तर उमड़दा रहवैगा।” (aiōn g165, aiōnios g166)
فَقَالَتْ لَهُ الْمَرْأَةُ: «يَا سَيِّدُ، أَعْطِنِي هَذَا الْمَاءَ فَلا أَعْطَشَ وَلا أَعُودَ إِلَى هُنَا لِآخُذَ مَاءً». ١٥ 15
बिरबान्नी नै उस ताहीं कह्या, “हे प्रभु, वो पाणी मन्नै दे ताके मै तिसाई ना होऊँ अर ना पाणी भरण नै इतनी दूर आऊँ।”
فَقَالَ لَهَا: «اذْهَبِي وَادْعِي زَوْجَكِ، وَارْجِعِي إِلَى هُنَا». ١٦ 16
यीशु नै उस ताहीं कह्या, “जा अपणे धणी नै याड़ै बुला ल्या।”
فَأَجَابَتْ: «لَيْسَ لِي زَوْجٌ!» فَقَالَ: «صَدَقْتِ إِذْ قُلْتِ: لَيْسَ لِي زَوْجٌ ١٧ 17
बिरबान्नी नै जवाब दिया, “मै बिना धणी की सूं।” यीशु नै उस ताहीं कह्या, “तू ठीक कहवै सै, ‘मै बिना धणी की सूं।’
فَقَدْ كَانَ لَكِ خَمْسَةُ أَزْوَاجٍ، وَالَّذِي تَعِيشِينَ مَعَهُ الآنَ لَيْسَ زَوْجَكِ. هذا قُلْتِهِ بِالصِّدْقِ!» ١٨ 18
क्यूँके तन्नै पाँच धणी कर लिए सै, अर जिस माणस कै गेल्या तू इब सै वो भी तेरा धणी कोनी। या तन्नै साच्ची-ए कही सै।”
فَقَالَتْ لَهُ الْمَرْأَةُ: «يَا سَيِّدُ، أَرَى أَنَّكَ نَبِيٌّ. ١٩ 19
बिरबान्नी नै उस ताहीं कह्या, “हे प्रभु, मन्नै लाग्गै सै तू नबी सै।
آبَاؤُنَا عَبَدُوا اللهَ فِي هَذَا الْجَبَلِ، وَأَنْتُمُ الْيَهُودَ تُصِرُّونَ عَلَى أَنَّ أُورُشَلِيمَ يَجِبُ أَنْ تَكُونَ الْمَرْكَزَ الْوَحِيدَ لِلْعِبَادَةِ». ٢٠ 20
म्हारै सामरी पूर्वजां नै इस्से पहाड़ पै भगति करी, अर यहूदी लोग कहवै सै, के वा जगहां जड़ै भगति करणी चाहिए यरुशलेम नगर म्ह सै।”
فَأَجَابَهَا يَسُوعُ: «صَدِّقِينِي يَا امْرَأَةُ، سَتَأْتِي السَّاعَةُ الَّتِي فِيهَا تَعْبُدُونَ الآبَ لَا فِي هَذَا الْجَبَلِ وَلا فِي أُورُشَلِيمَ. ٢١ 21
यीशु नै उस ताहीं कह्या, “हे नारी,” मेरी बात का भरोस्सा कर, के वो बखत आवै सै, के थम ना तो इस पहाड़ पै पिता की भगति करोगे, ना यरुशलेम म्ह।
أَنْتُمْ تَعْبُدُونَ مَا تَجْهَلُونَ، وَنَحْنُ نَعْبُدُ مَا نَعْلَمُ، لأَنَّ الْخَلاصَ هُوَ مِنْ عِنْدِ الْيَهُودِ. ٢٢ 22
थम जिसनै कोनी जाणदे, उसकी भगति करो सो, अर हम यहूदी लोग जिसनै जाणा सा उसकी भगति करा सां, क्यूँके उद्धार यहूदियाँ म्ह तै सै।
فَسَتَأْتِي سَاعَةٌ، بَلْ هِيَ الآنَ، حِينَ يَعْبُدُ الْعَابِدُونَ الصَّادِقُونَ الآبَ بِالرُّوحِ وَبِالْحَقِّ. لأَنَّ الآبَ يَبْتَغِي مِثْلَ هؤُلاءِ الْعَابِدِينَ. ٢٣ 23
पर वो बखत आवै सै, बल्कि इब भी सै, जिसम्ह सच्चे भगत पिता की भगति आत्मा अर सच्चाई तै करैगें, क्यूँके पिता अपणे खात्तर इसेए भगतां नै टोहवै सै।
اللهُ رُوحٌ، فَلِذلِكَ لابُدَّ لِعَابِدِيهِ مِنْ أَنْ يَعْبُدُوهُ بِالرُّوحِ وَبِالْحَقِّ». ٢٤ 24
परमेसवर आत्मा सै अर जरूरी सै के उसकी भगति करण आळे आत्मा अर सच्चाई तै उसकी भगति करै।
فَقَالَتْ لَهُ الْمَرْأَةُ: «إِنِّي أَعْلَمُ أَنَّ الْمَسِيَّا، الَّذِي يُدْعَى الْمَسِيحَ، سَيَأْتِي، وَمَتَى جَاءَ فَهُوَ يُعْلِنُ لَنَا كُلَّ شَيْءٍ». ٢٥ 25
बिरबान्नी नै उस ताहीं कह्या, “मै जांणु सूं के मसीह” जो ख्रिस्त कुहावै सै, “आण आळा सै, जिब वो आवैगा, फेर म्हारै ताहीं सारी बात बता देवैगा।”
فَأَجَابَهَا: «إِنِّي أَنَا هُوَ الَّذِي يُكَلِّمُكِ!» ٢٦ 26
यीशु नै उस ताहीं कह्या, “मै जो तेरे तै बोल्लण लागरया सूं, मै वोए सूं।”
وَعِنْدَ ذلِكَ وَصَلَ التَّلامِيذُ، وَدُهِشُوا لَمَّا رَأَوْهُ يُحَادِثُ امْرَأَةً. وَمَعَ ذلِكَ لَمْ يَقُلْ لَهُ أَحَدٌ مِنْهُمْ: «مَاذَا تُرِيدُ مِنْهَا؟» أَوْ «لِمَاذَا تُحَادِثُهَا؟» ٢٧ 27
इतनै म्ह उसके चेल्लें आण पोहचे, अर हैरान होण लागगे के वो बिरबान्नी तै बतळावै था, फेर भी किसे नै कोनी बुझ्झया, “तू के चाहवै सै? या क्यातै उसतै बतळावै सै?”
فَتَرَكَتِ الْمَرْأَةُ جَرَّتَهَا وَعَادَتْ إِلَى الْبَلْدَةِ، وَأَخَذَتْ تَقُولُ لِلنَّاسِ: ٢٨ 28
फेर बिरबान्नी अपणा पैंढ़ा छोड़कै नगर म्ह चली गई, अर माणसां तै कहण लाग्गी,
«تَعَالَوْا انْظُرُوا إِنْسَاناً كَشَفَ لِي كُلَّ مَا فَعَلْتُ! فَلَعَلَّهُ هُوَ الْمَسِيحُ؟» ٢٩ 29
“आओ एक माणस नै देक्खो, जिसनै सारा किमे जो मन्नै करया मेरै तै बता दिया। कदे योए तो मसीह न्ही सै?”
فَخَرَجَ أَهْلُ سُوخَارَ وَأَقْبَلُوا إِلَيْهِ. ٣٠ 30
तब वे नगर के बासिन्दे गाम तै लिकड़कै यीशु कै धोरै आण लाग्गे।
وَفِي أَثْنَاءِ ذلِكَ كَانَ التَّلامِيذُ يَقُولُونَ لَهُ بِإِلْحَاحٍ: «يَا مُعَلِّمُ، كُلْ» ٣١ 31
इस बिचाळै उसके चेल्यां नै यीशु तै या बिनती करी, “हे गुरु, किमे खा ले।”
فَأَجَابَهُمْ: «عِنْدِي طَعَامٌ آكُلُهُ لَا تَعْرِفُونَهُ أَنْتُمْ». ٣٢ 32
पर उसनै उन ताहीं कह्या, “मेरै धोरै खाण खात्तर इसा खाणा सै जिसनै थम कोनी जाणदे।”
فَأَخَذَ التَّلامِيذُ يَتَسَاءَلُونَ: «هَلْ جَاءَهُ أَحَدٌ بِمَا يَأْكُلُهُ؟» ٣٣ 33
फेर चेल्यां नै आप्पस म्ह कह्या, “के कोए उसकै खात्तर खाणा लेकै आया सै?”
فَقَالَ لَهُمْ يَسُوعُ: «طَعَامِي هُوَ أَنْ أَعْمَلَ مَشِيئَةَ الَّذِي أَرْسَلَنِي وَأَنْ أُنْجِزَ عَمَلَهُ. ٣٤ 34
यीशु नै उनतै कह्या, “मेरा खाणा यो सै के अपणे भेजण आळे की मर्जी कै मुताबिक चाल्लुँ अर उसके काम नै पूरा करुँ जो उसनै कह्या सै।
أَمَا تَقُولُونَ: بَعْدَ أَرْبَعَةِ أَشْهُرٍ يَأْتِي الْحَصَادُ! وَلكِنِّي أَقُولُ لَكُمْ: انْظُرُوا مَلِيًّا إِلَى الْحُقُولِ، فَهِيَ قَدْ نَضَجَتْ وَحَانَ حَصَادُهَا. ٣٥ 35
के थम कोनी कहन्दे, ‘लामणीयां के इब्बै चार महिन्ने रहरे सै?’ अपणी आँखां तै देक्खों जितने माणस आण लागरे सै, वो उस खेत की तरियां सै जो काट्टण खात्तर तैयार सै।
وَالْحَاصِدُ يَأْخُذُ أُجْرَتَهُ، وَيَجْمَعُ الثَّمَرَ لِلْحَيَاةِ الأَبَدِيَّةِ، فَيَفْرَحُ الزَّارِعُ وَالْحَاصِدُ مَعاً، (aiōnios g166) ٣٦ 36
पैहले तै मजदूर काम करण लागरया सै अर अपणी मजदूरी पाण लागरया सै, इसका मतलब यो सै के वो माणसां नै कठ्ठा करण लागरया सै जो अनन्त जीवन पागे। (aiōnios g166)
حَتَّى يَصْدُقَ الْقَوْلُ: وَاحِدٌ يَزْرَعُ، وَآخَرُ يَحْصُدُ. ٣٧ 37
क्यूँके याड़ै या कहावत ठीक बेठ्ठै सैः बोणआळा और सै, अर काट्टण आळा और।
إِنِّي أَرْسَلْتُكُمْ لِتَحْصُدُوا مَا لَمْ تَتْعَبُوا فِيهِ، فَغَيْرُكُمْ تَعِبُوا، وَأَنْتُمْ تَجْنُونَ ثَمَرَ أَتْعَابِهِمْ». ٣٨ 38
मन्नै थारे ताहीं वो खेत काट्टण खात्तर भेज्या जिसम्ह थमनै मेहनत कोन्या करी दुसरयां नै मेहनत करी अर थम उनकी मेहनत कै फळ म्ह हिस्सेदार होए।”
فَآمَنَ بِهِ كَثِيرُونَ مِنَ السَّامِرِيِّينَ أَهْلِ تِلْكَ الْبَلْدَةِ بِسَبَبِ كَلامِ الْمَرْأَةِ الَّتِي كَانَتْ تَشْهَدُ قَائِلَةً: «كَشَفَ لِي كُلَّ مَا فَعَلْتُ». ٣٩ 39
उस नगर के घणखरे सामरियाँ नै उस बिरबान्नी कै कहण तै यीशु पै बिश्वास करया, क्यूँके उसनै कह्या था, के “उसनै सारा किमे जो मन्नै करया सै, मेरै तै बता दिया।”
وَعِنْدَمَا قَابَلُوهُ عِنْدَ الْبِئْرِ دَعَوْهُ أَنْ يُقِيمَ عِنْدَهُمْ، فَأَقَامَ هُنَالِكَ يَوْمَيْنِ، ٤٠ 40
ज्यांतै जिब सामरी उसकै धोरै आए, तो उसतै बिनती करण लागगे के म्हारै याड़ै रह। आखर म्ह वो ओड़ै दो दिन ताहीं रहया।
وَتَكَاثَرَ جِدّاً عَدَدُ الَّذِينَ آمَنُوا بِهِ بِسَبَبِ كَلامِهِ، ٤١ 41
उसके वचन कै कारण और भी घणखरे माणसां नै बिश्वास करया
وَقَالُوا لِلْمَرْأَةِ: «إِنَّنَا لَا نُؤْمِنُ بَعْدَ الآنَ بِسَبَبِ كَلامِكِ، بَلْ نُؤْمِنُ لأَنَّنَا سَمِعْنَاهُ بِأَنْفُسِنَا، وَعَرَفْنَا أَنَّهُ مُخَلِّصُ الْعَالَمِ حَقّاً!» ٤٢ 42
अर उस बिरबान्नी तै कह्या, “इब हम तेरे कहण तैए बिश्वास कोनी करदे, क्यूँके हमनै खुदे सुण लिया, अर जाणगे सा के योए साच्चए म्ह दुनिया का उद्धार करणीया सै।”
وَبَعْدَ قَضَاءِ الْيَوْمَيْنِ فِي سُوخَارَ، غَادَرَهَا يَسُوعُ وَسَافَرَ إِلَى مِنْطَقَةِ الْجَلِيلِ، ٤٣ 43
फेर दो दिनां कै पाच्छै वो ओड़ै तै लिकड़कै गलील परदेस म्ह गया।
وَهُوَ نَفْسُهُ كَانَ قَدْ شَهِدَ قَائِلاً: «لا كَرَامَةَ لِنَبِيٍّ فِي وَطَنِهِ!» ٤٤ 44
क्यूँके यीशु नै खुदे गवाही दी के नबी अपणे गाम म्ह आदर मान कोनी पान्दा।
فَلَمَّا وَصَلَ إِلَى الْجَلِيلِ رَحَّبَ بِهِ أَهْلُهَا، وَكَانُوا قَد رَأَوْا كُلَّ مَا فَعَلَهُ فِي أُورُشَلِيمَ فِي أَثْنَاءِ عِيدِ الْفِصْحِ، إِذْ ذَهَبُوا هُمْ أَيْضاً إِلَى الْعِيدِ. ٤٥ 45
जिब वो गलील परदेस म्ह आया, तो गलील परदेस के माणस राज्जी होकै उसतै मिले, क्यूँके जितने काम उसनै यरुशलेम म्ह त्यौहार कै बखत करे थे, उननै उन सारया ताहीं देख्या था, क्यूँके वे भी त्यौहार म्ह जारे थे।
وَوَصَلَ يَسُوعُ إِلَى قَانَا بِالْجَلِيلِ، حَيْثُ كَانَ قَدْ حَوَّلَ الْمَاءَ إِلَى خَمْرٍ. وَكَانَ فِي كَفْرَنَاحُومَ رَجُلٌ مِنْ حَاشِيَةِ الْمَلِكِ، لَهُ ابْنٌ مَرِيضٌ. ٤٦ 46
फेर वो दुबारै गलील परदेस कै काना नगर म्ह आया, जड़ै उसनै पाणी ताहीं अंगूर का रस बणाया था। ओड़ै राजा का एक कर्मचारी था जिसका बेट्टा कफरनहूम नगर म्ह बीमार था।
فَلَمَّا سَمِعَ أَنَّ يَسُوعَ تَرَكَ الْيَهُودِيَّةَ وَجَاءَ إِلَى الْجَلِيلِ، ذَهَبَ إِلَيْهِ وَطَلَبَ مِنْهُ أَنْ يَنْزِلَ مَعَهُ إِلَى كَفْرَنَاحُومَ لِيَشْفِيَ ابْنَهُ الْمُشْرِفَ عَلَى الْمَوْتِ. ٤٧ 47
वो या सुणकै के यीशु यहूदिया परदेस तै गलील परदेस म्ह आ रहया सै, उसकै धोरै गया अर उसतै बिनती करण लागग्या के चालकै मेरै बेट्टै नै ठीक कर दे: क्यूँके वो मरण आळा था।
فَقَالَ يَسُوعُ: «لا تُؤْمِنُونَ إِلّا إِذَا رَأَيْتُمُ الآيَاتِ وَالْعَجَائِبَ!» ٤٨ 48
यीशु नै उस ताहीं कह्या, “जिब ताहीं थम चमत्कार अर अचम्भे के काम कोनी देखदे जद ताहीं कदे भी बिश्वास कोनी करोगे।”
فَتَوَسَّلَ إِلَيْهِ الرَّجُلُ وَقَالَ: «يَا سَيِّدُ، انْزِلْ مَعِي قَبْلَ أَنْ يَمُوتَ ابْنِي!» ٤٩ 49
राजा कै कर्मचारी नै उसतै कह्या, “हे प्रभु, मेरै बाळक की मौत होण तै पैहल्या चाल।”
أَجَابَهُ يَسُوعُ: «اذْهَبْ! إِنَّ ابْنَكَ حَيٌّ!» فَآمَنَ الرَّجُلُ بِكَلِمَةِ يَسُوعَ الَّتِي قَالَهَا لَهُ، وَانْصَرَفَ. ٥٠ 50
यीशु नै उस ताहीं कह्या, “जा, तेरा बेट्टा जिन्दा सै।” उस माणस नै यीशु की कही होई बात का बिश्वास करया अर चल्या गया।
وَبَيْنَمَا كَانَ نَازِلاً فِي الطَّرِيقِ لاقَاهُ بَعْضُ عَبِيدِهِ وَبَشَّرُوهُ بِأَنَّ ابْنَهُ حَيٌّ، ٥١ 51
वो रास्ते म्ह था के उसके नौक्कर उसतै आ मिले अर कहण लाग्गे, “तेरा छोरा जिन्दा सै।”
فَسَأَلَهُمْ فِي أَيَّةِ سَاعَةٍ تَعَافَى، أَجَابُوهُ: «فِي السَّاعَةِ السَّابِعَةِ مَسَاءَ الْبَارِحَةِ، وَلَّتْ عَنْهُ الْحُمَّى». ٥٢ 52
उसनै उसतै बुझ्झया, “किस बखत वो ठीक होण लागग्या?” उननै उस ताहीं कह्या, “काल दोफहरै एक बजे उसका बुखार उतर गया।”
فَعَلِمَ الأَبُ أَنَّهَا السَّاعَةُ الَّتِي قَالَ لَهُ يَسُوعُ فِيهَا: «إِنَّ ابْنَكَ حَيٌّ». فَآمَنَ هُوَ وَأَهْلُ بَيْتِهِ جَمِيعاً. ٥٣ 53
फेर बाप जाण गया के यो उस्से बखत होया जिस बखत यीशु नै उस ताहीं कह्या, “तेरा बेट्टा जिन्दा रहवैगा,” अर उसनै अर उसके सारे कुण्बे नै बिश्वास करया।
هذِهِ الْمُعْجِزَةُ هِيَ الآيَةُ الثَّانِيَةُ الَّتِي أَجْرَاهَا يَسُوعُ بَعْدَ خُرُوجِهِ مِنَ الْيَهُودِيَّةِ إِلَى الْجَلِيلِ. ٥٤ 54
यो दुसरा अचम्भे का काम था जो यीशु नै यहूदिया परदेस तै गलील परदेस म्ह आकै दिखाया।

< يوحنَّا 4 >