< Ezekiel 25 >

1 And the word of the Lord came unto me, saying,
याहवेह का वचन मेरे पास आया:
2 Son of man, set thy face against the sons of 'Ammon, and prophesy against them;
“हे मनुष्य के पुत्र, अपना मुंह अम्मोनियों की ओर करके उनके विरुद्ध भविष्यवाणी करो.
3 And say unto the sons of 'Ammon, Hear ye the word of the Lord Eternal, Thus hath said the Lord Eternal, Because thou hast said, Aha, concerning my sanctuary, when it was profaned; and concerning the land of Israel, when it was made desolate; and concerning the house of Judah, when they went into exile:
उनसे कहो, ‘परम प्रधान याहवेह का वचन सुनो. परम प्रधान याहवेह का यह कहना है: क्योंकि जब मेरा पवित्र स्थान अपवित्र किया गया और जब इस्राएल देश उजाड़ा गया और जब यहूदिया के लोग बंधुआई में चले गये, तो तुमने आहा, आहा! कहा,
4 Therefore, behold, I will give thee up to the children of the east for a possession, and they shall set up their towers in thee, and place in thee their dwellings; they shall indeed eat thy fruit, and they shall surely drink thy milk.
इसलिये मैं तुम्हें पूर्व देश के लोगों के अधीन करने जा रहा हूं. वे तुम्हारे बीच अपना शिविर खड़ा करेंगे और अपना तंबू गाड़ेंगे; वे तुम्हारा फल खाएंगे और तुम्हारा दूध पिएंगे.
5 And I will change Rabbah into a pasture for camels, and [the land of] the sons of 'Ammon into a resting-place for flocks: and ye shall know that I am the Lord.
मैं रब्बाह को ऊंटों का चरागाह और अम्मोन देश को भेड़ों का विश्राम स्थल बना दूंगा. तब तुम जानोगे कि मैं याहवेह हूं.
6 For thus hath said the Lord Eternal, Whereas thou didst clap thy hands, and stamp with thy feet, and rejoice with all thy derision in the soul over the land of Israel:
क्योंकि परम प्रधान याहवेह का यह कहना है: क्योंकि तुमने इस्राएल देश के प्रति अपने हृदय के सब द्वेष भावना के कारण आनंदित होकर ताली बजाई और अपने पैरों को पटका,
7 Therefore, behold, will I stretch out my hand over thee, and will give thee up for a spoil to the nations; and I will cut thee off from the people, and I will cause thee to perish out of the countries; I will destroy thee, and thou shalt know that I am the Lord.
इसलिये मैं तुम्हारे विरुद्ध अपना हाथ बढ़ाऊंगा और तुम्हें लूट की वस्तु के रूप में जाति-जाति के लोगों के बीच दे दूंगा. मैं लोगों के बीच से तुम्हारा नाम तक मिटा दूंगा और तुम्हें देश-देश में पूरी तरह नाश कर दूंगा. मैं तुम्हें नाश करूंगा, और तब तुम जानोगे कि मैं याहवेह हूं.’”
8 Thus hath said the Lord Eternal, Because Moab and Se'ir do say, Behold, the house of Judah is like all the nations:
“परम प्रधान याहवेह का यह कहना है: ‘क्योंकि मोआब और सेईर ने कहा, “देखो, यहूदाह का वंश भी दूसरे सब जातियों के समान हो गया है,”
9 Therefore, behold, I will open the side of Moab from the cities, from his cities on his frontiers, the glory of the country, Beth-ha-yeshimoth, Ba'al-me'on, and Kiryathayim,
इसलिये मैं मोआब के किनारे को खुला छोड़ूंगा और इसकी शुरुआत सीमावर्ती नगर—बेथ-यशिमोथ, बाल-मेओन और किरयथियों से होगी, जो उस देश की शोभा हैं.
10 Unto the children of the east [coming] against the sons of 'Ammon, and I will give them in possession; in order that the sons of 'Ammon may not be remembered among the nations.
मैं मोआब को अम्मोनियों के साथ पूर्वी देश के लोगों के अधीन कर दूंगा, ताकि अम्मोनियों को लोग याद न करें;
11 And on Moab will I execute judgments: and they shall know that I am the Lord.
और मैं मोआब को दंड दूंगा. तब वे जानेंगे कि मैं याहवेह हूं.’”
12 Thus hath said the Lord Eternal, Because the Edomites have acted revengefully against the house of Judah, and have greatly offended, and have taken vengeance on them:
“परम प्रधान याहवेह का यह कहना है: ‘क्योंकि एदोम ने यहूदाह से बदला लिया और ऐसा करके बहुत दोषी ठहरा,
13 Therefore thus hath said the Lord Eternal, I will also stretch out my hand against Edom, and cut off from it man and beast; and I will make it a ruined land from Theman; and they of Dedan shall fall by the sword.
इसलिये परम प्रधान याहवेह का यह कहना है: मैं एदोम के विरुद्ध अपना हाथ बढ़ाऊंगा और आदमी और जानवर दोनों को मार डालूंगा. मैं उसे उजाड़ दूंगा और तेमान से लेकर देदान तक, वे तलवार से मारे जाएंगे.
14 And I will display my vengeance on Edom by the hand of my people Israel; and they shall do in Edom according to my anger and according to my fury: and they shall feel my vengeance, saith the Lord Eternal.
मैं अपने इस्राएली लोगों के द्वारा एदोम से बदला लूंगा, और वे मेरे क्रोध और कोप के मुताबिक उनसे व्यवहार करेंगे; तब वे मेरे प्रतिशोध को जानेंगे, परम प्रधान याहवेह की घोषणा है.’”
15 Thus hath said the Lord Eternal, Because the Philistines have acted in revenge, and have taken vengeance with derision in their soul, to destroy out of ancient enmity:
“परम प्रधान याहवेह का यह कहना है: ‘क्योंकि फिलिस्तीनियों ने प्रतिशोध की भावना से काम किया और अपने हृदय की ईर्ष्या के कारण बदला लिया, और प्राचीन शत्रुता के कारण यहूदाह को नष्ट करने का प्रयत्न किया,
16 Therefore thus hath said the Lord Eternal, Behold, I will stretch out my hand against the Philistines, and I will cut off the Kerethim, and destroy the remnant of the [dwellers] of the sea-coast.
इसलिये परम प्रधान याहवेह का यह कहना है: मैं फिलिस्तीनियों के विरुद्ध अपना हाथ बढ़ाने ही वाला हूं, और मैं केरेथियों को मिटा दूंगा और उनको नष्ट कर दूंगा, जो समुद्र के किनारों पर बचे हुए हैं.
17 And I will execute on them great vengeances with furious chastisements: and they shall know that I am the Lord, when I display my vengeance on them.
मैं उनसे भयंकर बदला लूंगा और अपने कोप में होकर उनको दंड दूंगा. तब वे जानेंगे कि मैं याहवेह हूं, जब मैं उनसे प्रतिशोध लूंगा.’”

< Ezekiel 25 >